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SKM की बैठक 1 और 4 दिसंबर को, आंदोलन पर हाे सकता है बड़ा फैसला

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Published : Nov 29, 2021, 6:36 PM IST

Updated : Nov 29, 2021, 9:30 PM IST

सोनीपत-कुंडली बॉर्डर पर सोमवार को पंजाब की 32 जत्थेबंदियों की बैठक (punjab farmers union meeting) का आयोजन किया गया. संयुक्त किसान मोर्चा (SKM) की बैठक 1 दिसंबर और 4 दिसंबर को होगी. 1 दिसंबर की बैठक काे अहम बताया गया है.

samyukt kisan morcha etv bharat
संयुक्त किसान मोर्चा

सोनीपत : कृषि कानूनों के विरोध में किसान लगातार 1 साल से दिल्ली के बॉर्डर पर प्रदर्शन कर रहे हैं. जिसमें आखिरकार किसानों को सफलता मिल ही गई है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की घोषणा के बाद सोमवार को लोकसभा में तीनों कृषि कानून वापसी बिल (farm laws repeal bill parliament) पास हो गया है. वहीं सोमवार को ही सोनीपत कुंडली बॉर्डर पर पंजाब की 32 जत्थेबंदियों की बैठक (punjab farmers union meeting) हुई. इस बैठक में आंदोलन की अन्य मांगों को लेकर चर्चा की गई.

आंदोलन पर हाे सकता है बड़ा फैसला

पंजाब के 32 किसान संगठनों की बैठक के बाद किसान नेताओं ने बताया कि केंद्र सरकार ने संसद में तीनों कृषि कानून रद्द कर दिए हैं. अब संयुक्त किसान मोर्चा (samyukt kisan morcha) ने 1 दिसंबर को इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है. 1 दिन सरकार को दिया गया है ताकि हमारी सभी मांगें मानी जाए. 1 दिसंबर को 11 बजे बैठक शुरू होगी. आंदोलन अभी जारी रहेगा. आंदोलन की रणनीति अगली बैठक में तय होंगी.

बता दें कि तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने के बाद किसान नेताओं की बैठकों का दौर जारी है. 27 नवंबर को भी संयुक्त किसान मोर्चा ने एक अहम बैठक कर 29 नवंबर का संसद कूच टाल दिया था. वहीं 4 दिसंबर को एक बार फिर अन्य मुद्दों को लेकर संयुक्त किसान मोर्चा की अहम बैठक होने वाली है. हालांकि उससे पहले अब 1 दिसंबर को भी संयुक्त किसान मोर्चा ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है. इस बैठक में आंदोलन को लेकर कोई बड़ा फैसला लिया जा सकता है.

पंजाब की जत्थेबंदियां की बैठक के दौरान किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने कहा कि सरकार ने लोकसभा में तीनों कृषि कानूनों को आज वापस ले लिया है, किसानों की यह बड़ी जीत है. हम सभी किसान संगठन के नेताओं और किसानों को इसकी बधाई देते हैं कि उन्होंने आखिरकार लंबे समय चले इस आंदोलन को जीत लिया.

हमने सरकार को खुली चिट्ठी लिखी है कि एमएसपी की गारंटी का कानून बनाया जाए, किसान आंदोलन के दौरान किसानों पर हुए मुकदमे वापस लिए जाएं, लखीमपुर खीरी की घटना में शामिल केंद्रीय गृह राज्य मंत्री को बर्खास्त किया जाए और जो हमारी अन्य मांगे हैं उनको जल्द से जल्द पूरा किया जाए. जिससे हमारा आंदोलन खत्म हो और हम अपने घरों को वापस लौट सकें.

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Last Updated : Nov 29, 2021, 9:30 PM IST
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