PFI नेताओं से फंडिंग और विदेशी कनेक्शन के बारे में पूछताछ कर रही NIA

author img

By

Published : Sep 23, 2022, 8:48 PM IST

NIA

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) और उससे जुड़े लिंक पर गुरुवार को देशभर में छापेमारी की थी. जांच एजेंसी टेरर फंडिंग और विदेशी कनेक्शन के बारे में आरोपियों से पूछताछ कर रही है. गौतम देबरॉय की रिपोर्ट.

नई दिल्ली: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने आतंकी फंडिंग मामले में देशव्यापी कार्रवाई के दौरान पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के नेताओं को गुरुवार को गिरफ्तार किया था. इनसे एनआईए मुख्यालय में पूछताछ की जा रही है. कथित तौर पर ये लोग जांच एजेंसियों के साथ सहयोग नहीं कर रहे हैं. नई दिल्ली में एक विशेष एनआईए अदालत ने सभी 19 आरोपियों को पांच दिनों के पुलिस रिमांड पर भेजा है. आरोपी 'जांच प्रक्रिया में सहयोग नहीं कर रहे हैं.'

पूछताछ प्रक्रिया में शामिल एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर ईटीवी भारत को बताया, 'हमें विश्वास है कि एक या दो दिन में हम उनकी फंडिंग और अन्य गतिविधियों के बारे में अधिक जानकारी प्राप्त करने में सक्षम होंगे.' अधिकारी ने कहा कि यदि आवश्यक हुआ तो सभी आरोपियों की पुलिस रिमांड बढ़ाने के लिए अदालत से अपील करेंगे.

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के गिरफ्तार नेताओं से पूछताछ शुरू कर दी है. एनआईए, पीएफआई फंडिंग और उसके विदेशी कनेक्शन का विवरण प्राप्त करने की कोशिश कर रहा है. 26 सितंबर तक आरोपियों को पुलिस रिमांड पर भेजा गया है. एनआईए और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की विशेष जांच टीम गिरफ्तार पीएफआई नेताओं से एक के बाद एक पूछताछ कर रही हैं.

ईडी भी कर रही पूछताछ में मदद : ईडी की टीमें भी पूछताछ प्रक्रिया में एनआईए की मदद कर रही हैं, क्योंकि यह मामला बड़े पैमाने पर टेरर फंडिंग से जुड़ा है. एजेंसियों का मानना ​​है कि PFI नेता टेरर फंडिंग में शामिल रहे हैं.

19 आरोपियों में ओएमए सलाम उर्फ ​​ओएम अब्दुल सलाम, जसीर केपी, वीपी नजरुद्दीन एलाराम उर्फ ​​नजरुद्दीन एलाराम, मोहम्मद बशीर, शफीर केपी, ई अबूबकर, प्रोफेसर पी. कोया उर्फ ​​कलीम कोया और ईएम अब्दुल रहमान केरल से हैं. इसी मामले में कर्नाटक से सात लोगों अनीस अहमद, अफसर पाशा, अब्दुल वाहिद सैत, यासर अराफत हसन, मोहम्मद शाकिब उर्फ ​​शाकिफ, मोहम्मद फारूक उर रहमान और शाहिद नासिर को गिरफ्तार किया गया था. एम मोहम्मद अली जिन्ना, मोहम्मद यूसुफ और एएस इस्माइल उर्फ ​​अप्पम्मा इस्माइल को तमिलनाडु से, जबकि वसीम अहमद को उत्तर प्रदेश से गिरफ्तार किया गया था.

एनआईए ने अपने रिमांड पेपर में स्पष्ट रूप से उल्लेख किया है कि पीएफआई अलकायदा, लश्कर ए तैयबा और आईएसआईएस जैसे आतंकवादी संगठनों में शामिल होने के लिए भोले-भाले युवाओं को प्रभावित करता था. एनआईए ने कहा कि जिहाद के नाम पर पीएफआई के सदस्यों और नेताओं ने आतंकवादी गतिविधियों में हिस्सा लिया. पीएफआई ने सरकारी नीतियों को झुकाने और जनता में नफरत पैदा करने का प्रयास किया.

आपत्तिजनक दस्तावेजों और डिजिटल उपकरणों की जब्ती का जिक्र करते हुए अधिकारी ने बताया कि एजेंसी जब्त सामग्री की भी बारीकी से जांच करेगी. एजेंसी का मानना ​​है कि अपनी गतिविधियां चलाने के लिए यह सोशल मीडिया का इस्तेमाल कर रहे थे.

पढ़ें- देश के 11 राज्यों में NIA और ED की रेड, PFI से जुड़े 106 से ज्यादा लोग गिरफ्तार

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.