Mayor By Election 2022: उपचुनाव के लिए वोटिंग सम्पन्न

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Published : Nov 10, 2022, 7:00 AM IST

Updated : Nov 10, 2022, 12:55 PM IST

Mayor By Election 2022

ग्रेटर नगर निगम का नया मुखिया कौन होगा इस पर सभी की निगाहें टिकी हुई है. मेयर पद के लिए उप चुनाव सम्पन्न हो चुके हैं. आज ही मतगणना के बाद नया महापौर मिल जाएगा (Mayor By Election 2022 Voting). मेयर चुनाव में बीजेपी से रश्मि सैनी और कांग्रेस से हेमा सिंघानिया के बीच मुकाबला है.

जयपुर. ग्रेटर नगर निगम ग्रेटर (शहरी सरकार) का मुखिया कौन होगा इसका फैसला कुछ घंटे बाद हो जाएगा (Jaipur Greater Nagar Nigam). बाड़ेबंदी में कैद बीजेपी और कांग्रेस के पार्षद करीब एक सप्ताह बाद बाहर आएंगे और मेयर पद के लिए वोटिंग करेंगे. मतदान से पहले बीजेपी और कांग्रेस के दिग्गजों ने अपने-अपने पार्षदों को पार्टी की रीति-नीति का पाठ भी पढ़ाया. क्योंकि मेयर के इस चुनाव में कांग्रेस और बीजेपी के दिग्गजों की साख भी दांव पर हैं. बीजेपी की रश्मि सैनी और कांग्रेस की हेमा सिंघानिया के बीच महामुकाबला है.

जिसके पक्ष में 74 वोट मिलेंगे वो शहरी सरकार (ग्रेटर निगम) का मुखिया होगा. इस मुकाबले के लिए नगर निगम ग्रेटर में सुबह 10 बजे से 12.45 तक मत पड़े. जिसमें 146 मतदाताओं (पार्षद) ने अपना वोट कास्ट किया.

महापौर उपचुनाव को लेकर दोनों पार्टियों जहां जीत की रणनीति बना चुकी है. करीब एक सप्ताह की बाड़ाबंदी में कैद दोनों ही दलों के पार्षदों को मतदान के लिए नगर निगम ग्रेटर मुख्यालय लाया जाएगा. नगर निगम ग्रेटर में बीजेपी बहुमत में है. लेकिन उतना ही क्रॉस वोटिंग का डर सता रहा है. उधर, कांग्रेस के नेता मतदान से एक दिन पहले बयान दे रहे थे कि कांग्रेस के पास खोने को कुछ नहीं है. लेकिन क्रॉस वोटिंग से उन्हें अपना कांग्रेस का मेयर बनाने की उम्मीद है. कांग्रेस ने अपने कुनबे में 53 पार्षद होने का दावा किया. वहीं बीजेपी की बाड़ाबंदी में 90 से ज्यादा पार्षद होने का दावा किया गया.

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ग्रेटर नगर निगम का गणित :

बीजेपी - 85

कांग्रेस - 49

निर्दलीय -12

रिक्त -04

मेयर बनने के लिए 74 वोट की जरूरत

भाजपा प्रत्याशी रश्मि सैनी: नगर निगम ग्रेटर में लाइट समित 'ए' की चेयरमैन हैं. विद्याधर नगर विधानसभा क्षेत्र में वार्ड संख्या-12 से पार्षद हैं. रश्मि के पति राजेन्द्र सैनी 2003 से भाजपा से जुड़े सक्रिय कार्यकर्ता हैं.

कांग्रेस प्रत्याशी हेमा सिंघानिया : वार्ड 74 से कांग्रेस से पार्षद हैं. पहली बार कांग्रेस से पार्षद बनी हैं. हेमा सिंघानिया के पति सुनील सिंघानिया यूथ कांग्रेस में शहर अध्यक्ष हैं.

जहन में बसा है विष्णु लाटा का मेयर बनना: साल 2019 में जब महापौर का उपचुनाव हुआ था. तब 90 में से बीजेपी के पास 62 पार्षद (विष्णु लाटा के अलावा) थे. जीत के लिए बीजेपी को 46 वोट चाहिए थे. जबकि कांग्रेस के पास 18 पार्षद थे. इसके अलावा उन्हें 9 निर्दलीयों का समर्थन भी था.यानी कुल 27 पार्षद थे. फिर भी विष्णु लाटा (भाजपा से बागी होकर चुनाव लड़े प्रत्याशी) को 45 वोट मिले थे. जबकि बीजेपी के मनोज भारद्वाज को 44 वोट मिले थे और एक वोट खारिज हो गया था. उस समय मालवीय नगर, विद्याधर नगर और सांगानेर क्षेत्र से सबसे ज्यादा पार्षदों ने क्रॉस वोटिंग करके अपनी ही पार्टी के मेयर उम्मीदवार को हरवाया था. उस समय भी पार्षद पूरे समय बाड़ेबंदी में ही थे.

अगर नगर निगम ग्रेटर के पार्षदों की गणित की बात करें तो वर्तमान में बीजेपी के पास बहुमत से 19 पार्षद ज्यादा है. जबकि कांग्रेस को इस चुनाव में जीत दर्ज करने के लिए 21 पार्षदों की और जरूरत है. कांग्रेस के पास वर्तमान में 49 खुद के और 4 निर्दलीय यानी कुल 53 पार्षद है. जीत के लिए 74 वोटों की जरूरत है.

Last Updated :Nov 10, 2022, 12:55 PM IST
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