नई दिल्ली: नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) ने 2018 में एक रिपोर्ट जारी की. रिपोर्ट में दिल्ली में एसिड अटैक के 15 मामले सामने आए हैं. रिपोर्ट में बताया गया कि राजधानी में 2018 में पांच महिलाओं पर एसिड अटैक हुआ. वहीं 10 ऐसे मामले थे जिनमें महिलाओं पर एसिड अटैक की कोशिश की गई थी.
एनसीआरबी की जारी की गई रिपोर्ट के बारे में जब ईटीवी भारते ने महिलाओं से बात की तो जानिए उन्होंने क्या कहा.
दिल्ली यूनिवर्सिटी में पढ़ने वाली मुदिता का कहना था कि तमाम सरकारें महिलाओं की सुरक्षा का दावा करती हैं लेकिन लगातार जिस प्रकार हमारे सामने डाटा आता है उसे साफ सिद्ध होता है कि किसी भी सरकार में महिला सुरक्षित नहीं है. महिलाओं की सुरक्षा को लेकर कोई भी सरकार कोई कदम नहीं उठा रही है.
आज महिलाएं दिल्ली के किसी भी कोने में सुरक्षित नहीं है. यहां तक कि दिल्ली विश्वविद्यालय में भी हम महिलाओं के साथ छेड़छाड़ और दुर्व्यवहार जैसी घटनाएं देखते हैं. बच्चों तक के साथ रेप जैसी घटनाएं होती हैं.
इसके अलावा दिल्ली यूनिवर्सिटी के एक और छात्र कल्पना का कहना था कि अवेयरनेस को लेकर हाल ही में एक मूवी भी रिलीज की गई, बावजूद इसके लोग इस तरह की घटनाओं को लेकर जागरूक नहीं हो रहे हैं. फिल्में एसिड अटैक को लेकर एक संदेश दिया गया था , लेकिन फिर भी कुछ कारणों से फ़िल्म को बैन किया गया था, जोकि लोगों की मानसिकता को दर्शाता है लोग उस मैसेज को नहीं समझना चाहते बल्कि अपनी दकियानूसी सोच के पीछे ही दबे रहना चाहते हैं.