Dhanteras 2023:धनतेरस पर बाजार में जमकर हुई खरीदारी, सोने के जेवर और चांदी के सिक्के की रही मांग

Dhanteras 2023:धनतेरस पर बाजार में जमकर हुई खरीदारी, सोने के जेवर और चांदी के सिक्के की रही मांग
अजमेर में धनतेरस पर बाजारों में खरीदारी के लिए लोगों की भीड़ उमड़ी. दुकानों पर ग्राहकों का जमावड़ा लगा रहा. बाजारों को दुल्हन की तरह सजाया गया है. जिले में सोना चांदी के जेवरात, दुपहिया, चौपहिया वाहनों समेत के घर में काम आने वाली वस्तुओं की जमकर खरीदारी हुई है. वहीं, जयपुर में धनवंतरी जयंती मनाई गई.
अजमेर/जयपुर. देश भर में धनतेरस की घूम है. धनतेरस(Dhanteras 2023) के दिन नई चीजों को खरीदना बहुत शुभ माना जाता है. धनतेरस के दिन खासतौर पर सोने-चांदी के आभूषण समेत कई तरह की वस्तुओं की खरीद होती है. धनतेरस के दिन खरीदारी करने का विशेष महत्व है. खासकर लोग कीमती धातु को निवेश के तौर पर खरीदते हैं.
सोने-चांदी के आभूषणों की जमकर खरीदारी : धनतेरस पर अजमेर के बाजरों में लोगों की भीड़ उमड़ी रही. अजमेर के साथ ही ब्यावर, किशनगढ़, विजयनगर, पुष्कर, नसीराबाद के सराफा बाजार में खरीददारों की रौनक रही. चांदी के बर्तन, पायल, देवी देवताओं की मूर्तियां, सोने चांदी के सिक्के, सोने के गहने की खरीदारी जमकर हुई. आने वाले दिनों में देवउठनी ग्यारस भी आ रही है इस दिन अबूझ सावा है ऐसे में दीपावली ही नहीं बल्कि शादी ब्याह को लेकर भी शहरी और ग्रामीणों ने जमकर सोने चांदी की खरीदारी की.अजमेर सर्राफा बाजार के अध्यक्ष अशोक बिंदल बताते हैं कि अजमेर शहर में धनतेरस के दिन 12 से 15 करोड़ रुपए की सोने-चांदी की बिक्री होगी.उन्होंने बताया कि धनतेरस पर सोना चांदी की खरीदारी करना शुभ माना जाता है. इसलिए लोग अपनी आवश्यकता अनुसार ही नहीं बल्कि निवेश के लिए भी सोना चांदी खरीदते हैं.
इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों की भी खूब बिक्री: कीमती धातु के अलावा कपड़ा बाजार, इलेक्ट्रॉनिक बाजार, सौंदर्य प्रसाधन, पूजा सामग्री, साज सज्जा, आर्टिफिशियल ज्वेलरी, मिठाई, पटाखे, पोस्टर स्टिकर, बनावटी फूल, ड्राई फ्रूट, इत्र, मिट्टी के दीये आदि की दुकानों पर सुबह बाजार खुलने के साथ ही ग्राहक उमड़ पड़े. ऑटोमाबाइल्स सेक्टर के कारोबारियों के यहां भी दुपहिया और चौपहिया नए वाहनों के साथ पुराने वाहनों की भी जमकर बिक्री हुई.
धनवंतरी जयंती मनाई गई: वहीं जयपुर में धनतेरस पर राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान में धनवंतरी जयंती मनाई गई. इस दौरान संस्थान परिसर में भगवान धनवंतरी की पूजा की गई और देशवासियों के अच्छे स्वास्थ्य के लिए कार्य करने का संकल्प लिया गया.कार्तिक कृष्ण त्रयोदशी पर भगवान विष्णु के अवतार भगवान धन्वंतरि की जयंती मनाई जाती है. मान्यता है कि समुद्र मंथन के दौरान इसी दिन भगवान धनवंतरी अमृत कलश के साथ प्रकट हुए थे. भगवान धनवंतरी को औषधि का जनक भी माना गया है. ऐसे में जो लोग आयुर्वेद चिकित्सा से जुड़े हुए हैं, वो धनतेरस के दिन भगवान धनवंतरी की पूजा-उपासना करते हैं.
