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मल्लिकार्जुन खड़गे ने थैलीसीमिया के 14 बच्चों को संक्रमित खून चढ़ाने पर सरकार को घेरा, कहा-स्वास्थ्य व्यवस्था को कर दिया बीमार

By ETV Bharat Hindi Team

Published : Oct 25, 2023, 4:15 PM IST

Updated : Oct 25, 2023, 5:37 PM IST

कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे (Congress National President Mallikarjun Kharge) ने डबल इंजन की सरकार पर हमला बोला. कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कानपुर की सरकारी अस्पताल संबंधी व्यवस्था को लेकर ट्वीट किया है.

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कानपुर: डबल इंजन की सरकार ने हमारी व्यवस्था को डबल बीमार कर दिया है. कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कानपुर के एक सरकारी अस्पताल में 14 बच्चों को संक्रमित खून चढ़ाए जाने के मामले का संज्ञान लेते हुए ट्वीट किया. उन्होंने बुधवार सुबह ही अपने टि्वटर हैंडल से यह ट्वीट किया. इसके बाद से लखनऊ से लेकर कानपुर तक स्वास्थ्य महकमे में हड़कंप की स्थिति हो गई. हालांकि, जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज प्राचार्य डॉ.संजय काला का दावा है कि यह एक भ्रामक जानकारी है, जिसका प्रचार-प्रसार गलत ढंग से किया गया. प्राचार्य ने बुधवार को प्रेस वार्ता में इस मामले पर सारे साक्ष्य प्रस्तुत कर खंडन किया. जबकि, कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष के ट्वीट पर हजारों लोगों ने अपनी प्रतिक्रिया दी है. इससे एक बार फिर यूपी में सियासी पारा हल्की ठंड के बीच बढ़ रहा है.

कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष ने अपने ट्वीट में ये लिखा: डबल इंजन सरकार ने हमारी स्वास्थ्य व्यवस्था को डबल बीमार कर दिया है. यूपी के कानपुर में एक सरकारी अस्पताल में थैलीसीमिया के 14 बच्चों को संक्रमित खून चढ़ा दिया गया है, जिससे इन बच्चों को एचआईवी एड्स और हेपेटाइटिस बी, सी जैसी चिंताजनक बीमारियां हो गई हैं. ये गंभीर लापरवाही शर्मनाक है. मासूम बच्चों को भाजपा सरकार के इस अक्षम्य अपराध की सजा भुगतनी पड़ रही है. मोदी जी कल हमें 10 संकल्प लेने की बड़ी-बड़ी बातें सिखा रहे थे, क्या उन्होंने कभी अपनी भाजपा सरकारों की रत्ती भर भी जवाबदेही तय की है?

क्या था मामला, यहां जानिए:जीएसवीएम मेडिकल कॉलेज प्राचार्य डॉ. संजय काला ने बताया कि कुछ दिनों पहले कानपुर के एलएलआर अस्पताल में 11 बच्चों को ट्रांसफ्यूजन के तहत खून चढ़ाया गया. सभी बच्चों का पिछले 10 साल का रिकार्ड देखा गया, जिसमें दो के अंदर एचआईवी संक्रमित की पुष्टि मिली. अन्य में हेपेटाइटिस बी और सी का संक्रमण कई सालों पहले हो चुका था. अधिकतर बच्चे कानपुर से बाहर के हैं. एक सरकारी प्रक्रिया के तहत वह एलएलआर अस्पताल आए, जहां उन्हें खून चढ़ाने का काम नियमानुसार किया गया. कानपुर के सरकारी अस्पताल में लापरवाही जैसी कोई बात नहीं है. थैलीसीमिया के बच्चों को एक साल में 10 से अधिक बार ट्रांसफ्यूजन करना होता है. एचआईवी संक्रमित बच्ची भी दिल्ली की है. इस मामले पर विभाग की ओर से गलत जानकारी का प्रचार हुआ है. हमारे पास सारे साक्ष्य मौजूद हैं.

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Last Updated : Oct 25, 2023, 5:37 PM IST

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