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न्यायाधीशों के बंगले के सामने बहुमंजिला निर्माण पर स्वप्रेरित प्रसंज्ञान - Rajasthan High Court

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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : May 15, 2024, 8:50 PM IST

Rajasthan High Court, न्यायाधीशों के बंगले के सामने बहुमंजिला निर्माण पर राजस्थान हाईकोर्ट ने स्वप्रेरित प्रसंज्ञान लिया है. यहां जानिए पूरा मामला...

Rajasthan High Court
राजस्थान हाईकोर्ट (ETV Bharat Jaipur)

जयपुर. राजस्थान हाईकोर्ट ने गांधीनगर स्थित न्यायाधीशों के बंगलों के सामने हो रहे बहुमंजिला निर्माण पर यथा-स्थिति के आदेश दिए हैं. इसके साथ ही अदालत ने ऐसी बहुमंजिला इमारतों को मंजूरी देने पर सवाल उठाते हुए ऐसे निर्माण से लोगों के पानी-बिजली व रोशनी पर आए संकट और न्यायाधीशों की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई है. जस्टिस गणेश राम मीणा ने यह आदेश प्रकरण में स्वप्रेरित प्रसंज्ञान लेते हुए दिए.

अदालत ने प्रकरण को जनहित याचिका के रूप में दर्ज करने का आदेश देते हुए इसे मुख्य न्यायाधीश के समक्ष भेजा है. वहीं, अदालत ने इन इमारतों से न्यायाधीशों की सुरक्षा व निजता को लेकर हाईकोर्ट प्रशासन से सुरक्षा के संबंध में रिपोर्ट तैयार करने को कहा है.

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अदालत ने मास्टर प्लान को लेकर गुलाब कोठारी की याचिका पर दिए आदेश की पालना में जोन तय किए बिना बहुमंजिला इमारतों के निर्माण को मंजूरी देने पर नाराजगी जताई. कोर्ट ने सवाल उठाया कि डार्क जोन की समस्या और हरियाली व पर्यावरण के पहलू को ध्यान में रखे बिना ऐसी इमारतों को मंजूरी कैसे दी जा रही है. कोर्ट ने एमसी मेहता के मामले में सुप्रीम कोर्ट की ओर से दिए आदेशों का हवाला देते हुए माना की बिना जोन तय किए कंक्रीट के जंगल खडे करने की मंजूरी देने से हरियाली व मोर जैसे पक्षियों को खतरा पैदा हो रहा है.

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