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मुख्यमंत्री तक पहुंचा भाषा विवाद का मुद्दा, सीएम से मिलकर कांग्रेस ने कहा- निकालें बीच का रास्ता

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Published : Feb 18, 2022, 8:40 PM IST

Updated : Feb 18, 2022, 8:57 PM IST

झारखंड में भाषा विवाद (Language Controversy in Jharkhand) का मुद्दा अब मुख्यमंत्री तक पहुंच गया है. बोकारो, धनबाद, गिरीडीह में चल रहे भाषा आंदोलन के बीच आज सत्तारूढ़ दल कांग्रेस और जेएमएम का प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिला.

Language controversy in Jharkhand
कांग्रेस और जेएमएम का प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिला

रांची: मगही, भोजपुरी को जिला स्तर पर क्षेत्रीय भाषा में शामिल करने के बाद उठा विवाद (Language Controversy in Jharkhand) थमने का नाम नहीं ले रहा है. बोकारो, धनबाद, गिरीडीह में चल रहे आंदोलन के बीच आज सत्तारूढ़ दल कांग्रेस और जेएमएम का प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिला. प्रोजेक्ट भवन में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मिलने वालों में झारखंड कांग्रेस अध्यक्ष राजेश ठाकुर, कांग्रेस विधायक दल के नेता और मंत्री आलमगीर आलम, झामुमो विधायक सविता महतो, पूर्व विधायक योगेंद्र प्रताप शामिल थे.

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मुख्यमंत्री से मुलाकात के दौरान झारखंड मुक्ति मोर्चा के द्वारा मगही, भोजपुरी को बोकारो और धनबाद जिला में क्षेत्रीय भाषा में दिये गये मान्यता को समाप्त करने की मांग की गई. वहीं, कांग्रेस की ओर से बीच का रास्ता निकालने का मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से कहा गया.

कांग्रेस और जेएमएम के नेताओं का बयान

झारखंड में भाषा विवाद को जल्द शांत कराने की मांग कांग्रेस ने की है. मुख्यमंत्री से मिलकर कांग्रेस ने स्पष्ट रुप से कहा है कि राज्य में अमन चैन बनी रहे इसके लिए सरकार कदम उठाये. झारखंड कांग्रेस अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस ने अपनी भावना से मुख्यमंत्री को अवगत करा दिया है. कांग्रेस को उम्मीद है कि मुख्यमंत्री इस मुद्दे पर समुचित फैसला लेंगे. कांग्रेस इस मुद्दे पर पारसनाथ चिंतन शिविर में भी मंथन करेगी. उसके बाद सरकार को अपनी भावना से अवगत कराया जायेगा.

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कांग्रेस विधायक दल के नेता और सरकार के मंत्री आलमगीर आलम ने भाषा को लेकर उठे विवाद और आंदोलन पर दुख जताते हुए कहा है कि कांग्रेस पार्टी राज्य में शांति का माहौल बनी रहे इसको लेकर कृतसंकल्पित है. इसी उद्देश्य से मुख्यमंत्री को पार्टी ने भावना से अवगत करा दिया है. वहीं झामुमो नेता और पूर्व विधायक योगेंद्र प्रताप ने कहा कि सरकार मगही और भोजपुरी की मान्यता खत्म करे. लोग बोकारो, धनबाद गिरीडीह में सड़कों पर उतरकर आंदोलन कर रहे हैं. हालात बिगड़ने से पहले मुख्यमंत्री को इस पर कदम उठाना चाहिए.

Last Updated : Feb 18, 2022, 8:57 PM IST
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