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सांसद सरोज पांडे ने बालको के खिलाफ जांच की मांग की, राज्यसभा में उठाया मुद्दा

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Published : Aug 3, 2022, 9:58 PM IST

संसद में कोरबा की बालको कंपनी का मुद्दा (Monsoon Session of Parliament 2022) गूंजा. राज्यसभा सांसद सरोज पांडे ने राज्यसभा में बालको कंपनी पर अनियमितता के आरोप लगाए और इसकी जांच की मांग की (MP Saroj Pandey demands probe against Balco) है. इससे पहले छत्तीसगढ़ विधानसभा के मानसून सत्र में भी बालको का मुद्दा उठा था. बीजेपी विधायक ननकी राम कंवर ने इससे जुड़े सवाल पूछे थे.

MP Saroj Pandey demands probe against Balco
बालको के खिलाफ जांच की मांग

नई दिल्ली/कोरबा: छत्तीसगढ़ से राज्यसभा सांसद और बीजेपी की कद्दावर नेता सरोज पांडे ने कोरबा जिले में संचालित भारत अल्युमिनियम कंपनी लिमिटेड(Balco) का मुद्दा राज्यसभा में उठाया है. पांडे ने बालको को आड़े हाथ लेते हुए जांच की मांग की (MP Saroj Pandey demands probe against Balco) है. यह भी कहा है कि कंपनी ने नियमों का पालन नहीं किया इसकी जांच होनी चाहिए. आपको यह भी बता दें कि हाल ही में छत्तीसगढ़ के विधानसभा में भी पूर्व गृहमंत्री और कोरबा जिले से बीजेपी विधायक ननकीराम कंवर ने बालको से संबंधित प्रश्न विधानसभा में भी पूछा (Monsoon Session of Parliament 2022) था.

बालको में स्थानीय बेरोजगारों को रोजगार देने की मांग:संसद में सरोज पांडे ने शून्य काल में बालको से संबंधित प्रश्न राज्यसभा में पूछा. उन्होंने कहा कि "कंपनी का सालाना उत्पादन लगभग एक लाख टन था. जो वर्तमान में लगभग 5 लाख टन प्रतिवर्ष हो चुका है. यह उपक्रम देश के सबसे महत्वपूर्ण और बड़े अल्युमिनियम उत्पादकों में से एक है.अभी भी कंपनी की ऑडिट रिपोर्ट में लगातार नुकसान होना दिखाया जा रहा है. जिससे टैक्स देने से बचा जा सके और अन्य सामाजिक दायित्व के कार्य न किए जा सकें. साथ ही कंपनी रूल का पालन न करके अपने सभी वित्तीय दस्तावेजों को भी पब्लिक डोमेन में नहीं रखा जा रहा है. कंपनी द्वारा क्षमता विस्तार की अनुमति में भी अनेक अनियमितताएं हैं. जिस जमीन पर नए प्लांट बने हैं. उस जमीन का प्रकरण सुप्रीम कोर्ट में लंबित है. जिसे स्थानीय प्रशासन से छुपाया गया और अवैध रूप से अनुमति प्राप्त की गई. यह एक गंभीर विषय है और इसकी तुरंत जांच की जानी चाहिए. किसी भी उपक्रम की स्थापना इसीलिए की जाती है कि उस क्षेत्र का विकास हो. जहां यह स्थापित किया गया है और वहां के स्थानीय निवासियों को रोजगार मिल सके. लेकिन कंपनी द्वारा इन दोनों मूल नियमों का उल्लंघन किया जा रहा है. ना कंपनी ने स्थानीय मूलभूत सुविधाओं के लिए कोई कर किया न ही स्थानीय युवाओं को रोजगार प्रदान किया गया है".

बालको का मुद्दा संसद में उठा

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पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी के कार्यकाल में हुआ था बालको का विनिवेश:कोरबा में स्थित भारत एल्यूमिनियम कंपनी (बालको) को सन 2000 में भारत सरकार की विनिवेश नीति के तहत स्टरलाइट कंपनी को इसका हिस्सा बेचा गया था. इस कंपनी का 51 फीसदी शेयर स्टरलाइट कंपनी को विनिवेश नीति के तहत बेचा गया था. जिसके बाद से कंपनी का संचालन सार्वजनिक उपक्रम के तौर पर हो रहा है. भारत सरकार के पास अभी भी कंपनी का 49% हिस्सा शेष है. यह विनिवेश तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के कार्यकाल में सन 2000 में हुआ था. मजदूर संगठनों ने जमकर इसका विरोध किया था. छत्तीसगढ़ के प्रथम मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने तब कोरबा आकर कई दिनों तक धरना प्रदर्शन किया था.

ननकी राम कंवर ने भी पूछा था विधानसभा में सवाल :सरोज पांडे ने बुधवार को राज्यसभा में बालको से संबंधित मुद्दे को उठाया. शून्यकाल में बालको पर अनियमितताओं का आरोप लगाते हुए जांच की मांग की है. इसके पहले हाल ही में छत्तीसगढ़ की विधानसभा में मानसून सत्र का समापन हुआ है. इस दौरान कोरबा जिले से बीजेपी के विधायक और प्रदेश के पूर्व गृह मंत्री रह चुके ननकीराम कंवर ने भी बालको से संबंधित प्रश्न विधानसभा में पूछा था. उन्होंने पर्यावरण संबंधी सवाल खड़े किए किए थे. सवाल किया था कि एल्यूमिनियम उत्पादन के दौरान उत्सर्जित खतरनाक अपशिष्ट का सही तरह से निपटारा नहीं किया जा रहा है? सरकार की ओर से जवाब दिया गया कि बालको सभी तरह के नियमों का पालन कर रहा है. पर्यावरण विभाग से इसकी जांच हो चुकी है.

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