ग्वालियर।वैसे तो आपको आए दिन पुलिस से जुड़ी ऐसी खबरें ही देखने और सुनने को मिलती हैं जिसमें उनकी तारीफ कम ही होती है लेकिन आज हम आपको पुलिस का मानवीय पक्ष से जुड़ा एक ऐसा चेहरा बताने जा रहे हैं जिसे पढ़कर आप भी तारीफ करने में पीछे नहीं रहेंगे. ग्वालियर पुलिस की मेहनत उस समय रंग लाई जब एक विक्षिप्त लापता युवक अपनों से मिल पाया. पुलिस के इस मानवीय पहल की सभी जगह प्रशंसा हो रही है.
पुलिस की पहल: चलिए आपको पूरा मामला बताते हैं कि आखिर एमपी की पुलिस ने यूपी के लाल को उसके घर कैसे पहुंचाया.ग्वालियर के बेहट थाना क्षेत्र के घुसगुंवा गांव में राजेश कुशवाहा के खेत में बीते 2 नवंबर को एक डरा-सहमा हुआ युवक मिला था. ये युवक ना तो किसी से बात कर रहा था और ना ही अपने बारे में किसी को बता रहा था. देखने में दिमाग से थोड़ा कमजोर भी लग रहा था. स्थानीय निवासियों ने इस बात की सूचना थाने में दी.थाना प्रभारी सुरेश कुशवाहा स्पॉट पर पहुंचे और युवक को लेकर थाने आ गए.
युवक ने कैसे बताया पता:थाने में इस युवक की जमकर खातेदारी की गई. उसे नहलाकर नए कपड़े पहनाए गए. युवक को जब खाना खिलाया तो बातचीत के दौरान उसने अपना नाम प्रद्युम्न पासवान बताया और पिता का नाम विजय पासवान बताया. अपने साथ हो रहे इस प्यार भरे व्यवहार से युवक बेहद खुश हुआ और थोड़ी बहुत बातचीत करने लगा.धीरे-धीरे बातचीत और प्यार भरे व्यवहार के सहारे पुलिस ने जब युवक से उसके बारे में पूछा तो उसने बताया कि उसे कुछ ठीक से याद नहीं है लेकिन कोई गाड़ी उसे मुरैना से यहां पर छोड़ गई थी. फिर उसने बताया कि वह उत्तर प्रदेश के गोरखपुर का रहने वाला है और उसके गांव का नाम गोरावर है. पुलिस के लिए इतनी जानकारी काफी थी.