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Viveka Murder Case: विवेकानंद हत्याकांड में आरोपी सांसद अविनाश रेड्डी की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई टली

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Published : Apr 29, 2023, 10:35 AM IST

Updated : Apr 29, 2023, 1:31 PM IST

Viveka Murder Case Orders cannot be given saying not to take strict measures Telangana High Court Single Judge Clarification
विवेकानंद मर्डर केस, आरोपी सांसद अविनाश रेड्डी की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई टली

तेलंगाना हाईकोर्ट में पूर्वमंत्री वाईएस विवेकानंद रेड्डी की हत्या के मामले में आरोपी कडप्पा सांसद वाईएस अविनाश रेड्डी की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई 5 जून के लिए टाल दी गई.

हैदराबाद: पूर्वमंत्री वाईएस विवेकानंद रेड्डी की हत्या के मामले में आरोपी कडप्पा सांसद वाईएस अविनाश रेड्डी की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई हुई. एकल न्यायाधीश न्यायमूर्ति के. सुरेंद्र ने स्पष्ट किया कि चूंकि शुक्रवार को तेलंगाना उच्च न्यायालय का अंतिम कार्य दिवस है और शनिवार को ग्रीष्मकालीन अवकाश शुरू होता है, इसलिए याचिका की पूरी जांच नहीं की जा सकती है. उन्होंने याचिकाकर्ता के खिलाफ सख्त कार्रवाई नहीं करने के अंतरिम आदेश के अनुरोध को खारिज कर दिया. न्यायाधीश ने स्पष्ट किया कि सुप्रीम कोर्ट के आदेशों के संदर्भ में ऐसे आदेश नहीं दिए जा सकते.

जस्टिस के. सुरेंद्र ने कहा कि दलीलें सुनी भी जाएं तो अभी फैसला सुनाना संभव नहीं है और अग्रिम जमानत याचिका पर फैसला टालकर एक महीने तक लंबित रखना उचित नहीं है. अविनाश रेड्डी के वकील ने अनुरोध किया कि याचिकाकर्ता को गिरफ्तार किया जा सकता है और इसलिए अंतरिम आदेश के लिए कोई सख्त कार्रवाई नहीं की जानी चाहिए.

वे (अविनाश रेड्डी) जांच में पूरा सहयोग करने को तैयार हैं. अन्यथा, उन्हे गर्मी की छुट्टियों के दौरान एक विशेष अदालत के समक्ष पेश होने के लिए कहा जाए. इसपर न्यायाधीश ने कहा कि वह मामले को वापस नहीं भेज सकते हैं. यह मामला उनके पास है और इसपर फैसला मुख्य न्यायाधीश ले सकते हैं. याचिका पर आगे की सुनवाई 5 जून के लिए टाल दी गई.

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हम इतनी जल्दी में कैसे फैसला कर सकते हैं?: बाद में अविनाश रेड्डी के वकील ने मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति उज्जल भुइयां के सामने भी यही बात कही और उन्होंने इनकार कर दिया. उन्होंने सुझाव दिया कि ग्रीष्मकालीन अवकाश पीठ के समक्ष यह उल्लेख किया जाना चाहिए कि एकल न्यायाधीश के समक्ष क्या हुआ और वास्तविक मामला क्या है. यह जाने बिना अब इसकी अनुमति नहीं दी जा सकती. वकील ने कहा कि याचिकाकर्ता सांसद हैं और उन्हें गिरफ्तारी का डर सता रहा है, लेकिन मुख्य न्यायाधीश ने स्पष्ट किया कि वह इस मामले में दखल नहीं दे सकते हैं और इसका जिक्र ग्रीष्मकालीन अवकाश पीठ के समक्ष करें.

Last Updated :Apr 29, 2023, 1:31 PM IST
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