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World Mental Health Day 2023 : कहीं आप भी मानसिक रोग के शिकार तो नहीं हैं ? विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस के बारे में जानें

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Oct 10, 2023, 12:01 AM IST

Updated : Oct 12, 2023, 1:52 PM IST

World Mental Health Day 2023
विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस 2023

स्वस्थ तन में ही स्वस्थ मन का वास होता है, और मन तभी स्वस्थ रहेगा, जब आप मानसिक रूप से स्वस्थ होंगे. आजकल की भागती दौड़ती जिंदगी में इतने तनाव होते हैं कि मानसिक रूप से अपने को फिट रखना भी बड़ी चुनौती होती है. आज विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस है. आइए इसके बारे में विस्तार से जानते हैं. know about mental health day, how to cure mental health,

हैदराबाद : दुनिया के सभी देश मानसिक स्वास्थ्य की चुनौतियों से परेशान हैं. वर्ल्ड फेडरेशन फॉर मेंटल हेल्थ के अनुसार दुनिया भर में 10,000 लाख/100 करोड़ (एक बिलियन) के करीब लोग मानसिक रोग के शिकार हैं. यह संख्या लगातार बढ़ रही है. क्वालिटी मेंटल हेल्थ नहीं मिलने के कारण बड़ी संख्या में लोग खुदकुशी भी कर लेते हैं. मेंटल हेल्थ की जरूरत, खराब मेंटल के नुकसान और इससे बचाव के बारे में लोगों को जागरूक करने के लिए दुनिया भर में 10 अक्टूबर को वर्ल्ड मेंटल हेल्थ डे मनाया जाता है.

  • 10 अक्टूबर को #विश्व_मानसिक_स्वास्थ्य_दिवस के रूप में मनाकर हम दुनियाभर में मानसिक स्वास्थ्य के महत्व को उजागर करते हैं🌏🧠

    मानसिक स्वास्थ्य में #योग 🧘‍♂️ के चिकित्सीय प्रभाव अतुलनीय हैं। आइए, आसन और प्राणायाम को अपनाकर स्वस्थ जीवन की ओर कदम बढ़ाएं@sarbanandsonwal @moayush pic.twitter.com/gaUO722zS1

    — सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय (@MIB_Hindi) October 10, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस थीम
विश्व मानसिक स्वास्थ्य 2023 के लिए थीम 'मानसिक स्वास्थ्य एक सार्वभौमिक मानव अधिकार है' (Mental Health Is A Universal Human Right). थीम का चयन वैश्विक स्तर पर वोटिंग के माध्यम से तय किया गया है. ओपन वोटिंग के अलावा वर्ल्ड फेडरेशन फॉर मेंटल हेल्थ (World Federation Of Mental Health-WFMH) के सदस्यों, मेंटल हेल्थ के सेक्टर में काम करने वाली एजेंसियां, सामाजिक संगठनों सहित अन्य पक्ष शामिल हुए.

  • मानसिक रूप से स्वस्थ व्यक्ति ही खुशहाल हो सकता है, तो इसलिए हमे कभी भी अपने मानसिक स्वास्थ्य को हल्के में नहीं लेना चाहिए क्योंकि यह सबसे महत्वपूर्ण है।

    विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ। #WorldMentalHealthDay #AnitaKundu #Hisar #Haryana #Bharat pic.twitter.com/erX0zSPXKg

    — Anita Kundu (@IamAnitaKundu) October 10, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

75वीं वर्षगांठ मना रहा वर्ल्ड फेडरेशन फॉर मेंटल हेल्थ
विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस 2023 कई कारणों से महत्वपूर्ण है. इनमें में सबसे प्रमुख है वैश्विक स्तर पर मानसिक स्वास्थ्य के लिए काम करने वाली संस्था वर्ल्ड फेडरेशन फॉर मेंटल हेल्थ (डब्ल्यूएफएमएच) 75वीं वर्षगांठ मना रहा है. बता दें कि इसकी स्थापना 1948 में किया गया था. इसकी स्थापना में फेडरेशन की ओर से कई सिफारिशें की गईं थीं. इस दौरान संयुक्त राष्ट्र (United Nations) की विशेष एजेंसियों को विश्व स्तर पर मानसिक स्वास्थ्य रोगियों के लिए सदस्य राष्ट्रों को विश्व स्वास्थ्य संगठन (World Health Organization) या इंटरनेशनल एक्सपर्ट के सुझावों व सलाहों के आधार पर नीति बनाने, सुविधा और संसाधन उपलब्ध कराने का सुझाव दिया था. इस पर काफी हद तक सदस्य देशों के बीच सहमति बनी.

  • युद्ध का सामना करने वाले हर 5 में से 1 व्यक्ति को मानसिक स्वास्थ्य समस्याएं हैं.

    मानसिक स्वास्थ्य सहायता विलासिता नहीं है, यह हिंसक संघर्ष झेल चुके लोगों के लिए एक अत्यावश्यक सेवा है.

    मंगलवार को विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस पर @Refugees से अधिक जानें- https://t.co/Y1pEZMvBrU pic.twitter.com/POiWGnHmRC

    — UNHindi (@UNinHindi) October 10, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस का इतिहास
वर्ल्ड फेडरेशन फॉर मेंटल हेल्थ की ओर से मानसिक स्वास्थ्य के बारे में आम लोगों को शिक्षित और जागरूकता पैदा करने के उद्देश्य से सालों भर कुछ न कुछ कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है. 10 अक्टूबर 1992 को वर्ल्ड फेडरेशन फॉर मेंटल हेल्थ की ओर से पहली बार वार्षिक कार्यक्रम को विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस के रूप में मनाया गया. इसके बाद से हर साल इस डेट को वर्ल्ड मेंटल हेल्थ डे रूप में मनाया जाता है. इस दिन विश्व भर में मानसिक स्वास्थ्य के बारे में जागरूकता पैदा करने के लिए कई स्तरों पर सेमिनार, जागरूकता रैली सहित कई आयोजन किये जाते हैं.

सालाना खुदकुशी करने वालों की संख्या में हो रही बढ़ोतरी
भारत की बात करें तो यहां हर साल लाखों लोग अलग-अलग कारणों से खुदकुशी कर लेते हैं. इनमें मेंटल हेल्थ भी एक प्रमुख कारण है. नेशनल क्राइम रिकार्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) की ओर से जारी क्राइम इन इंडिया 2021 की रिपोर्ट के अनुसार बीमारी के कारण 18.6 फीसदी लोगों ने खुदकुशी को अंजाम दिया.

  • यदि आप एंगज़ाइटी, मूड स्विंग्स और डिप्रेशन से हैं परेशान तो "टेली मानस" है ना समाधान। टेली मानस पर अब तक 3.5 लाख लोगों ने परामर्श लिया है। विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस कितना महत्व रखता है? क्या है टेली मानस? जानिए IHBAS निदेशक प्रो. ( डॉ.) राजिंदर के धमिजा से… pic.twitter.com/5fBGBk4HqP

    — डीडी न्यूज़ (@DDNewsHindi) October 10, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

एनसीआरबी के अनुसार 2021 में 1,64,033 लोगों ने खुदकुशी कर मौत को गले लगा लिया. 2020 के आंकड़ों के अनुपात में यह संख्या 6.2 फीसदी ज्यादा है. एक लाख की आबादी पर 2017 में 9.9 फीसदी, 2018 में 10.2 फीसदी, 2019 में 10.4 फीसदी 2020 में 11.3 फीसदी था. 2021 में यह आंकड़ा 12 फीसदी तक पहुंच गया. इन खुदकुशी के पीछे मुख्य कारणों में से एक मानसिक स्वास्थ्य ठीक नहीं होना है.

विश्व स्वास्थ संगठन के आंकड़ों के अनुसार भारत में मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं का बोझ प्रति 10 हजार जनसंख्या पर 2443 विकलांगता-समायोजित जीवन वर्ष (Disability Adjusted life Years-DAILYs) है. वहीं प्रति एक लाख की जनसंख्या पर आयु-समायोजित खुदकुशी दर 21.1 है. डब्यूएचओ के अनुमानों के अनुसार 2012-2030 के बीच मानसिक स्वास्थ्य के कारण 1.03 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर तक आर्थिक नुकसान हो सकता है.

संयुक्त राष्ट्र कन्वेंशन (यूएनसीआरपीडी) को ध्यान में रखकर भारत सरकार की ओर से कई कदम उठाए गये हैं. मानसिक स्वास्थ्य पीड़ितों के लिए मानसिक स्वास्थ्य नीति 2014 और मानसिक स्वास्थ्य देखभाल अधिनियम 2017 इनमें प्रमुख हैं.

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Last Updated :Oct 12, 2023, 1:52 PM IST
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