अलवर. जिले में 164 गांव ऐसे हैं, जहां पानी पीने योग्य नहीं है. इन गांव के लोगों को पानी के लिए खासी परेशानी का सामना करना पड़ता है. आसपास के क्षेत्रों से टैंकर मंगवाना पड़ता है. इन गांव के पानी में फ्लोराइड की मात्रा तय मानक से कई गुना ज्यादा है, जिसके चलते पानी काम में लेने से लोगों की हड्डियों में दर्द, हड्डियां जाम होना, दांत खराब होना, शरीर की हड्डियां टेडी होना सहित कई तरह की दिक्कतें होती है.
लोगों को होने वाली परेशानी को देखते हुए सरकार ने इन गांव में आरो प्लांट लगाने के आदेश दिए थे, लेकिन 4 सालों से फाइलों में यह काम अटका हुआ था. अब आरओ प्लांट लगने का काम तेजी से शुरू हो चुका है. जिले में 104 जगहों पर आरओ प्लांट लग चुके हैं, जबकि अन्य बची हुई जगहों पर 2 से 3 माह में आरओ प्लांट लगने का काम पूरा हो जाएगा. आरओ प्लांट लगाने के साथ ही सभी जगहों पर पानी की टंकी, बोरिंग और अन्य व्यवस्थाएं भी आरओ प्लांट लगाने वाली कंपनी की तरफ से की जा रही है.
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जलदाय विभाग के अधिकारियों ने बताया कि एक प्लांट में करीब आठ लाख 50 हजार रुपए का खर्चा आ रहा है. तेजी से आरओ प्लांट लगाने का काम जिले में चल रहा है. आरओ प्लांट का काम पूरा होने के बाद लोगों को पीने के लिए साफ पानी मिलेगा. लोगों के होने वाली बीमारियों से भी उनको छुटकारा मिलेगा. लंबे समय से जिले में आरओ प्लांट की मांग उठाई थी. आरओ प्लांट सभी 104 जगहों पर शुरू हो चुके हैं.