नई दिल्ली: एनजीटी ने माइनिंग लीज को दो साल के लिए एनवायरमेंट क्लीयरेंस लेने से छूट देने वाले नोटिफिकेशन को चुनौती देनेवाली याचिका पर सुनवाई करते हुए वन और पर्यावरण मंत्रालय को नोटिस जारी किया है. एनजीटी चेयरपर्सन जस्टिस आदर्श कुमार गोयल की अध्यक्षता वाली बेंच ने चार हफ्ते के अंदर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया.
याचिका केरल के कार्यकर्ता नोबल एम पायकाडा ने दायर किया है. याचिका में वन और पर्यावरण मंत्रालय के 28 मार्च के उस नोटिफिकेशन को चुनौती दी गई है. जिसमें पर्यावरण को प्रभावित करने वाले प्रोजेक्ट शुरू करने से पहले एनवायरमेंट क्लीयरेंस लेने को जरूरी बताने वाले 2006 के नियमों में बदलाव किया गया है. यह बदलाव माइनिंग लीज को दो साल के लिए एनवायरमेंट क्लीयरेंस लेने की छूट देते हैं.
सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का उल्लंघन
याचिका में कहा गया है कि यह बदलाव सड़क, पाइपलाइन जैसे प्रोजेक्ट के लिए जमीन खोदने के लिए एनवायरमेंट क्लीयरेंस से छूट देते हैं. याचिका में कहा गया है कि माइनिंग लीज के लिए एनवायरमेंट क्लीयरेंस लेने का नियम सुप्रीम कोर्ट ने तय किया है और इससे छूट नहीं दी जा सकती है.