नई दिल्ली/नूंह: जिले में जन्म जात दोष से ग्रस्त बच्चों को इलाज के बाद सम्मानित किया गया है.सिविल सर्जन डॉ सुरेंद्र यादव ने बताया कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत 0 से 18 वर्ष के बच्चों की जांच के लिए जिले में 13 मोबाइल हेल्थ टीमें कार्यरत हैं.
डॉ. सुरेंद्र यादव ने बताया कि प्रत्येक टीम में 2 आयुष चिकित्सा अधिकारी( महिला एवं पुरुष), एक फार्मेसी अधिकारी होती है. यह वर्ष में 2 बार आंगनवाड़ी केंद्र और एक बार स्कूलों में बच्चों की जांच करती है.
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डॉ. सुरेंद्र यादव ने बताया कि जांच के उपरांत बच्चों की बीमारी अनुसार इलाज किया जाता है.बच्चों का इलाज स्वास्थ्य विभाग हरियाणा द्वारा सरकारी एवं आधुनिक स्वास्थ्य सेवाओं से सुसज्जित प्राइवेट अस्पतालों में नि:शुल्क प्रदान करवाया जाता है. जिसमें लाभार्थियों से कोई भी शुल्क नहीं लिया जाता है.
राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम मिशन के उप सिविल सर्जन डॉ.आशीष सिंगला ने बताया कि जिला प्रारंभिक हस्तक्षेप केंद्र द्वारा कोविड महामारी के प्रकोप को देखते हुए भी 55-60 सर्जरी, दिल में छेद ,कटे होंठ एवं तालु, न्यूरल ट्यूब डिफेक्ट आदि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत नि:शुल्क प्रदान कराए हैं.
डॉ.आशीष सिंगला ने बताया कि इन उपचार प्राप्त लाभार्थियों के उत्साहवर्धन एवं मनोबल को बढ़ाने के लिए सम्मान समारोह आयोजित किया गया है.
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