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नए जेल मैनुअल को लेकर हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय में सुनवाई, HC ने सरकार से किए ये सवाल

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Published : Apr 22, 2022, 9:43 PM IST

Himachal Pradesh High Court
हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय

हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से पूछा है कि नए जेल मैनुअल (new jail manual in Shimla ) को कितने समय में अंतिम रूप दे दिया जाएगा. मुख्य न्यायाधीश मोहम्मद रफीक व न्यायाधीश ज्योत्स्ना रिवाल दुआ की खंडपीठ ने राज्य सरकार से यह भी पूछा है कि नालागढ़, कुल्लू, मंडी और सोलन में जिला जेलों के नए भवनों का निर्माण कार्य कितना पूरा हो चुका है.

शिमला: हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय ने राज्य सरकार से पूछा है कि नए जेल मैनुअल (new jail manual in Shimla ) को कितने समय में अंतिम रूप दे दिया जाएगा. इस बाबत शपथ पत्र दाखिल करने के आदेश जारी किए गए हैं. मुख्य न्यायाधीश मोहम्मद रफीक व न्यायाधीश ज्योत्स्ना रिवाल दुआ की खंडपीठ ने राज्य सरकार से यह भी पूछा है कि नालागढ़, कुल्लू, मंडी और सोलन में जिला जेलों के नए भवनों का निर्माण कार्य कितना पूरा हो चुका है. इसके साथ ही अदातल ने पूछा है कि बाकि बचा हुआ कार्य कितने समय मे पूरा हो जाएगा.

उच्च न्यायालय ने प्रदेश सरकार से जेलों में कर्मचारियों की कुल रिक्तियों की स्थिति और किस अवधि ऐसी सभी रिक्तियों को भरा जाएगा यह ब्यौरा में मांगा है. कोर्ट ने तुरंत ही कम से कम एक महिला स्त्री रोग विशेषज्ञ की नजदीक के अस्पतालों से सेंट्रल जेल, कंडा में तैनाती सुनिश्चित करने को कहा है. ताकि वह महिला बंदियों के लिए हर सप्ताह जेल का दौरा कर उनके स्वास्थ्य की जांच करें. राज्य सरकार भी कैदियों के कल्याण के लिए अन्य राज्यों की तर्ज पर केंद्रीय जेलों में तेल की खुदरा दुकानों को आवंटित करने पर विचार करें.

कोर्ट ने कहा है कि सरकार कैदियों द्वारा निर्मित उत्पाद की बिक्री पर कर में छूट देने पर विचार करे. विभिन्न जिला न्यायालय परिसर व जिलाधीश कार्यलय में कैदियों द्वारा निर्मित वस्तुओं की बिक्री के लिए आउटलेट प्रदान किये जाएं. प्रतिवादी इस बाबत विशिष्ट रिपोर्ट दें कि क्या विचाराधीन कैदियों के रूप में बंद माताओं के बच्चों की सुविधा के लिए क्या क्रेच प्रदान किया जा सकता है. मॉडल जेल कंडा में वेंडिंग मशीन के माध्यम से सैनिटरी नैपकिन की सुविधा प्रदान करने पर भी विचार करने को कहा गया है. राज्य की विभिन्न जेलों में बंद कैदियों के मनोरंजक और खेल गतिविधियां के लिए आवश्यक धन उपलब्ध कराने पर विचार करने को कहा गया है.

मामले की अगली तारीख को कैदियों को दिए जाने वाले नाश्ते, दोपहर के भोजन व रात के भोजन के मेन्यू को पेश करने को कहा गया है. इस बीच सभी कैदियों को प्रत्येक रविवार को कोई एक मीठी वस्तु मुहैया करवाने के आदेश जारी किए गए हैं और उसके बारे में रिपोर्ट अगली तारीख को पेश करने को कहा गया है. सरकार यह भी सूचित करे कि क्या महिला कैदियों को जेल अधिकारियों द्वारा वर्दी दी जा रही है या नहीं. यदि नहीं, तो क्यों नहीं दी जा रही है? इस मामले में आगामी सुनवाई 5 मई को होगी.

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