जयपुर. प्रदेश में ACB ने भ्रष्टाचार के 273 मामले पकड़े. इन 273 प्रकरणों में से सिर्फ 15 प्रकरणों में अभियोजन की स्वीकृति दी गई. अब इसी को (Politics Over Corruption) लेकर सियासत जारी है. भाजपा इसे सियासी मुद्दा बना गहलोत सरकार पर प्रहार कर रही है. प्रदेश भाजपा प्रवक्ता और विधायक रामलाल शर्मा ने इसे लेकर कांग्रेस सरकार पर तंज किया है.
रामलाल शर्मा ने जारी किया बयान
विधायक शर्मा ने बयान में कहा कि कांग्रेस पार्टी 2018 में जब चुनावी समर में थी तब कहा था कि राजस्थान के अंदर कांग्रेस की सरकार बनती है तो हम भ्रष्टाचार मुक्त शासन देने का काम करेंगे. लेकिन 3 साल बीत जाने के बाद भी इनका भ्रष्टाचार मुक्त शासन कैसा है इसकी बानगी दिख रही है. शर्मा ने कहा कि एसीबी द्वारा पकड़े गए 273 मामलों में से 15 प्रकरण में ही सरकार ने मुकदमा चलाने की स्वीकृति दी है. जबकि अधिकतर मामले लंबे अरसे से पेंडिंग है. ये इस बात का सबूत है कि सरकार स्वयं भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाना नहीं चाहती.
'भाजपा चाहती है'
भाजपा प्रवक्ता के मुताबिक लंबे अरसे तक इस प्रकार के प्रकरणों में सरकार से अभियोजन की स्वीकृति नहीं मिलने से भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो का मनोबल भी कम हुआ है. शर्मा ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी चाहती है कि भ्रष्टाचार मुक्त शासन देना है तो जितने भी अभियोजन स्वीकृत लंबित पड़ी है उनको भी स्वीकृत करें. साथ ही अन्य विभागों में भी एसीबी के नाम से शिकायतें पहुंची है. उनके अंदर भी एसीबी को खुले में जांच करने की स्वीकृति प्रदान करें, ताकि भ्रष्टाचार के ऊपर अंकुश लगाया जा सके.
CM ने भी हाल ही Corruption पर कही थी मन की बात
सरकारी सिस्टम में भ्रष्टाचार (Corruption) को लेकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Rajasthan CM Gehlot) ने कहा था कि जो विभाग मेरे पास है, उसमें भी मैं गारंटी नहीं ले सकता कि विभाग में भ्रष्टाचार नहीं हो रहा. वहां भी अपने लोग हैं. भ्रष्टाचार करने कोई बाहर से, विदेश से तो आ नहीं रहा है.