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रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के दिन गोरखपुर में वैदेही और राघव ने लिया जन्म, घरों में हुई खुशियों की बरसात

रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के दिन जन्मे बच्चों का विशेष महत्व माना जा रहा था. गोरखपुर में वैदेही राघव का जन्म (Vaidehi and Raghav birth in Gorakhpur) हुआ. सोमवार को गोरखपुर में कुल 11 बच्चों का जन्म हुआ. इसमें सर्जरी और नॉर्मल दोनों डिलीवरी हुईं.

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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Jan 22, 2024, 6:39 PM IST

गोरखपुर: अयोध्या में भगवान श्री राम की प्राण प्रतिष्ठा उत्सव (Ram Mandir Pran Pratistha in Ayodhya) के दिन गोरखपुर जिला महिला अस्पताल में जिन बच्चों का जन्म हुआ, उनके माता-पिता ने भी इन पलों को यादगार बनाने के लिए अपने बच्चों का नाम राम और सीता के नाम पर रख दिया. किसी ने अपनी बेटी का नाम वैदेही, तो किसी ने अपने बेटे का नाम राघव रखा. राम और सीता भी लोगों के बच्चों के नाम रखे गए. जिला अस्पताल में प्राण प्रतिष्ठा के दिन (22 जनवरी 2024) को कुल 11 बच्चों का जन्म हुआ. इसमें सर्जरी और नॉर्मल दोनों डिलीवरी हुई.

जिस समय भगवान राम की अयोध्या में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आरती उतार रहे थे और उनका भाषण खत्म हो रहा था. दिन के ढाई बजे तक कल 6 बच्चों ने जन्म ले लिया था. इसमें तीन लड़के और तीन लड़कियां थी. गोरखपुर, कुशीनगर और संत कबीर नगर जिले से आई महिलाओं ने इन बच्चों को जन्म दिया. गोरखपुर शहर के हनुमंत नगर पादरी बाजार की निवासी शिवांगी पांडेय ने सोमवार को प्राण प्रतिष्ठा से पहले, पुत्र को जन्म दिया तो उनके परिवार के लोग खुशी से झूम उठे. सबने पहले से ही मन में ठान लिया था कि उनके घर लक्ष्मी स्वरूपा कन्या पैदा होती है, तो उनका नाम वैदेही रखेंगे और पुत्र हुआ तो राघव.

भगवान ने उनकी सुनी और जब पुत्र घर में पैदा हुआ, तो लोगों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा. अस्पताल में ही बच्चे का नाम राघव रख दिया. इसी प्रकार चांदनी शर्मा जो जिले के पिपराइच क्षेत्र की रहने वाली हैं, उन्होंने भी पुत्र को जन्म दिया. उनके घर वालों ने भी अपने बच्चे का नाम राम रखा. एक तरफ भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा से इनका मन खुशी से सराबोर था, तो दूसरी तरफ उनके परिवार में, प्रभु की कृपा से संतान के रूप में पुत्र रत्न की प्राप्ति हुई थी. यह उनकी खुशियों का मिठास दूना कर रही थी.

इसी प्रकार शहर के कूड़ाघाट की रहने वाली प्रतिभा गुप्ता को पुत्री रत्न की प्राप्ति हुई, तो उनके परिवार के लोग भी मायूस नहीं हुए. क्योंकि इन्हें भी अपने परिवार में पहली संतान के रूप में जो भी रत्न प्राप्त होने वाला था, उसका यह बेसब्री से इंतजार कर रहे थे. जब कन्या रूप में पुत्री प्राप्त हुई, तो उन्होंने भी उसका नाम वैदेही रखा. यह लोग घर से बेटे और बेटियों के नाम तय करके आए थे. यह लोग खुशी के मारे नर्स और डॉक्टर में मिठाई बांट रहे थे. अस्पताल प्रबंधन ने भी जन्म लेने वाले बच्चों के लिए बेहतर इंतजाम किये थे.

संत कबीर नगर की मुस्लिम महिला रहवरी खातून ने भी इस दौरान लड़की को जन्म दिया. उनकी बेटी का नाम, तो फिलहाल नहीं रखा गया लेकिन उसने कहा जब देश में लोग खुशी मना रहे हैं तो हमें भी बड़ी खुशी है. परिवार के लोग जो नाम उचित समझेंगे, वह रखा जाएगा. इसी प्रकार गीता और सुमिता मिश्रा ने भी बेटे और बेटी को जन्म दिया. इनका नाम प्रभु राम और माता सीता के विभिन्न नाम के रूप में रखा गया. महिला अस्पताल के अधीक्षक डॉ. जय कुमार ने बताया कि अस्पताल के रिकॉर्ड के अनुसार उनके यहां सोमवार को कुल 11 डिलीवरी हुईं.

ये भी पढ़ें- भगवान भास्कर 6 मिनट करेंगे रामलला का 'सूर्याभिषेक', वैज्ञानिकों ने बनाया ये स्पेशल डिवाइस

गोरखपुर: अयोध्या में भगवान श्री राम की प्राण प्रतिष्ठा उत्सव (Ram Mandir Pran Pratistha in Ayodhya) के दिन गोरखपुर जिला महिला अस्पताल में जिन बच्चों का जन्म हुआ, उनके माता-पिता ने भी इन पलों को यादगार बनाने के लिए अपने बच्चों का नाम राम और सीता के नाम पर रख दिया. किसी ने अपनी बेटी का नाम वैदेही, तो किसी ने अपने बेटे का नाम राघव रखा. राम और सीता भी लोगों के बच्चों के नाम रखे गए. जिला अस्पताल में प्राण प्रतिष्ठा के दिन (22 जनवरी 2024) को कुल 11 बच्चों का जन्म हुआ. इसमें सर्जरी और नॉर्मल दोनों डिलीवरी हुई.

जिस समय भगवान राम की अयोध्या में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आरती उतार रहे थे और उनका भाषण खत्म हो रहा था. दिन के ढाई बजे तक कल 6 बच्चों ने जन्म ले लिया था. इसमें तीन लड़के और तीन लड़कियां थी. गोरखपुर, कुशीनगर और संत कबीर नगर जिले से आई महिलाओं ने इन बच्चों को जन्म दिया. गोरखपुर शहर के हनुमंत नगर पादरी बाजार की निवासी शिवांगी पांडेय ने सोमवार को प्राण प्रतिष्ठा से पहले, पुत्र को जन्म दिया तो उनके परिवार के लोग खुशी से झूम उठे. सबने पहले से ही मन में ठान लिया था कि उनके घर लक्ष्मी स्वरूपा कन्या पैदा होती है, तो उनका नाम वैदेही रखेंगे और पुत्र हुआ तो राघव.

भगवान ने उनकी सुनी और जब पुत्र घर में पैदा हुआ, तो लोगों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा. अस्पताल में ही बच्चे का नाम राघव रख दिया. इसी प्रकार चांदनी शर्मा जो जिले के पिपराइच क्षेत्र की रहने वाली हैं, उन्होंने भी पुत्र को जन्म दिया. उनके घर वालों ने भी अपने बच्चे का नाम राम रखा. एक तरफ भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा से इनका मन खुशी से सराबोर था, तो दूसरी तरफ उनके परिवार में, प्रभु की कृपा से संतान के रूप में पुत्र रत्न की प्राप्ति हुई थी. यह उनकी खुशियों का मिठास दूना कर रही थी.

इसी प्रकार शहर के कूड़ाघाट की रहने वाली प्रतिभा गुप्ता को पुत्री रत्न की प्राप्ति हुई, तो उनके परिवार के लोग भी मायूस नहीं हुए. क्योंकि इन्हें भी अपने परिवार में पहली संतान के रूप में जो भी रत्न प्राप्त होने वाला था, उसका यह बेसब्री से इंतजार कर रहे थे. जब कन्या रूप में पुत्री प्राप्त हुई, तो उन्होंने भी उसका नाम वैदेही रखा. यह लोग घर से बेटे और बेटियों के नाम तय करके आए थे. यह लोग खुशी के मारे नर्स और डॉक्टर में मिठाई बांट रहे थे. अस्पताल प्रबंधन ने भी जन्म लेने वाले बच्चों के लिए बेहतर इंतजाम किये थे.

संत कबीर नगर की मुस्लिम महिला रहवरी खातून ने भी इस दौरान लड़की को जन्म दिया. उनकी बेटी का नाम, तो फिलहाल नहीं रखा गया लेकिन उसने कहा जब देश में लोग खुशी मना रहे हैं तो हमें भी बड़ी खुशी है. परिवार के लोग जो नाम उचित समझेंगे, वह रखा जाएगा. इसी प्रकार गीता और सुमिता मिश्रा ने भी बेटे और बेटी को जन्म दिया. इनका नाम प्रभु राम और माता सीता के विभिन्न नाम के रूप में रखा गया. महिला अस्पताल के अधीक्षक डॉ. जय कुमार ने बताया कि अस्पताल के रिकॉर्ड के अनुसार उनके यहां सोमवार को कुल 11 डिलीवरी हुईं.

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