दिव्यांग वेंडर दिल्ली सरकार और निगम से कर रहे स्थायी समाधान की मांग

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Published : Sep 20, 2021, 10:30 PM IST

दिव्यांग रेहड़ी-पटरी वाले

दिल्ली में दिव्यांग रेहड़ी-पटरी वाले दिल्ली सरकार व दिल्ली नगर निगम से आजीविका चलाने के लिए न्यूनतम वेतन की मांग कर रहे हैं. उनका कहना है कि दिल्ली सरकार और दिल्ली नगर निगम की ओर सर्वे नहीं कराया जा रहा है.

नई दिल्ली : दिल्ली में दिव्यांग रेहड़ी-पटरी वाले दिल्ली सरकार व दिल्ली नगर निगम से आजीविका चलाने के लिए न्यूनतम वेतन की मांग कर रहे हैं. उनका कहना है कि दिल्ली सरकार और दिल्ली नगर निगम की ओर सर्वे नहीं कराया जा रहा है, जिसकी वजह से यह लोग काफी परेशान हैं.

कोरोना महामारी के बाद से यह लोग किसी तरह अपनी आजीविका चला रहे हैं, लेकिन उसमें भी गुजारा नहीं हो रहा है. वहीं दिल्ली हॉकर्स ज्वाइंट एक्शन कमिटी के अध्यक्ष अश्वनी बागड़ी ने सरकार को चेताते हुए कहा कि दिल्ली नगर निगम और दिल्ली सरकार दिव्यांग रेहड़ी पटरी वालों का सर्वे कराए ताकि उन्हें दोबारा से रोजगार मिले. यदि सरकार ऐसा नहीं तो दिव्यांग इकट्ठे होकर दिल्ली सरकार और नगर निगम के खिलाफ प्रदर्शन करेंगे.

दिव्यांग वेंडर्स की मांग

आज जहांगीरपुरी इलाके में दिव्यांग रेहड़ी पटरी वाले इकट्ठा होकर होकर ज्वाइंट एक्शन कमेटी के अध्यक्ष अश्वनी बागड़ी के पास अपनी समस्या लेकर पहुंचे. कोरोना महामारी के दौरान इन लोगों के सामने खाने-कमाने का संकट पैदा हो गया है, जिसकी वजह से यह लोग मुश्किल हालात में जीने को मजबूर हैं.

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एक बुजुर्ग महिला ने बताया कि वह विधवा है तीन बेटियां हैं. कोरोना महामारी से पहले किसी तरह रिंग रोड पर खोखा लगाकर अपना और अपने परिवार का भरण पोषण कर रही थी. कोरोना महामारी के दौरान उनका सामान चोरी हो गया और उसके बाद से दोबारा खोखा लगाने की परमिशन नहीं मिली.

दिव्यांग वेंडर्स परेशान
दिव्यांग वेंडर्स परेशान

ऐसे कई और लोग भी परेशान हैं. बुजुर्ग महिला केवल अपनी विकलांग पेंशन के सहारे अपने परिवार का भरण पोषण कर रही है और रोकर सरकार से मांग कर रही है कि उन्हें आजीविका चलाने के लिए सरकार या तो न्यूनतम वेतन दे नहीं तो खोका लगाने का अधिकार दे और उनका सर्वे कराया जाए.

वहीं दूसरे दिव्यांग रेहड़ी पटरी वाले ने बताया कि रोज घर पर सामान लाने ले जाने में काफी दिक्कत होती है. सरकार की ओर से सर्वे कराकर खोखा लगाने की परमिशन मिले, तभी कुछ राहत मिल सकती है. भला विकलांग व्यक्ति कैसे रोज अपना सामान उठाकर घर लेकर जाएगा.

निगम के सर्वे का एप्लीकेशन
निगम के सर्वे का एप्लीकेशन

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इसी मुद्दे पर दिल्ली होकर्स ज्वाइंट एक्शन कमेटी के अध्यक्ष अश्वनी बागड़ी ने भी दिल्ली नगर निगम और दिल्ली सरकार को चेतावनी हुए कहा कि सरकार दिव्यांग रेहड़ी पटरी वालों की मजबूरी पर ध्यान दे.

दिल्ली में कांग्रेस शासन के दौरान गरीबों और दिव्यांगों को खोखा उपलब्ध किया गया था. अब दिल्ली सरकार की और से गरीब दिव्यांग रेहड़ी पटरी वालों की कोई मदद नहीं की जा रही है. जब आरटीआई लगाकर जवाब मांगा जाता है तो वेंडर संरक्षण कमेटी के नाम पर केवल वेंडर्स को धोखा दिया जा रहा है. यदि सरकार इन लोगों की सुनवाई नहीं करती तो जल्दी दिल्ली की सड़कों पर दिव्यांग सरकार के खिलाफ बड़ा आंदोलन करेंगे.

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