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सिविल कोर्ट को जब हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट की तरह बराबरी का दर्जा देंगे तभी बदलेगी न्याय व्यवस्था: CJI

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Published : May 24, 2023, 7:04 PM IST

Updated : May 24, 2023, 8:51 PM IST

Statement of Chief Justice of India DY Chandrachud on judicial system
CJI DY Chandrachud in Ranchi ()

झारखंड हाईकोर्ट के नए भवन के उद्घाटन के दौरान सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने न्याय व्यवस्था को लेकर बड़ी बातें कही. उन्होंने कहा कि जब हम सिविल कोर्ट को बराबरी का दर्जा देंगे तभी न्याय की व्यवस्था बदलेगी.

भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़

रांची: झारखंड हाईकोर्ट भवन के उद्घाटन अवसर पर भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि झारखंड हाईकोर्ट का उद्घाटन देश की न्यायपालिका की व्यवस्था के लिए एक बड़ा उदाहरण है. आधुनिक राज्य और आधुनिक राष्ट्र के विकास का प्रतीक है. इस तरह के भवन के निर्माण से न्याय भवन की प्रतिष्ठा तो बढ़ती ही है साथ ही जो लोग न्याय के लिए आते हैं उसपर खरा उतरना भी न्यायपालिका की जिम्मेदारी है. न्यायपालिका में अगर न्याय जल्दी से नहीं मिल पाएगी तो उनकी आस्था न्याय में नहीं बनी रहेगी. जिला सत्र न्यायालयों को मजबूत बनाना हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट की जिम्मेदारी है.

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हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट जो भी ऑर्डर देते हैं वह हमारे सिविल कोर्ट के लिए सबोर्डिनेट की बात होती है. लेकिन जब उन्हें हम बराबरी का दर्जा देंगे तो उससे न्यायपालिका की व्यवस्था बदलेगी, जिला न्यायालय गरीब और आम लोगों के लिए सबसे बड़ी प्राथमिकता में होते हैं.

सीजेआई ने कहा कि लोगों तक नेटवर्क का जाना हमारी पहली प्राथमिकता होनी चाहिए और जब तक लोगों को छोटे-छोटे मामलों में लंबे समय तक न्याय का इंतजार करना होगा तब तक न्याय का सही मामला नहीं होगा. उन्होंने कहा कि आज हम लोगों को इस बात पर ध्यान रखना होगा कि हमारे संविधान में कितनी भाषाओं का वर्णन किया गया है. उन सभी भाषाओं का उपयोग उस क्षेत्र के लोगों को न्याय देने में हो. जितना जल्दी हो उन्हें कॉपी उपलब्ध कराई जाए. साथ ही न्याय देने के लिए जो न्यायालय बनाए गए हैं उनमें सुविधाएं भी हो.

चीफ जस्टिस ने कहा कि आज भी कई कचहरी ऐसी है जहां महिलाओं के लिए शौचालय नहीं है. एक चिंता का विषय है और इस पर ध्यान देने की जरूरत है. चीफ जस्टिस ने कहा कि आज भी हमारे समाज में आदिवासी और दूसरे समाज के लोगों के पास जमीन का दस्तावेज नहीं है, जिस पर बहुत ज्यादा नजर रखने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि झारखंड से हाईकोर्ट की शुरुआत देश में न्याय प्रणाली के लिए एक बड़ी बात कही जा सकती है.

Last Updated :May 24, 2023, 8:51 PM IST

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