दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ हड़ताल समाप्त,मांगे पूरी नहीं होने पर फिर आंदोलन की भी चेतावनी

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Published : Sep 22, 2022, 10:10 PM IST

Updated : Sep 23, 2022, 11:42 AM IST

Daily wage forest workers union strike ends

Daily wage forest workers union strike ends दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ से हड़ताल समाप्त कर दिया है. पिछले 34 दिनों से राजधानी रायपुर में प्रदर्शन कर रहे थे. अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक से चर्चा के बाद 4 बिंदुओं का मांग पत्र सौंपा गया और हड़ताल समाप्त कर दी गई. हालांकि दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी संघ ने मांगें पूरी नहीं होने पर साल 2023 के जनवरी या फरवरी महीने में फिर से बेमियादी आंदोलन की चेतावनी भी दी है.

रायपुर: राजधानी रायपुर में छत्तीसगढ़ दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ पिछले 34 दिनों से प्रदेशव्यापी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर थे. गुरुवार को छत्तीसगढ़ दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ के पदाधिकारी अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक अनीता नंदी से 4 बिंदुओं पर चर्चा के बाद हड़ताल समाप्त (Daily wage forest workers union strike ends) कर दिया है. अगर इनकी 4 बिंदुओं पर हुई चर्चा के बाद मांगें पूरी नहीं होती है तो साल 2023 में जनवरी या फरवरी महीने में फिर से छत्तीसगढ़ दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ प्रदेश व्यापी अनिश्चितकालीन आंदोलन करेगा. Chhattisgarh news

डीएफओ और एडीएम ने प्रदर्शनकारियों से की चर्चा: छत्तीसगढ़ दैनिक वेतन भोगी वन कर्मचारी संघ के प्रदेश महामंत्री राम कुमार सिन्हा ने बताया कि "23 सितंबर को प्रधान मुख्य वन संरक्षक कार्यालय का घेराव करने का अल्टीमेटम दिया था. जिसके बाद गुरुवार को रायपुर के एसएसपी रायपुर वृत्त के मुख्य वन संरक्षक डीएफओ और एडीएम प्रदर्शन स्थल पहुंचे. उन्होंने प्रदर्शनकारियों से चर्चा की. इसके बाद दैनिक वेतन भोगी संघ के पदाधिकारियों ने नवा रायपुर स्थित अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक अनीता नंदी को 4 बिंदुओं का मांग पत्र सौंपा. इस पर सहमति बनने के बाद हड़ताल समाप्त कर दी गई है. लेकिन मांगें अगर पूरी नहीं होती है तो जनवरी या फिर फरवरी के महीने में प्रदेशव्यापी आंदोलन किया जाएगा."

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इन 4 बिंदुओं पर सौंपा गया मांग पत्र: पहला यह कि नियमितीकरण और कार्यभारित आकस्मिकता निधि सेवा नियम लागू करने के लिए शासन को प्रस्ताव भेजा जाए और नियुक्ति आदेश दिया जाए. दूसरा छंटनी किए गए कर्मचारियों को वापस रखा जाए. तीसरा हड़ताल अवधि का वेतन कर्मचारियों को दिया जाए. चौथा हड़ताल अवधि के दौरान जिन दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों का आकस्मिक निधन हुआ है, उनके आश्रित परिवार को एकमुश्त 1 लाख रुपए अनुकंपा अनुदान दिया जाए.

Last Updated :Sep 23, 2022, 11:42 AM IST
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