दूध पीने से सरकारी स्कूल के बच्चों की बिगड़ी तबीयत, दूध के सैंपल लिए, होगी जांच

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Published : Dec 2, 2022, 4:15 PM IST

Updated : Dec 3, 2022, 9:28 PM IST

girl students fell ill after having milk in school during mid day meal in Hanumangarh

हनुमानगढ़ के एक सरकारी बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय में दूध पीने से 15 छात्राओं और 1 बालक की तबीयत अचानक बिगड़ (students fell ill after having milk in school) गई. दूध पीने के बाद बच्चियों को उल्टी और घबराहट की शिकायत हुई. इस पर अध्यापकों ने छात्राओं को जिला चिकित्सालय में भर्ती करवाया. बच्चों की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है. जांच के लिए दूध का सैंपल लिया गया है.

हनुमानगढ़. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की ओर से तीन दिन पहले प्रदेश भर के सरकारी स्कूलों में पहली से आठवीं तक के बच्चों को दूध वितरण के लिए शुरू की (students fell ill after having milk in school) गई. योजना का शुभारंभ होने के बाद शुक्रवार को पहली बार बच्चों को दूध वितरण किया गया. इस दूध का सेवन करने के कुछ देर बाद ही टाउन के सेठ राधाकिशन बिहाणी राजकीय बालिका उच्च माध्यमिक की 15 बालिकाओं व 1 बालक की तबीयत बिगड़ गई.

कक्षा तीन, चार व पांच के इन बच्चों में किसी का जी मचलने लगा, तो किसी को उल्टी और किसी को लूज मोशन की शिकायत हो गई. दूध पीने से तबीयत बिगड़ने का पता चलते ही स्कूल स्टाफ, शिक्षा विभाग के अधिकारियों के और प्रशासन में हड़कंप मच गया. स्कूल स्टाफ ने सभी 16 बच्चों को टाउन के राजकीय चिकित्सालय पहुंचाया. अस्पताल में भाजपा नेता अमित सहू भी पहुंचे और बच्चों का हालचाल जाना.

दूध पीने से बच्चों की तबीयत बिगड़ने पर क्या बोले अधिकारी...

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सभी ट्रोमा सेंटर में भर्ती: एडीएम सहित शिक्षा विभाग के अधिकारी जिला अस्पताल की तरफ दौड़े. अभिभावक भी ट्रोमा सेंटर पहुंचे और अपने-अपने बच्चों का हाल जाना. बच्चों की हालत खतरे से बाहर होने पर सभी ने राहत की सांस ली. एडीएम प्रतिभा देवठिया, एसडीएम डॉ. अवि गर्ग, बाल कल्याण समिति अध्यक्ष जितेन्द्र गोयल, सीडीईओ रामेश्वर गोदारा, सीबीईओ सीमा भल्ला, पीएमओ डॉ मुकेश पोटलिया सहित अन्य अधिकारियों ने भर्ती बच्चों से बात की. हालांकि अधिकारियों ने दूध की गुणवत्ता पर संदेह नहीं जताया. चिकित्सकों का कहना था कि दूध में ही कोई कमी रही, जिसकी वजह से बच्चों की तबीयत बिगड़ी. प्रशासन की ओर से बच्चों को वितरित किए गए दूध के सैंपल लिए गए हैं.

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लिए सैंपल: एडीएम के अनुसार चिकित्सकों की ओर से सैंपल लिए जाने के बाद बालिकाओं की तबीयत खराब होने के कारणों का पता चल पाएगा. उन्होंने कहा कि इन 15 बालिकाओं के अलावा अन्य बालिकाओं को भी मुख्यमंत्री बाल गोपाल योजना के तहत शुक्रवार को दूध वितरित किया गया था. पूरे हनुमानगढ़ जिले के स्कूलों में दूध का वितरण किया गया. किस कारण से 15 बालिकाओं की तबीयत बिगड़ी, यह जांच का विषय है. सैंपल की रिपोर्ट आने के बाद ही इसका खुलासा हो सकेगा. एडीएम के अनुसार चिकित्सकों ने अस्पताल में भर्ती बालिकाओं से जानकारी ली, तो यह बात सामने आई कि कुछ बालिकाओं ने खाली पेट दूध का सेवन किया था.

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इन बच्चों की बिगड़ी तबीयत: दूध का सेवन करने से कक्षा तीन की छात्रा लाली पुत्री विजय, कामिनी पुत्री कमलदास, कक्षा चार की छात्रा गुंजन पुत्री प्रमोद, राधिका पुत्री रामचन्द्र, बरखा पुत्री रामबाबू, गुरप्रीत पुत्री महेन्द्रसिंह, सांची पुत्री रामूदास, कक्षा पांचवीं की छात्रा सैलानी पुत्री श्रीराम, नव्या पुत्री दिनेश, ज्योति पुत्री विजयदास, प्रीति पुत्री पिन्टू, करिश्मा पुत्री विनोद कुमार, सुनीता पुत्री जोगिन्द्र सिंह, नैना पुत्री बबलू, मुस्कान पुत्री चिमनलाल व कक्षा पांच के छात्र रामदेव पुत्र विनोद दास की तबीयत खराब हुई. इन सभी को ट्रोमा सेंटर में भर्ती करवाया गया.

Last Updated :Dec 3, 2022, 9:28 PM IST
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