जयपुर. प्रदेश में आग बुझाने और आगजनी से बचाव के लिए 32 मीटर से ऊंची हाइड्रोलिक प्लेटफार्म नहीं होने के मामले में राज्य सरकार ने बुधवार को हाइकोर्ट में पालना रिपोर्ट पेश की. पालना रिपोर्ट में सरकार ने कहा कि जयपुर के लिए 72 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक लेडर और जोधपुर, उदयपुर, कोटा व भिवाड़ी के लिए 60 मीटर ऊंचे हाइड्रोलिक लेडर खरीदने की मंजूरी दे दी है. इसके साथ ही इन्हें खरीदने के लिए एनआईटी जारी कर एग्रीमेंट भी हो जाएगी.
मुख्य न्यायधीश इंद्रजीत महांती और न्यायधीश प्रकाश गुप्ता की खंडपीठ ने पालना रिपोर्ट को रिकॉर्ड पर लेते हुए कुणाल रावत की जनहित याचिका पर सुनवाई 17 अगस्त को तय की है. गौरतलब है कि हाइकोर्ट ने पिछली साल 3 जुलाई के अंतरिम आदेश से जयपुर, जोधपुर और कोटा सहित प्रदेशभर में आग बुझाने के लिए 32 मीटर से ऊंची हाइड्रोलिक सीढ़ी नहीं जाने तक राज्य के स्वायत्त शासन विभाग को 32 मीटर से ज्यादा ऊंचाई की इमारतों के निर्माण की मंजूरी नहीं देने का निर्देश दिया था.
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राज्य सरकार की ओर से रिपोर्ट में कहा कि 20 जनवरी, 2020 से 10 मार्च, 2020 की अवधि के दौरान जयपुर में 178 मैरिज गार्डन और 72 रूफटॉप रेस्टोरेंट को नोटिस जारी किए गए. साथ ही 40 सिनेमा हॉल और 20 फैक्ट्री को एनओसी जारी की गई. इसके अलावा अलवर में 4 मैरिज गार्डन, 17 कोचिंग संस्थानों और एक रूफटॉप रेस्टोरेंट को नोटिस जारी किए गए. वहीं, बांरा, बाड़मेर, नदबाई और किशनगढ़ में भी नोटिस जारी किए गए.