ETV Bharat / bharat

आईबी को एफआईआर दर्ज करने का अधिकार देने का कोई फैसला नहीं: केंद्रीय गृह मंत्रालय

author img

By

Published : Nov 16, 2022, 10:20 PM IST

कुछ समय पहले मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि इंटेलिजेंस ब्यूरो (intelligence bureau) को किसी भी मामले में प्राथिमिकी दर्ज करने, जांच करने और लोगों को पूछताछ के लिए बुलाने का अधिकार दिया जा सकता है. लेकिन केंद्रीय गृह मंत्रालय (Union Home Ministry) ने इस दावे का खंडन कर दिया है.

Union Home Ministry
केंद्रीय गृह मंत्रालय

नई दिल्ली: केंद्रीय गृह मंत्रालय (Union Home Ministry) ने बुधवार को स्पष्ट किया कि इंटेलिजेंस ब्यूरो (intelligence bureau) को प्राथमिकी दर्ज करने, मामले की जांच करने और लोगों को पूछताछ के लिए बुलाने का अधिकार देने का सरकार द्वारा कोई निर्णय नहीं लिया गया है. मीडिया रिपोर्टों पर स्पष्ट करते हुए कि आईबी भी प्राथमिकी दर्ज कर सकती है, गृह मंत्रालय ने इस तरह की रिपोर्ट को फर्जी बताते हुए खंडन जारी किया.

गृह मंत्रालय ने कहा कि कुछ मीडिया रिपोर्टों में दावा किया गया है कि संसद के आगामी शीतकालीन सत्र में एक विधेयक पेश किया जाएगा, जिसके द्वारा खुफिया ब्यूरो प्राथमिकी दर्ज कर सकता है, मामले की जांच कर सकता है और पूछताछ के लिए लोगों को बुला सकता है. मंत्रालय ने कहा कि यह दावा फर्जी है और ऐसा कोई प्रस्ताव नहीं है.

मीडिया के एक वर्ग (ईटीवी भारत नहीं) ने रिपोर्ट किया है कि आईबी को अधिक अधिकार प्रदान करने के लिए एजेंसी को प्राथमिकी दर्ज करने, मामले की जांच करने और लोगों को पूछताछ के लिए बुलाने का अधिकार दिया जा सकता है. मीडिया रिपोर्टों में दावा किया गया था कि ऐसा संभव बनाने वाला एक विधेयक आगामी शीतकालीन सत्र में संसद में पेश किया जाएगा.

पढ़ें: FATF की ग्रे लिस्ट हटाने के बाद पाकिस्तान प्रायोजित आतंकी गतिविधियां बढ़ीं: सुरक्षा एजेंसियां

भारत की प्रमुख खुफिया एजेंसी, आईबी देश के भीतर से खुफिया जानकारी इकट्ठा करती है और काउंटर इंटेलिजेंस और आतंकवाद विरोधी कार्यों को भी अंजाम देती है. यह उन व्यक्तियों, समूहों पर नजर रखती है, जिनके आतंकवाद से संदिग्ध संबंध हैं. आईबी में वरिष्ठ अधिकारियों को देश भर से केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर नियुक्त किया जाता है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.