नई दिल्लीः राजधानी दिल्ली के ऊर्जा क्षेत्र में क्रांति लाने के लिए दिल्ली सरकार ने महत्वपूर्ण कदम उठाया है. दिल्ली सरकार और एमसीडी के 500 वर्गमीटर से बड़े 645 इमारतों पर ग्रिड-कनेक्टेड रूफटॉप सोलर प्लांट लगाए जाएंगे. इन प्लांटों की कुल क्षमता 50 मेगावाट होगी. मंगलवार को ऊर्जा मंत्री आतिशी ने इस परियोजना को मंजूरी दी.
उन्होंने कहा कि सरकारी इमारतों पर रूफटॉप सोलर प्लांट लगाने की ये पहल दिल्ली सोलर पॉलिसी का हिस्सा है. इस योजना के तहत 500 वर्गमीटर से अधिक क्षेत्रफल वाले लगभग 645 इमारतों (जिनमें शैक्षणिक संस्थान, स्वास्थ्य संस्थान, डीटीसी डिपो, डीटीएल सब स्टेशन और अन्य शामिल हैं) पर रूफटॉप सोलर प्लांट लगाए जाएंगे.
मंत्री आतिशी ने कहा कि 29 जनवरी 2024 को कैबिनेट से पारित दिल्ली सोलर पॉलिसी को भारत में सबसे अच्छी और सबसे प्रगतिशील पॉलिसी के रूप में देखा जा रहा है. यह पॉलिसी सौर ऊर्जा के रूप में ग्रीन एनर्जी के उत्पादन को बढ़ावा देगी. उन्होंने कहा कि ये शानदार प्रोजेक्ट सरकारी इमारतों को अपनी बिजली की जरूरतों को स्वयं पूरा करने में मददगार तो बनेगा ही साथ ही इससे पैसों की बचत के साथ-साथ पर्यावरण को भी फायदा होगा. लोग छतों पर सोलर पैनल लगवाकर कमाई कर सकेंगे.
उन्होंने कहा कि इस तरह की पहल के साथ हम अपनी सरकारी इमारतों को अधिक ऊर्जा-कुशल बनाने की दिशा में काम कर रहे हैं. ऊर्जा मंत्री ने कहा कि दिल्ली में बिजली की खपत में वृद्धि के बावजूद हमारा लक्ष्य 2027 तक शहर की 25 प्रतिशत बिजली सौर ऊर्जा संयंत्रों के माध्यम से उत्पन्न करना है. हमारे इस प्रयास का लक्ष्य सौर ऊर्जा उत्पादन के मामले में दिल्ली को देश के दूसरे राज्यों की तुलना में अव्वल रखना है.
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