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तेज प्रताप ने बताया 'सुशासनी प्रेत'! डूबते बिहार की इन तस्वीरों पर आप क्या कहेंगे?

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Published : Jul 15, 2021, 5:37 PM IST

कोसी, गंडक, बागमती, कमला बलान, गंगा, बूढ़ी गंडक, सरयू, पुनपुन, महानंदा, सोन, लखनदेई, अवधारा, फाल्गू. ये वो नदियां हैं जो बिहार में जितनी खुशहाली नहीं लातीं उससे ज्यादा तबाही का कारण हर साल बनती हैं. ऐसी ही कुछ तस्वीरें एक बार फिर विभिन्न जिलों से आई है. पढ़ें पूरी खबर

tej pratap yadav targets cm nitish for bihar flood
tej pratap yadav targets cm nitish for bihar flood

पटना: बिहार में नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं. नदियों के जलस्तर में हुई वृद्धि से आई बाढ़ ( Flood In Bihar ) ने लेागों की परेशानियां बढ़ा दी है. राज्य के बाढ़ प्रभावित इलाकों में लोग ऊंचे स्थानों पर शरण लिए हुए हैं. इस बीच, बाढ़ के कारण रेलों के परिचालन पर भी असर पड़ा है.

दरअसल, उत्तरी बिहार में लगातार हो रही भारी बारिश ( Heavy Rain ) से स्थिति असामान्य होती जा रही है. इससे कई जिले बाढ़ की चपेट में आ गए हैं. इस सबके बीच आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव ( Tej Pratap Yadav ) ने ट्वीट कर सीएम नीतीश ( CM Nitish Kumar ) पर निशाना साधा है. तेज प्रताप ने ट्वीट किया- 'तो भइया, ये तस्वीरें बिहार की है. जी हां उसी बिहार की जहां 16 सालों से लगातार 'सुशासनी प्रेत' वास कर रहा है..!'

  • तो भइया, ये तस्वीरें बिहार की है। जी हाँ उसी बिहार की जहां 16 सालों से लगातार “सुशासनी प्रेत” वास कर रहा है..! pic.twitter.com/TxKvJyElIl

    — Tej Pratap Yadav (@TejYadav14) July 14, 2021 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

बता दें कि बिहार जल संसाधन विभाग के मुताबिक, गुरुवार सुबह आठ बजे वीरपुर बैराज में कोसी नदी का जलस्तर 1.68 लाख क्यूसेक दर्ज किया गया था. जिसके बाद कोसी के जलस्तर के बढ़ने की संभावना है. इधर, वाल्मीकिनगर बैराज में गंडक का जलस्तर स्थिर बना हुआ है. यहां सुबह छह बजे और आठ बजे गंडक का जलस्राव 1.55 लाख क्यूसेक दर्ज किया गया था.

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जल संसाधन विभाग के मुताबिक, बागमती नदी, बूढ़ी गंडक, कमला बलान और खिरोई नदी कई स्थानों पर खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. बागमती नदी मुजफ्फरपुर के बेनीबाद और दरभंगा के हायाघाट के पास खतरे के निशान से ऊपर बह रही है, जबकि बूढ़ी गंडक मुजफ्फरपुर के सिकंदरपुर, समस्तीपुर के रेल पुल, रोसड़ा रेल पुल तथा खगड़िया के पास लाल निशान को पार कर गई है.

कमला बलान नदी मधुबनी के झंझारपुर रेल पुल के पास खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. खिरोई नदी दरभंगा के एकमी घाट और कमतौल के पास खतरे के निशान से ऊपर बह रही है.

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बाढ़ के कारण राज्य के 10 जिले प्रभावित बताए जा रहे हैं. मुजफ्फरपुर, पश्चिमी चंपारण, समस्तीपुर, दरभंगा में स्थिति खराब हो रही है. समस्तीपुर में एक रेल पुल पर बाढ़ के कारण संकट मंडरा रहा है.

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इस बीच, गुरुवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एक बार फिर बाढ़ प्रभावित बेगूसराय, खगड़िया, भागलपुर और मधेपुरा का हवाई सर्वेक्षण किया. मुख्यमंत्री के साथ जल संसाधन मंत्री (Water Resources Minister) संजय झा और विभागीय सचिव हवाई सर्वेक्षण में शामिल रहे. हवाई सर्वेक्षण के बाद मुख्यमंत्री वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से बैठक भी करेंगे और दिशा निर्देश देंगे.

इधर, बाढ़ के कारण रेलों के परिचालन पर भी असर दिख रहा है. समस्तीपुर मंडल के दरभंगा-समस्तीपुर रेलखंड के मुक्तापुर-समस्तीपुर स्टेशन (डाउन लाइन) के मध्य रेल पुल संख्या 1 पर बाढ़ के पानी के बढ़ते स्तर को देखते हुए समस्तीपुर-दरभंगा रेलखंड पर लगातार छठे दिन रेलों का परिचालन बंद है। इस रेलखंड पर चलने वाली 10 ट्रेनें रद्द कर दी गईं तथा इस रेखंड से गुजरने वाली पांच ट्रेनों के मार्ग में परिवर्तन कर चलाया जा रहा है।

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दरअसल, बिहार में बाढ़ (Bihar flood) एक ऐसी कहानी बन चुकी है, जिसके हालात में साल दर साल कभी कोई सुधार होता नहीं दिखा. अभी बिहार के अलग-अलग हिस्सों लगातार ऐसे तस्वीरें सामने आ रही हैं, जहां सड़क, रेलवे लाइन, घर पानी में डूबे दिख रहे हैं. लोग अपने घर को छोड़कर सुरक्षित जगहों पर जा रहे हैं.

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