नई दिल्ली : राजधानी में इन दिनों चौथी लैंडफिल साइट के मामले को लेकर विवाद गरमाया हुआ है. दरअसल नगर निगम के द्वारा वर्तमान में दिल्ली की तीनों लैंडफिल साइट को 2023 तक खत्म करने की डेडलाइन तय की गई है. जिसके बाद बाहरी दिल्ली में नई जगह लैंडफिल साइट की स्थापना कर कूड़े का निस्तारण किया जाएगा. साथ ही पुरानी लैंडफिल साइट पर नए प्रोजेक्ट्स के तहत पार्क्स को डेवेलोप किया जाएगा. चौथी लैंडफिल साइट को लेकर निगम के द्वारा फिलहाल डीडीए को आवेदन कर दिया गया है. साथ ही निगम के अधिकारी पूरी योजना के ब्लूप्रिंट पर भी काम करना शुरू कर चुके हैं.
दिल्ली में तीनों नगर निगमों के एकीकरण के मद्देनजर संसद में विधेयक पास हो जाने के बाद राजधानी का राजनीतिक सर्गमियां तेज है. इस बीच आम आदमी पार्टी के द्वारा बीजेपी के ऊपर लगातार चौथी लैंडफिल साइट बनाए जाने को लेकर कई गंभीर आरोप लगाए जा रहे हैं. पूरे मामले पर दक्षिण दिल्ली नगर निगम के वर्तमान मेयर मुकेश सूर्यान का कहना है कि निगम में विपक्ष की भूमिका निभा रही AAP के पास वर्तमान समय में आरोप लगाने के अलावा और कोई काम नहीं बचा है. निगम में शासित बीजेपी की सरकार विपक्ष द्वारा लगाए गए आरोपों को गंभीरता से नही ले रही है, क्योंकि यह सभी आरोप AAP के द्वारा बिना किसी आधार और सबूतों के लगाए जाते हैं, जो झूठे हैं. आम आदमी पार्टी ने अपना नियम बना रखा है कि हर रोज बीजेपी की निगम पर कोई ना कोई आरोप लगाना है. उन्होंने कहा कि आज पंजाब में जनता आम आदमी पार्टी के नेताओं को ढूंढ रही है, क्योंकि वहां पर चुनाव जीतने के बाद पंजाब में आप की सरकार द्वारा किये गए वादे पूरे नहीं किए जा रहे हैं. पंजाब की जनता आज अपने सवालों के जवाब को लेकर आप के नेताओं और मंत्रियों को ढूंढ रही है, ताकि उनसे पूछ सके कि स्कूल स्वास्थ्य पेंशन की सुविधाओं को ठीक करने का काम शुरू क्यों नहीं हुआ.
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