यहां 70 प्रकार से भी ज्यादा तितलियों का हो रहा सरंक्षण, पढ़ें ये खास रिपोर्ट

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Published : Sep 19, 2021, 1:33 PM IST

Updated : Sep 19, 2021, 2:21 PM IST

rare species of butterflies

बढ़ते प्रदूषण (Pollution), और कीटनाशकों (pesticides) के उपयोग के साथ-साथ जलवायु परिवर्तन की मार पड़ने से तितलियों (Butterflies) की आबादी पर संकट मंडराने लगा है. इसीलिए अब संरक्षणवादी (protectionist) इन्हें सहेजने पर जोर दे रहे हैं. पढ़ें ये खास रिपोर्ट...

शहडोल। बचपन में तितलियों (butterflies) के पीछे आप भी खूब दौड़े होंगे. कल्पना कीजिए अगर तितलियां ही ना रहें तो क्या होगा? तितलियों (butterflies) की आबादी को बेहतर पर्यावरणीय दशाओं के संकेतक के तौर पर जाना जाता है, परागण (Pollination), खाद्य श्रृंखला (Food Chain) और पारिस्थितिकी तंत्र (Ecosystem) में भी तितलियों (butterflies) की महत्वपूर्ण भूमिका होती है, लेकिन आज प्रदूषण (Pollution), कीटनाशकों (pesticides) के उपयोग और जंगलों की कटाई और जलवायु परिवर्तन (Climate change) की मार पड़ने से तितलियों की आबादी पर संकट मंडराने लगा है. इसीलिए अब संरक्षणवादी (protectionist) इन्हें सहेजने पर जोर दे रहे हैं.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां


70 प्रकार की दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
इसी क्रम में मध्यप्रदेश (MP) के शहडोल (shahdol) जिले में कुछ युवा लोग तितलियों को बचाने उनके आवास को संरक्षित करने का प्रयास कर रहे हैं. ये लोग बच्चों से लेकर बड़ों के बीच तितलियों को लेकर जागरूकता फैलाने का कार्य कर रहे. फॉरेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप (forest protector group) इस जगह पर करीब 70 प्रकार की दुर्लभ प्रजाति की तितलियों (rare species of butterflies) का संरक्षण कर रहा है. ऐसा अनुमान है कि इस साल तितलियों के अलग-अलग प्राजातियों की संख्या यहां 100 के पार चली जाएगी.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां

फारेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप की अनूठी पहल
विशेष तौर से सिर्फ तितलियों को ही संरक्षित करने वालों के बारे में आपने बहुत कम सुना होगा. बहुत कम ही ऐसे लोग हैं जो सिर्फ तितलियों के संरक्षण के लिए ही उनके अनुकूल वातावरण (conducive environment) तैयार कर उन्हें संरक्षित कर रहे हैं, ऐसा ही एक ग्रुप है फॉरेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप (forest protector group) जिसकी अनूठी पहल ने सभी को अपना दीवाना बना लिया है. दरअसल, फॉरेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप ने शहडोल जिला मुख्यालय में बाणगंगा (Banganga) इलाके में प्राकृतिक तौर पर एक ऐसा इकोसिस्टम (ecosystem) तैयार किया है, जो तितलियों के लिए आदर्श है, यहां अलग अलग प्रजाति की तितलियां आकर रहती हैं. जो अपने आप में अद्भुत हैं.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां

70 प्रकार से भी ज्यादा प्रजाति की तितलियों का सरंक्षण
बायोडायवर्सिटी एक्सपर्ट (Biodiversity Expert) और फॉरेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप के फाउंडर मेंबर संजय पयासी बताते हैं कि इस जगह पर हमने जिन तितलियों को आईडेंटिफाई (identify) किया है. उनकी 70 से ज्यादा स्पेसीज हैं. उन्होंने कहा कि अगर सीजन में और तीन चार महीने और हम यहां अपना प्रयास जारी रखते हैं, तो ये संख्या करीब 100 से ज्यादा तरह की तितलियों तक पहुंच सकती हैं.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां


इकोसिस्टम में बहुत महत्वपूर्ण योगदान
तितलियों (butterflies) का तो इकोसिस्टम (Ecosystem) में बहुत महत्वपूर्ण योगदान है. कितने ही जीवों का वो भोजन बनती हैं. कितने ही पौधों को वो एक तरीके से डीकंपोज (Decompose) करने का काम करती हैं.बहुत सारे स्पेशीज के लिए पॉलिनेशन का काम तितलियां करती हैं, एक हेल्दी और बैलेंस इकोसिस्टम के लिए तितलियों का होना बहुत जरूरी है.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां


ब्लूमॉर्नमोन एमपी की सबसे बड़ी बटरफ्लाई
ब्लूमॉर्नमोन एमपी की सबसे बड़ी बटरफ्लाई (butterflies) कही जाती है. बैंडेड पीकॉक एक हरे रंग की मेडलिक कलर की बिल्कुल रंगीन सुंदर सी तितली है. जो यहां पाई जाती है. कम दिखने वाली तितली ट्री ब्राउन होती है. बैम्बू ट्री ब्राउन वो दोनों प्रजाति यहां पर मिलती है.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां


हरियाली से घिरा हुआ है शहडोल का एनवायरमेंट
शहडोल का जो एनवायरमेंट है वह चारों तरफ हरियाली से घिरा हुआ है. यहां लगातार सदानीरा नदी नाले बहते रहते हैं, तितलियों (butterflies) को मॉइस्चर वाली जगह धूप और छाया वाली जगह पसंद होती है. थोड़ा सा दलदल हो वो पडलिंग करती हैं. उनको जो आवश्यक खनिज चाहिए होता है. उनके पोषण के लिए वो दलदली क्षेत्रों में नमी वाले जगहों पर मिलता हैं, शहडोल के आसपास नमी वाले जगह नमी वाला जंगल जो रहता है.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां


हर तितली का होस्ट प्लांट अलग होता है
दरअसल, हर एक तितली (butterflies)) का होस्ट प्लांट अलग होता है. तितलियों का एक होस्ट प्लांट होता है और दूसरा होता है फूड प्लांट यानी कि जिन फूलों पर हम तितलियों को बैठे हुए देखते हैं, उसमें वो पराग यानी की नेक्टर कंज्यूम करती हैं. जो उनका भोजन होता है. जिन-जिन पेड़ों पर फूल हैं और उसमें तितलियां बैठती है वह फूड प्लांट कहलाते हैं, और जिन पौधों पर तितलियां अंडे देती हैं. वह उनके लारवल होस्ट प्लांट कहलाते हैं, तो हर तितली का होस्ट प्लांट अलग होता है.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
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तितलियों के होस्ट प्लांट
जैसे कि स्वेलो टेल बटरफ्लाई (butterflies)) नींबू के पेड़ पर ही बैठना पसंद करती है. बैरोनेट नाम की तितली तेंदू के पेड़ में अंडे देती हैं. मीठी नीम के पेड़ में कॉमन क्रो नाम की तितली अंडे देती है. संजय पयासी बताते हैं कि उनकी योजना रहती है कि ज्यादा से ज्यादा पेड़ ऐसे लगाए जाएं जो किसी तितली के काम आ सके. उन्होंने यहां पर 35 तरह के तितलियों के होस्ट प्लांट खुद लगाए हैं.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
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लोगों को जागरूक करने का प्रयास
वाइल्ड लाइफ एक्सपर्ट और फारेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप के फाउंडर मेंबर रवि शुक्ला बताते हैं की पिछले 1 साल से हम लोग शहडोल संभाग में तितलियों (butterflies)) का सर्वे कर रहे थे. उसी समय हमारा यहां आना हुआ. यहां आने पर हमने देखा कि बहुत सारी जिन प्रजातियों को हम जंगलों में ढूंढते थे. वो इस जगह पर इकट्ठे मिल गईं, तब हमें ख्याल आया कि जब इस तरह का इकोसिस्टम यहां है और तितलियों की वो सारी प्रजाति जिन्हें हम जंगलों में ढूंढते हैं यहां उपस्थित हैं, तो हमने इनका संरक्षण करना शुरू कर दिया.उन्होंने बताया कि हम समय-समय पर वर्कशॉप कराते हैं, बटरफ्लाई वाक करवाते हैं, फोटोग्राफी कंपटीशन करवाते हैं. ये सभी कार्यक्रम बच्चों के बीच में करवाते हैं.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां


फॉरेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप की अनूठी पहल
फॉरेस्ट प्रोटेक्टर ग्रुप की यह अनूठी पहल तारीफ के योग्य है. जिस तरह से उन्होंने अलग-अलग तरह की तितलियों (butterflies) के लिए एक आदर्श माहौल तैयार किया है. करीब 70 से भी ज्यादा तितलियों की इस स्पेसीज को संरक्षित रखा है, और उन तितलियों के बारे में बच्चों को युवाओं को यहां लाकर बता रहे हैं. उन्हें प्रकृति से जोड़ रहे हैं. उनकी यह पहल अब चर्चा का विषय बनी हुई है. हर प्रकृति प्रेमी अब उनकी बस तारीफ कर रहा है.

दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
दुर्लभ प्रजाति की तितलियां
Last Updated :Sep 19, 2021, 2:21 PM IST
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