नई दिल्ली : राजधानी दिल्ली में अगले दो महीने में नगर निगम के प्रमुख चुनाव होने जा रहे हैं. इस बीच निगम चुनावों को लेकर राजधानी का सियासी पारा पूरी तरीके से तूल पकड़ चुका है. आज एसडीएमसी के मेयर मुकेश सूर्यान ने डीबीसी और फील्ड वर्कर्स को पक्का किए जाने के मामले पर अपनी बात रखते हुए पूरी प्रक्रिया में देरी होने को लेकर सीधे रूप से दिल्ली सरकार को ना सिर्फ जिम्मेदार ठहराया बल्कि कई गंभीर आरोप भी लगाए.
मुकेश सूर्यान ने कहा कि निगम अपने सभी अस्थायी कर्मचारियों को पक्का करना चाहती है, लेकिन दिल्ली सरकार के द्वारा असहयोग और हक का पूरा बकाया फंड जारी न किए जाने के चलते कर्मचारियों को पक्का नहीं किया जा पा रहा है.
जब उससे भी बड़ा झूठ बोला जाता है तो उपमुख्यमंत्री सामने आया कर प्रेस कॉन्फ्रेंस करते है. जब पूरी दिल्ली को किसी मामले पर बरगलाने की बात हो तो मुख्यमंत्री खुद सामने आकर मीडिया के सामने अपनी बात रखते हैं.
बीते दिन डीबीसी कर्मचारियों और फील्ड वर्कर्स को पक्का किया जाने को लेकर दिल्ली सरकार के द्वारा जो बात की गई है. वह स्पष्ट तौर पर झूठ बोला जा रहा है. नगर निगम के द्वारा लगातार निगम में कार्यरत कर्मचारियों को पक्का किया जाने का काम किया जाता रहा है. निगम के द्वारा बीते 5 साल में अपने कार्यकाल के दौरान सफाई कर्मचारी नाला बेलदार शिक्षा के क्षेत्र में कार्यरत कर्मचारियों को पक्का किया जा रहा है. पांच साल में भाजपा शासित दक्षिण दिल्ली नगर निगम ने 1446 लोगों को पक्का किया जा चुका है.
दक्षिण दिल्ली नगर निगम में कार्यरत डीबीसी ओर फील्ड वर्कर्स कर्मचारियों को पक्का किया जाने पर मेयर मुकेश सूर्यान ने कहा कि डीबीसी ओर फील्ड वर्कर्स कर्मचारियों को पक्का करने से पहले सबसे महत्वपूर्ण प्रक्रिया पोस्ट क्रिएशन करने की होती है. जिसको लेकर बीते एक साल में निगम के द्वारा तीन बार दिल्ली सरकार को प्रस्ताव भेजा जा चुका है.
ये भी पढ़ें- delhi corona update : बीते 24 घंटे में 586 नए मामले, चार लोगों की मौत
लेकिन हर बार दिल्ली सरकार के द्वारा प्रस्ताव बिना पास किए ही वापस भेज दिया जाता है. 14 दिसंबर 2020, 8 मार्च 2021 और 29 अप्रैल 2021 तीनों बार दिल्ली सरकार को इस मामले पर फाइल भेजी गई. ताकि ना सिर्फ इस विषय मंजूरी मिले बल्कि पक्का किए जाने वाले कर्मचारियों के वेतन को लेकर फंड भी अलॉट किया जा सके, लेकिन तीनों बार दिल्ली सरकार के द्वारा फाइल को वापस भेज दिया गया.
मेयर मुकेश सूर्यान ने आगे अपनी बात रखते हुए यह भी कहा कि दक्षिण दिल्ली नगर निगम में बीजेपी की सरकार डीबीसी कर्मचारी फील्ड वर्कर्स के साथ निगम में कार्यरत अन्य कॉन्ट्रैक्ट और कच्चे कर्मचारियों को भी पक्का करना चाहती है. लेकिन दिल्ली सरकार के द्वारा निगमों के हक का फंड जबरन रोका जा रहा है, जिसकी वजह से पूरी प्रक्रिया को करने में दिक्कतें पेश आ रही हैं और ना ही दिल्ली सरकार के द्वारा इन संबंधों में निगम द्वारा भेजे जा रहे प्रस्तावों को पास किया जा रहा है.