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हरियाणा में कबूतरबाजों को होगी 10 साल तक की सजा, शव रखकर प्रदर्शन पर रोक, विधानसभा में प्रस्ताव पारित

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By ETV Bharat Haryana Team

Published : Feb 28, 2024, 7:21 PM IST

Updated : Feb 28, 2024, 7:39 PM IST

Bill on Kabootarbazi in Haryana: हरियाणा में युवाओं को विदेश भेजने के नाम पर ठगी और उनके भविष्य से खिलवाड़ करने वाले एजेंटों पर सरकार अब शिकंजा कसने जा रही है. कबूतरबाजी पर को रोकने के लिए हरियाणा ट्रैवल एजेंटों का पंजीकरण और विनियमन विधेयक 2024 विधानसभा में पारित कर दिया गया है. आइये आपको बताते हैं कि इस विधेयक के तहत कितनी सजा का प्रावधान किया गया है.

Bill on Kabootarbazi in Haryana
Bill on Kabootarbazi in Haryana

चंडीगढ़: हरियाणा में विदेश भेजने के नाम पर युवाओं के ठगी के मामले बहुत ज्यादा बढ़ रहे हैं. ट्रैवल और वीजा एजेंट युवाओं को निशाना बनाकर उसके भविष्य के साथ खिलवाड़ करते हैं. कई बार गैरकानूनी तरीके से उन्हें विदेश भेजकर फंसा देते हैं. इसी को देखते हुए हरियाणा सरकार कबूतरबाजी के मामलों पर लगाम लगाने के लिए नया कानून लेकर आ रही है.

28 फरवरी को हरियाणा विधानसभा में कबूतरबाजी के मामलों पर लगाम लगाने के लिए हरियाणा ट्रैवल एजेंटों का पंजीकरण और विनियमन विधेयक 2024 पारित कर दिया गया. इस विधेयक को लेकर हरियाणा के गृह मंत्री अनिल विज ने कहा कि इसकी जरूरत इसलिए ज्यादा थी ताकि कबूतरबाज युवाओं को अपने चंगुल में ना फंसा सकें. और ऐसा करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा सके.

सैकड़ों फर्जी एजेंट गिरफ्तार- गृह मंत्री अनिल विज ने सदन में कहा कि कबूतरबाजी हरियाणा में गंभीर समस्या बन चुकी है, जिसके लिए यह विधेयक लाया गया है. विज ने बताया कि कबूतरबाजी के मामलों के लिए पूर्व आईपीएस अधिकारी भारती अरोड़ा की अध्यक्षता में एक एसआईटी गठित की गई थी. इस एसआईटी ने अपने कार्यकाल के दौरान 593 अभियुक्तों को गिरफ्तार किया और कबूतरबाजों से लगभग एक करोड़ 81 लाख 57 हजार 800 रुपए भी रिकवर किए ये थे. इसके बाद 17 अप्रैल 2023 में आईपीएस अधिकारी सिवाश कविराज की अध्यक्षता में एक और एसआईटी गठित की गई. इस एसआईटी ने अब तक 604 अभियुक्तों को गिरफ्तार करके 3 करोड़ 3 लाख 4 हजार रूपए रिकवर किए हैं.

हरियाणा में कबूतरबाजी पर नहीं था कानून- गृह मंत्री अनिल विज ने कहा कि कबूतरबाजी पर हरियाणा में कोई कानून नहीं था. कबूतरबाजों के चंगुल में फंसकर कई युवा विदेशों में पहुंच ही नहीं पाए. कई का पता ही नहीं है और कई डंकी रूट के जरिए जाकर फंस जाते हैं. इसीलिए विधानसभा में इस पर लगाम लगाने के लिए सख्त कानून लाया गया है ताकि युवाओं का भविष्य सुरक्षित रहे.

विधेयक में 10 साल तक की सजा- हरियाणा ट्रैवल एजेंटों का पंजीकरण और विनियमन विधेयक 2024 के तहत 3 से 10 साल की सजा और दो से पांच लाख रुपए तक जुर्माना होने के साथ-साथ संपति जब्त करने का प्रावधान भी किया गया है. अब कोई भी ट्रैवल एजेंट बिना पंजीकरण के कार्य नहीं कर सकेगा. उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने सुझाव दिया कि ऐसे नकली ट्रैवल एजेंटों के वित्तीय लेनदेन को भी फ्रीज करने का प्रावधान होना चाहिए. इस अनिल विज ने कहा कि ये सुझाव अच्छा है, इस पर विचार करके इसे भी सम्मिलित किया जाएगा.

हरियाणा विधानसभा में पारित हुए ये विधेयक:

  • सिगरेट और अन्य तंबाकू उत्पाद (विज्ञापन का प्रतिषेध और व्यापार तथा वाणिज्य, उत्पादन, प्रदाय और वितरण का विनियमन) हरियाणा संशोधन विधेयक, 2024 पारित किया गया ताकि युवाओं को नशे की लत से दूर रखते हुए उन्हें बर्बादी से बचाया जा सकें.
  • हरियाणा ट्रैवल एजेंटों का पंजीकरण और विनियमन विधेयक 2024: ट्रैवल एजेंटों की पारदर्शिता, उत्तरदायित्व, अखण्डता सुनिश्चित करने और उनकी अवैध और कपटपूर्ण गतिविधियों की जांच करने और अंकुश लगाने, हरियाणा राज्य के निवासियों के हितों की रक्षा करने के लिए ढांचा स्थापित करने और उससे सम्बन्धित या उसके आनुषंगिक मामलों के लिए विधेयक, हरियाणा ट्रैवल एजेंटों का पंजीकरण और विनियमन अधिनियम 2024 कहा जाएगा.
  • हरियाणा शव का सम्मानजनक निपटान विधेयक 2024- हरियाणा राज्य में शव के बुनियादी मानवाधिकारों को बनाए रखने और शव के सम्मानपूर्वक अंतिम निपटान के लिए और उससे सम्बन्धित मामलों के लिए विधेयक को संशोधित करने के लिए हरियाणा शव का सम्मानजनक निपटान विधेयक 2024 पारित किया गया.
  • शव का सम्मान विधेयक के मुताबिक मृत व्यक्ति के अधिकार और सम्मान को ध्यान में रखते हुए किसी को भी मृत शरीर का समय पर अंतिम संस्कार ना करके किसी भी विरोध या आंदोलन के माध्यम से किसी भी मांग को उठाने या आगे बढ़ाने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए. यह सुनिश्चित करना आवश्यक हो गया है कि कोई भी व्यक्ति किसी भी प्रकार के विरोध प्रदर्शन के लिए किसी शव का स्वयं उपयोग ना करे या उपयोग करने की अनुमति ना दे.
  • यह विधेयक 'हरियाणा शव का सम्मानजनक निपटान अधिनियम 2024' एक मृत शरीर के गरिमापूर्ण और समय पर अंतिम संस्कार के लिए प्रावधान करता है. यदि परिवार के सदस्य किसी शव को अस्वीकार कर देते हैं और जिससे वो अंतिम संस्कार से वंचित हो जाता है तो सार्वजनिक प्राधिकरण द्वारा ऐसे शव का अंतिम संस्कार किया जाएगा.

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Last Updated : Feb 28, 2024, 7:39 PM IST
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