दिल्ली

delhi

Tokyo Olympics: 'झारखंड से टोक्यो तक', कुछ ऐसा रहा है विश्व की नंबर 1 तीरंदाज दीपिका का सफर

By

Published : Jul 22, 2021, 7:47 PM IST

Jharkhand girls in Olympics  Archer Deepika Kumari  Tokyo Olympics  World No. 1 archer player  टोक्यो ओलंपिक 2020  ओलंपिक में झारखंड की खिलाड़ी  ओलंपिक में झारखंड की बेटिंयां  तीरंदाज दीपिका कुमारी  टोक्यो ओलंपिक  विश्व की नंबर-1 तीरंदाज खिलाड़ी  Indian Archery Team  भारतीय तीरंदाजी टीम  Sports News in Hindi  खेल समाचार

विश्व की नंबर- 1 महिला तीरंदाज दीपिका कुमारी टोक्यो ओलंपिक 2020 में चार सदस्यीय भारतीय तीरंदाजी टीम का नेतृत्व कर रही हैं. अभी कुछ दिन पहले ही दीपिका ने विश्व कप में गोल्ड मेडली जीता था और विश्व की नंबर- 1 खिलाड़ी बनीं. लिहाजा उनके माता-पिता और शिक्षक के साथ-साथ देश के लोगों को उनसे काफी उम्मीदें हैं.

रांची: टोक्यो ओलंपिक में दीपिका को तीरंदाजी इवेंट में सबसे बड़ा दावेदार माना जा रहा है. इस मुकाम तक पहुंचने के लिए दीपिका ने संघर्ष का लंबा सफर तय किया है. रांची लोहरदगा रोड पर रातू चट्टी के पास ऑटो चालक शिव नारायण महतो के घर दीपिका का जन्म हुआ था. घर की माली स्थिति बेहद खराब थी. पूरा परिवार एक छोटे से कमरे में रहता था. लेकिन पिता शिव नारायण महतो को भरोसा था कि प्रतिभा की धनी दीपिका एक दिन देश का नाम जरूर रोशन करेगी. दीपिका ने ऐसा किया भी.

अर्जुन मुंडा को पिता देते हैं श्रेय

दीपिका की प्रतिभा को सबसे पहले केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा और उनकी पत्नी मीरा मुंडा ने पहचाना. मीरा मुंडा की पहल पर दीपिका का टाटा आर्चरी एकेडमी में दाखिला हुआ. इसके बाद दीपिका ने पीछे मुड़कर नहीं देखा. पिछले साल दीपिका की शादी तीरंदाज अतनु दास के साथ कोरोना प्रोटोकॉल को निभाते हुए रांची में हुई थी. उसी समय दीपिका ने कहा था कि उनका एकमात्र लक्ष्य है, ओलंपिक में देश को गोल्ड मेडल जीताना.

दीपिका के पिता से बातचीत

यह भी पढ़ें:वायु सेना के 5 कर्मी भारतीय ओलंपिक दल में शामिल

गुरुजी से मिले बिना नहीं जाती

दीपिका की शुरुआती शिक्षा एपीईजी आवासीय विद्यालय में कक्षा 7 तक हुई. ईटीवी भारत की टीम ने दीपिका के स्कूल पहुंची. वहां उसके शिक्षक से बातचीत की. शिक्षक बताते हैं कि दीपिका शुरू से ही लगनशील रही है. आज भी जब दीपिका रांची आती हैं तो उनसे मिले बिना नहीं जातीं.

दीपिका के शिक्षक से बातचीत

दीपिका के पड़ोसी क्यों कहते हैं 'दोहर'

दीपिका के पड़ोसी सरसो तेल विक्रेता ने बताया, दीपिका का जन्म किन विपरीत परिस्थितियों में हुआ और उसका निक नेम दीपिका दोहर क्यों पड़ा.

दीपिका के पड़ोसी से बातचीत

दरअसल, टोक्यो ओलंपिक में गए भारतीय दल में झारखंड की तीन बेटियां शामिल हैं. उसमें सबसे बड़ा नाम है तीरंदाज दीपिका कुमारी का. दीपिका इस समय विश्व की नंबर- 1 महिला तीरंदाज हैं. उनसे पूरे देश को गोल्ड की उम्मीदे हैं, क्योंकि कुछ दिन पहले ही दीपिका कुमारी ने विश्व कप में तीन गोल्ड जीते थे. दीपिका कुमारी एशियन चैंपियनशिप, कॉनवेल्थ गेम्स और विश्व कप सभी में गोल्ड जीत चुकी हैं. इस बार ओलंपिक की बारी है.

यह भी पढ़ें:ओलंपिक गेम्स: अतीत के रोचक तथ्य

चार बार जीत चुकी हैं गोल्ड

झारखंड के राची जिले के रातु चट्टी में 13 जून 1994 में दीपिका कुमारी का जन्म हुआ. दीपिका के पिता ऑटो रिक्शा चलाते थे. उसने रांची से नर्सिंग की पढ़ाई की है. साल 2005 में दीपिका को अर्जुन आर्चरी एकेडमी में मौका मिला.

केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा की पत्नी मीरा मुंडा इस एकेडमी को चलाती हैं. साल 2006 में दीपिका ने टाटा आर्चरी एकेडमी ज्वॉइन कर लिया. जहां उसे ट्रेनिंग के साथ-साथ स्टाइपन भी मिलता था. साल 2009 में पहली बार उन्होंने कैडेट वर्ल्ड चैंपियनशिप में जीत दर्जकर अपनी प्रतिभा से सबको अवगत कराया.

दीपिका का परिचय

दीपिका के रिकॉर्ड्स

दीपिका अब तक एशियन चैंपियनशिप, कॉमनवेल्थ गेम्स और वर्ल्ड कप में 4 बार गोल्ड, तीन बार सिल्वर और चार बार ब्रॉन्ज मेडल जीत चुकी हैं. दीपिका कुमारी ने साल 2010 कॉमनवेल्थ गेम्स में दो गोल्ड जीतकर सबका ध्यान अपनी ओर खींचा था. इसी साल एशियन गेम्स में दीपिका ने ब्रॉन्ज जीता था. साल 2010 के बाद से उन्होंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा.

दीपिका के रिकॉर्ड्स

यह भी पढ़ें:IND vs SL 3rd ODI: कब और कहां देखें भारत-श्रीलंका के बीच होने वाला तीसरा ODI

साल 2011 वर्ल्ड चैपियनशिप और एशियन आर्चरी चैंपियनशिप में सिल्वर पर कब्जा जमाया. साल 2012 में दीपिका कुमारी दुनियां की नंबर वन खिलाड़ी बन गई. साल 2013 एशियन आर्चरी चैंपियनशिप में गोल्ड जीतते हुए अपना बेहतरीन प्रदर्शन उसने जारी रखा. साल 2015 में वर्ल्ड चैंपियनशिप में सिल्वर और एशियन आर्चरी चैंपियनशिप में सिल्वर और ब्रॉन्ज पर कब्जा जमाया. साल 2015 के बाद दीपिका खराब फॉर्म से जुझने लगी. साल 2019 एशियन आर्चरी चैंपियनशिप में दो ब्रॉन्ज जीतकर उनसे फिर से अपना लय पा लिया. इसी साल 2021 वर्ल्ड कप में तीन गोल्ड पर कब्जा कर फिर से विश्व की नंबर-1 तीरंदाज बन गई.

ABOUT THE AUTHOR

...view details