पटना: राजधानी के पीरबहोर थाना इलाके में एक अस्पताल में भर्ती महिला की मौत हो गई. मृतक के परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर इलाज के दौरान लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है. वहीं, वहीं, पुलिस परिजनों की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर जांच में जुटी है.
इलाज में लापरवाही का आरोप
घटना राजधानी के पीरबहोर थाना क्षेत्र के सब्जी बाग इलाके की है. जहां एक निजी अस्पताल में भर्ती पुतली देवी की मौत हो गई. वहीं, परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर इलाज के दौरान लापरवाही बरतने का आरोप लगाया है. मृतक के भतीजे आदित्य ने बताया चाची 3 फीट ऊपर से निचे गिर गई थी. इसी का इलाज कराने वह पूर्णिया से पटना के पीएमसीएच 21 सितंबर को पहुंचे थे. उसने कहा कि बेहतर इलाज के लिए मरीज को यहां लेकर पहुंचे थे. लेकिन पीएमसीएच में मौजूद दलालों के चक्कर में फंसकर मरीज की जान चली गई.
अस्पताल प्रबंधन पर मारपीट का आरोप
परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर मारपीट और जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाया है. उनका कहना है कि जब उन्होंने मरीज की मौत के बाद इसका विरोध जताया. जिसके बाद अस्पताल प्रबंधन के जरिए मारपीट और जान से मारने की धमकी दी गई. परिजनों का आरोप है कि इलाज के दौरान सादे कागज पर लिखकर दवाइयां दी जाती थीं. उन्होंने बताया कि पक्की रसीद मांगने पर भी अस्पताल प्रबंधन सादे कागज पर लिखकर दवा का हिसाब देता था. वहीं, अस्पताल प्रबंधन ने परिसर में लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज दिखाकर अपने ऊपर लगे सभी आरोपों का खंडन किया है. वहीं, परिजनों की तहरीर पर पुलिस अस्पताल प्रशासन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच में जुट गई है.
तय होता है कमीशन
गौरतलब है कि निजी अस्पतालों में मरीज को भर्ती कराने के लिए अस्पताल प्रबंधन और दलालों के बीच 50% कमीशन तय होता है. इन दलालों को पीआरओ भी कहा जाता है. जो मरीजों के परिजनों को कम दाम में इलाज का हवाला देकर अस्पतालों में भर्ती करवा देते हैं. उसके बाद अस्पताल के जरिए मंहगे बिल बनाने का खेल शुरू किया जाता है. जिसके बाद पीआरओ अपना कमीशन लेकर मरीज से किनारा कर लेते हैं.