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नागौर में बेनीवाल को कांग्रेस का सहारा, भाजपा की ज्योति मिर्धा से है मुकाबला - Lok Sabha Elections 2024

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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : Mar 27, 2024, 8:40 AM IST

Lok Sabha Elections 2024, राजनीति में कुछ भी स्थायी नहीं होता है. कभी दुश्मनी तो कभी दोस्ती आम बात है. वहीं, इन दिनों इसकी ताजा बानगी नागौर में देखने को मिल रही है. आरएलपी सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल ने कांग्रेस संग गठबंधन कर लिया, जिसके बाद उन्हें संयुक्त प्रत्याशी के रूप में नागौर सीट से मैदान में उतारा गया है. यहां उनका मुकाबला कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आई ज्योति मिर्धा से है.

Lok Sabha Elections 2024
Lok Sabha Elections 2024

कुचामनसिटी. राजनीति में कुछ भी स्थायी नहीं होता है. न ही कोई स्थायी मित्र और न ही शत्रु होता है. कुछ ऐसा ही इन दिनों नागौर में भी देखने को मिल रहा है. आरएलपी सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल ने कांग्रेस संग गठबंधन कर लिया, जिसके बाद उन्हें संयुक्त प्रत्याशी के रूप में नागौर सीट से मैदान में उतारा गया है. वहीं, कभी कांग्रेस को भरे मंच से अपशब्द बोलने वाले बेनीवाल अब कांग्रेसी नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ जिले के दौरे पर प्रचार के लिए पहुंचे, जहां उन्होंने जनता से उन्हें जिताने की अपील की. वहीं, इस सीट पर उनका मुकाबला भाजपा की ज्योति मिर्धा से है, जो कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आईं और उन्हें पार्टी ने बतौर उम्मीदवार मैदान में उतारा है.

बेनीवाल की कांग्रेसी नेताओं से लड़ाई जगजाहिर : नावां में महेन्द्र चौधरी को विधानसभा चुनाव हराने में भी बेनीवाल का अहम योगदान रहा था. पहले विजय सिंह चौधरी से करीबी और फिर महेन्द्र चौधरी के भाई मोती सिंह चौधरी को जेल पहुंचाने वाले हनुमान बेनीवाल आज महेन्द्र चौधरी के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़े नजर आ रहे हैं. जिस रामनिवास गावड़िया को चुनाव हराने के लिए उन्होंने एड़ी चोटी का दम लगा दिया था. वो ही उनके सारथी बने हैं. वहीं, एक वक्त था, जब बेनीवाल महेन्द्र चौधरी के खिलाफ सरेआम अपशब्दों का इस्तेमाल करते थे. आज देश काल परिस्थितियां एकदम से बदल गई हैं. यही वजह है कि वो महेन्द्र चौधरी, रामनिवास गावड़िया, मुकेश भाकर और जाकिर हुसैन गैसावत बूते लोकसभा सीट बचाने की जुगत में जुटे हैं. इधर, ज्योति मिर्धा भाजपाई नेताओं के सहारे अपनी नाव पार लगाने के लिए पतवार चला रही है. ऐसे में अब देखना यह है कि सियासी गठबंधन के बाद नागौर से बेनीवाल को कितने वोट मिलते हैं या फिर केवल दिखावे के लिए मंच साझा हो रहा है.

Lok Sabha Elections 2024
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आज बेनीवाल करेंगे नामांकन : वहीं, आज (27 मार्च) बेनीवाल नागौर में जनसभा करने के बाद नामांकन दाखिल करेंगे. इस नामांकन सभा में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भी शामिल होंगे. नागौर लोकसभा सीट पर पहले चरण में मतदान होना है. नागौर के प्रमुख कांग्रेस नेताओं की बैठक और क्षेत्र के दौरे के बाद बेनीवाल ने नामांकन की तैयारियां शुरू कर दी है.

गठबंधन बदले, लेकिन समीकरण वही : गठबंधन और पार्टियां बदलकर फिर ज्योति और हनुमान बेनीवाल आमने-सामने हैं. 2019 में ज्योति मिर्धा कांग्रेस से उम्मीदवार थीं, जबकि हनुमान बेनीवाल एनडीए गठबंधन के उम्मीदवार थे. इससे पहले 2014 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस से ज्योति मिर्धा, बीजेपी से सीआर चौधरी और हनुमान बेनीवाल निर्दलीय मैदान में थे.

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लोकसभा क्षेत्र का किया दौरा : बेनीवाल ने नागौर जिलाध्यक्ष और मकराना विधायक जाकिर हुसैन गैसावत, नागौर से कांग्रेस विधायक हरेंद्र मिर्धा, लाडनूं विधायक मुकेश भाकर, परबतसर विधायक रामनिवास गावड़िया, नावां के पूर्व विधायक महेंद्र चौधरी के साथ नागौर लोकसभा क्षेत्र का दौरा करके चुनावी रणनीति पर मंथन किया. इस दौरे से पहले बेनीवाल ने महेंद्र चौधरी के घर जाकर उनसे मुलाकात की थी. जहां महेन्द्र चौधरी ने उनका मुंह मीठा करवाकर स्वागत किया था.

नागौर के कई कांग्रेसी नेताओं से बेनीवाल के तल्ख रिश्ते : नागौर के कई कांग्रेसी नेताओं से हनुमान बेनीवाल के रिश्ते तल्ख रहे हैं. कांग्रेस के खिलाफ चुनाव लड़ने के चलते इनके बीच सियासी लड़ाई भी रही है. चुनाव अभियान के दौरान बेनीवाल मिर्धा परिवार से लेकर कई नेताओं के खिलाफ तल्ख टिप्पणियां करते रहे थे. अब गठबंधन बाद पुरानी बातें भुलाकर साथ आने का मैसेज देने का प्रयास किया गया है.

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नागौर विधायक हरेंद्र मिर्धा के सामने उप चुनाव में हनुमान बेनीवाल के भाई नारायण बेनीवाल चुनाव लड़ चुके हैं. उस चुनाव में भी खूब तल्ख बयानबाजी की थी. इसके अलावा महेंद्र चौधरी के उप मुख्य सचेतक रहते उनके भाई मोती सिंह चौधरी पर हुए हत्या के मामले में बेनीवाल ने जयपुर कूच किया था. इस दौरान हुई सभा हनुमान बेनीवाल के सामने ही उनके समर्थकों ने महेन्द्र चौधरी के खिलाफ जमकर गाली-गलौच की थी. अब गठबंधन के बाद हनुमान बेनीवाल और महेंद्र चौधरी एक साथ नजर आ रहे हैं.

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