हैदराबाद: मॉरिशस में आयोजित तीन दिवसीय 'अंतरराष्ट्रीय भोजपुरी महोत्सव' में सिवान के सपूत मनोज भावुक ने जलवा बिखेरा. उन्हें मॉरिशस सरकार ने भारत से बतौर रिसोर्स पर्सन और पैनलिस्ट आमंत्रित किया था. वहां उन्होंने भोजपुरी सिनेमा के सफर और संभावना पर न सिर्फ अपनी बात रखी, बल्कि इसी विषय पर अपनी बनाई डॉक्यूमेंट्री भी दिखाई. बता दें कि भोजपुरी साहित्य और सिनेमा पर ऐतिहासिक काम के लिए मनोज भावुक को फेमिना और फिल्मफेयर द्वारा सम्मानित किया जा चुका है.
वर्ष 2014 में भोजपुरी भाषा एवं साहित्य का प्रचार-प्रसार विश्व स्तर पर करने के लिए मॉरिशस के पूर्व राष्ट्रपति और पूर्व प्रधानमंत्री सर अनिरुद्ध जगन्नाथ ने मनोज भावुक को अंतरराष्ट्रीय भोजपुरी गौरव सम्मान, मॉरिशस 2014 से सम्मानित किया था और मॉरीशस के राष्ट्रपति कैलाश पुरयाग ने मनोज के भोजपुरी गजल-संग्रह 'तस्वीर जिंदगी के' का विमोचन किया था.
इस साल मॉरिशस सरकार के कला और संस्कृति विरासत मंत्रालय के तत्वावधान में 6 मई से 8 मई 2024, को अंतरराष्ट्रीय भोजपुरी महोत्सव का आयोजन मॉरिशस में किया गया, जिसमें अमेरिका, इंग्लैंड, दुबई, फिजी, सूरिनाम, नाइजीरिया, सिंगापुर, गयाना, त्रिनिदाद, नीदरलैंड, नेपाल अनेक देशों के प्रतिनिधियों के साथ भारत से मनोज भावुक को भी मॉरिशस सरकार की ओर से आमंत्रित किया गया था.
दस साल पूर्व भारत सरकार के आईसीसीआर द्वारा उन्हें मॉरिशस भेजा गया था. मनोज भोजपुरी भाषा के प्रचार-प्रसार के लिए अफ्रीका-यूरोप के कई देशों की यात्रा कर चुके हैं और पूरी दुनिया में भोजपुरी का परचम लहरा चुके हैं. भोजपुरी एसोसिएशन ऑफ युगांडा और भोजपुरी समाज लंदन के संस्थापक हैं- मनोज भावुक. विश्व भोजपुरी सम्मेलन की दिल्ली व ग्रेट ब्रिटेन इकाई के अध्यक्ष भी रह चुके हैं.
इस महोत्सव का उद्घाटन मॉरिशस के प्रधानमंत्री प्रविंद कुमार जगन्नाथ और समापन राष्ट्रपति पृथ्वीराज सिंह रूपन ने किया. स्वागत भोजपुरी स्पीकिंग यूनियन की चेयरपर्सन डॉ. सरिता बुधू ने की. कला और संस्कृति विरासत के मंत्री अविनाश तिलक ने कहा कि यह महोत्सव हमारे पूर्वजों को श्रद्धांजलि है.
2019 में प्रवासी सम्मेलन बनारस में प्रधानमंत्री प्रविंद कुमार जगन्नाथ ने इस महोत्सव के लिए घोषणा की थी जो कोविड की वजह से टलते-टलते 2024 में संभव हो पाया. पहली बार किसी देश की सरकार ने भोजपुरी महोत्सव का आयोजन किया. प्रधानमंत्री की घोषणा के बाद मनोज भावुक ने इसी आयोजन के लिए भोजपुरी जंक्शन का 'गिरमिटिया विशेषांक' निकाला, जिसमें भारत के साथ मॉरिशस के लेखकों ने भी अपना योगदान दिया. यह अंक प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति, कला व संस्कृति विरासत मंत्री समेत तमाम गणमान्य लोगों को भेंट किया गया.
पुस्तक प्रदर्शनी में भारत-मॉरिशस के लेखकों की भोजपुरी पुस्तकों के साथ मनोज भावुक संपादित भोजपुरी जंक्शन पत्रिका के 30 से अधिक विशेषांक शामिल थे.