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हरीश धामी बोले- बहुत हो गया अब, कांग्रेस हाईकमान मुझे बनाएं नेता प्रतिपक्ष

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Published : Mar 15, 2022, 5:14 PM IST

Updated : Mar 15, 2022, 5:31 PM IST

पहले से ही गुटबाजी में उलझी कांग्रेस की उत्तराखंड विधानसभा 2022 के चुनाव में मिली हार के बाद गुटबाजी सतह पर आ गई है. आने वाले दिनों में संगठनात्मक स्तर पर चुनाव भी होने हैं. लेकिन, उससे पहले ही धारचूला विधायक हरीश धामी ने खुद को नेता प्रतिपक्ष बनाने की मांग की है.

Harish Dhami Leader of Opposition
हरीश धामी नेता प्रतिपक्ष

देहरादून/पिथौरागढ़:उत्तराखंड विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद जहां बीजेपी बहुमत के बाद भी मुख्यमंत्री के नाम को लेकर मंथन पर जुटी है. वहीं, कांग्रेस से भी नेता प्रतिपक्ष के पद को लेकर आवाज बुलंद होने लगी है. धारचूला से कांग्रेस विधायक हरीश धामी ने कांग्रेस आलाकमान से युवाओं को नेतृत्व सौंपने की गुहार लगाई है.

उत्तराखंड विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की हार के बाद से वरिष्ठ नेता एक-दूसरे को हार के लिए जिम्मेदार ठहरा रहे हैं. जहां बीते दिन गणेश गोदियाल ने मुस्लिम यूनिवर्सिटी को लेकर हरीश रावत को निशाने पर लिया था. वहीं, कांग्रेस नेता रणजीत रावत ने भी हरीश रावत पर टिकट बेचने का आरोप लगाया है. ऐसे में चुनाव में कांग्रेस की हार के बाद पार्टी के अंदर ही नेताओं के बीच सिर फुटव्वल चल रही है.

इसी बीच धारचूला से कांग्रेस विधायक हरीश धामी के ट्वीट ने अब प्रदेश कांग्रेस के भीतर खलबली मचा दी है. हरीश धामी ने अपने ट्वीट में लिखा है कि जिस तरह से बीजेपी युवा नेतृत्व को आगे बढ़ा रही है. उसी तरह कांग्रेस को भी नेता प्रतिपक्ष के लिए मुझे मौका देना चाहिए. बहुत हो गया अब. कांग्रेस आलाकमान को नए नेतृत्व पर विचार करना होगा. वहीं, हरीश धामी ने इस ट्वीट में राहुल गांधी, प्रियंका गांधी, मुकुल वासनिक और हरीश रावत को भी टैग किया है.

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दरअसल, आने वाले दिनों में संगठनात्मक स्तर पर चुनाव भी होने हैं. इससे पहले नेता प्रतिपक्ष का भी चुनाव भी होना. फिलहाल यह दायित्व प्रीतम सिंह के पास है, लेकिन अगला नेता प्रतिपक्ष कौन होगा, इसे लेकर विधानमंडल दल की बैठक में चर्चा के बाद ही कुछ साफ होगा. पिछली बार प्रदेश अध्यक्ष का पद छोड़कर नेता प्रतिपक्ष का दायित्व संभालने के लिए प्रीतम ने पहले इनकार कर दिया था, लेकिन बाद में उन्हें मना लिया गया था.

इस बार भी प्रदेश अध्यक्ष और नेता प्रतिपक्ष पद के लिए पार्टी के भीतर गुट की स्थिति देखने को मिल सकती है. दोनों में से एक पद कुुमाऊं के हिस्से में जा सकता है. फिलहाल दोनों पद गढ़वाल में हैं. जीती सीटों का समीकरण देखें तो कुमाऊं का पलड़ा भारी है. कुमाऊं से जहां पार्टी को 11 सीटें मिली हैं तो वहीं हरिद्वार से पांच और देहरादून को मिलाकर गढ़वाल के हिस्से में मात्र तीन सीटें आई हैं. ऐसे में इन दोनों पदों पर गढ़वाल, कुमाऊं और मैदान का समीकरण देखा जाएगा.

वहीं, उत्तराखंड में कांग्रेस को मिली हार के बाद नेताओं के बीच बयानबाजी जारी है. ऐसे में कांग्रेस प्रदेश प्रभारी देवेंद्र यादव ने भी पार्टी नेताओं से सार्वजनिक तौर पर ऐसी बयानबाजी न करने को लेकर दिशा निर्देश दिये हैं. वहीं, अब धारचूला विधायक ने पार्टी लाइन से हटकर सार्वजनिक मंच पर खुद को नेता प्रतिपक्ष बनाए जाने की मांग रखी है. लिहाजा, यह पैतरा हरीश धामी के लिए कितना कारगर होगा यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा.

Last Updated : Mar 15, 2022, 5:31 PM IST

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