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झारखंड में भ्रष्टाचार के फॉर्मूले से वाकिफ हैं सीएम, बच्चों के अंडे का दिया उदाहरण

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने एक कार्यक्रम के दौरान ऐसी बात कही जिससे यह साफ हो गया कि वे झारखंड में भ्रष्टाचार के फॉर्मूले से पूरी तरह वाकिफ हैं. उनके इस इशारे से भ्रष्टाचारियों के होश जरूर उड़ गए होंगे. मामला कुपोषण और अंडे से जुड़ा है.

cm on corruption in jharkhand
झारखंड में भ्रष्टाचार पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन
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Published : Aug 9, 2021, 7:37 PM IST

Updated : Aug 9, 2021, 8:04 PM IST

रांची: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सोमवार को एक कार्यक्रम के दौरान ऐसी बात कह दी जिसकी खूब चर्चा हो रही है. सीएम के बयान से यह साफ हो गया कि वे झारखंड में भ्रष्टाचार के फॉर्मूले से वाकिफ हैं. उन्होंने बातों ही बातों में यह मान लिया कि झारखंड में निचले स्तर तक भ्रष्टाचार है. उन्होंने स्कूलों में बच्चों को दिए जाने वाले मिड-डे-मील का उदाहरण दिया.

यह भी पढ़ें: ...तो राजनीति से दे दूंगा इस्तीफा, आखिर किन आरोपों की वजह से सांसद जयंत सिन्हा ने कह दिया ऐसा

चूंकि, बात कुपोषण की हो रही थी तो मुख्यमंत्री ने स्कूलों में बच्चों को हर दिन अंडा देने की बात कही. सीएम ने कहा कि इससे बच्चे स्वस्थ रहेंगे. बीच में अगर कोई दो अंडे खा भी जाता है तो कम से कम बच्चों को चार अंडा तो मिल सकेगा. सीएम के इस बयान से अंदाजा लगाया जा सकता है कि भ्रष्टाचार किस स्तर तक है. मुख्यमंत्री ने यह बात कहकर साफ कर दिया कि कोई इस मुगालते में न रहे कि भ्रष्टाचार की जानकारी सीएम को नहीं है. सरकार के पास सभी चीजों की पूरी जानकारी रहती है.

राजीव गांधी ने कहा था-सरकार एक रुपए भेजती है, लोगों तक 15 पैसे पहुंचते हैं

करीब 36 साल पहले 1985 में तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने ओडिशा में एक बयान दिया था जिसकी चर्चा आज भी खूब होती है. उस वक्त राजीव गांधी ने कहा था कि सरकार जब भी एक रुपए खर्च करती है तो लोगों तक 15 पैसे ही पहुंच पाते हैं. मतलब साफ था कि राजीव गांधी भ्रष्टाचार का जिक्र कर रहे थे. उन्होंने कहा था कि भ्रष्टाचार ग्रासरूट लेवल पर है जिसे दिल्ली से बैठकर दूर नहीं किया जा सकता.

प्रोजेक्ट भवन में किसानों को लेकर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के अंदाज में दिखे. बच्चों के मिड-डे-मील में अंडे पर दिए बयान के बाद जहां इसकी खूब चर्चा हो रही है वहीं प्रशासनिक महकमे में सीएम के इस बयान से हड़कंप जरूर मचा है.

रांची: मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सोमवार को एक कार्यक्रम के दौरान ऐसी बात कह दी जिसकी खूब चर्चा हो रही है. सीएम के बयान से यह साफ हो गया कि वे झारखंड में भ्रष्टाचार के फॉर्मूले से वाकिफ हैं. उन्होंने बातों ही बातों में यह मान लिया कि झारखंड में निचले स्तर तक भ्रष्टाचार है. उन्होंने स्कूलों में बच्चों को दिए जाने वाले मिड-डे-मील का उदाहरण दिया.

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चूंकि, बात कुपोषण की हो रही थी तो मुख्यमंत्री ने स्कूलों में बच्चों को हर दिन अंडा देने की बात कही. सीएम ने कहा कि इससे बच्चे स्वस्थ रहेंगे. बीच में अगर कोई दो अंडे खा भी जाता है तो कम से कम बच्चों को चार अंडा तो मिल सकेगा. सीएम के इस बयान से अंदाजा लगाया जा सकता है कि भ्रष्टाचार किस स्तर तक है. मुख्यमंत्री ने यह बात कहकर साफ कर दिया कि कोई इस मुगालते में न रहे कि भ्रष्टाचार की जानकारी सीएम को नहीं है. सरकार के पास सभी चीजों की पूरी जानकारी रहती है.

राजीव गांधी ने कहा था-सरकार एक रुपए भेजती है, लोगों तक 15 पैसे पहुंचते हैं

करीब 36 साल पहले 1985 में तत्कालीन प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने ओडिशा में एक बयान दिया था जिसकी चर्चा आज भी खूब होती है. उस वक्त राजीव गांधी ने कहा था कि सरकार जब भी एक रुपए खर्च करती है तो लोगों तक 15 पैसे ही पहुंच पाते हैं. मतलब साफ था कि राजीव गांधी भ्रष्टाचार का जिक्र कर रहे थे. उन्होंने कहा था कि भ्रष्टाचार ग्रासरूट लेवल पर है जिसे दिल्ली से बैठकर दूर नहीं किया जा सकता.

प्रोजेक्ट भवन में किसानों को लेकर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के अंदाज में दिखे. बच्चों के मिड-डे-मील में अंडे पर दिए बयान के बाद जहां इसकी खूब चर्चा हो रही है वहीं प्रशासनिक महकमे में सीएम के इस बयान से हड़कंप जरूर मचा है.

Last Updated : Aug 9, 2021, 8:04 PM IST
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