Ayushman Scheme Fraud जबलपुर आयुष्मान योजना फर्जीवाड़ा, डॉक्टर दम्पति अश्वनी पाठक, दुहिता पाठक गिरफ्तार
Updated on: Aug 29, 2022, 2:20 PM IST

Ayushman Scheme Fraud जबलपुर आयुष्मान योजना फर्जीवाड़ा, डॉक्टर दम्पति अश्वनी पाठक, दुहिता पाठक गिरफ्तार
Updated on: Aug 29, 2022, 2:20 PM IST
जबलपुर में आयुष्मान योजना में बड़े फर्जीवाड़े का कुछ दिनों पहले खुलासा हुआ था. अब इस मामले में पहली बार प्रशासन ने कार्रवाई करते हुए डॉक्टर कपल पर FIR दर्ज किया है. इसके बाद सोमवार सुबह दोनों चिकित्सकों को पुलिस ने गिरफ्तार भी कर लिया. कुछ दिन पहले जबलपुर में होटल में 70 आयुष्मान कार्ड धारक मिले थे. जबकि रिकॉर्ड के अनुसार उनका इलाज सेंट्रल इंडिया किडनी अस्पताल में चल रहा था. इस गोरखधंधे के खुलासे के बाद से ही हड़कंप मचा हुआ है. Jabalpur Ayushman Scheme Fraud, Kidney hospital operating in hotel
जबलपुर। मध्य प्रदेश के जबलपुर के न्यू लाइफ हॉस्पिटल में हुई आठ लोगों की मौत के बाद जिला प्रशासन लगातार अस्पतालों पर कार्रवाई कर रहा है. इसी सिलसिले में जिला स्वास्थ्य विभाग की टीम और जिला पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई की. लेकिन कार्रवाई के दौरान जो देखने को मिला उसे देख कर पैरों तले जमीन खिसक गई. हॉस्पिटल के सटे होटल में आयुष्मान कार्ड धारक मरीजों का इलाज किया जा रहा था. जिसके बाद डॉक्टर दंपत्ति के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. वहीं स्वास्थ्य विभाग की टीम ने होटल को सील कर दिया है. (Jabalpur Health Department Action) FIR के थोड़ी देर बाद सोमवार दोपहर को आयुष्मान योजना फर्जीवाड़ा मामले में डॉक्टर दम्पति अश्वनी पाठक, दुहिता पाठक को गिरफ्तार कर लिया गया है. इन्हे कोर्ट में पेश किया जाएगा.
क्या कहा अधिकारियों ने: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक गोपाल खंडेल ने सोमवार को कहा कि पुलिस ने मध्य प्रदेश के जबलपुर शहर में एक डॉक्टर दंपति के खिलाफ मामला दर्ज किया है, जब प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के तहत 70 मरीज पास के अस्पताल के बजाय एक होटल में पाए गए थे. उन्होंने कहा कि स्थानीय पुलिस और स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने शुक्रवार को छापेमारी की थी, जिसके दौरान स्वास्थ्य योजना के 70 आयुष्मान भारत कार्ड धारक होटल वेगा में मिले थे, जबकि रिकॉर्ड के अनुसार उन्हें इलाज के लिए सेंट्रल इंडिया किडनी अस्पताल में भर्ती कराया गया था. होटल निजी अस्पताल के बगल में स्थित है. अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक गोपाल खंडेल ने शुक्रवार को कहा था कि उन्हें सूचना मिली थी कि अस्पताल आयुष्मान भारत कार्ड धारकों को भर्ती होने के लिए कथित तौर पर पैसे दे रहा है.
डॉक्टरों पर केस दर्ज: अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक गोपाल खंडेल ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग को सतर्क किया गया जिसके बाद होटल में छापेमारी की गयी. खंडेल ने बताया कि जबलपुर के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी से प्राप्त जांच रिपोर्ट के आधार पर रविवार को डॉ अश्विनी पाठक और डॉ दुहिता पाठक के खिलाफ जालसाजी और धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया है. अपर जिलाधिकारी नमः शिवाय अरजारिया ने बताया कि जबलपुर कलेक्टर के निर्देश पर जिस होटल में आयुष्मान कार्ड धारकों का इलाज किया जा रहा था उसे सील कर दिया गया है. खंडेल ने कहा कि कोतवाली पुलिस ने डॉक्टर दंपत्ति के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 466 (जालसाजी), 420 (धोखाधड़ी), 468 (धोखाधड़ी के उद्देश्य से जालसाजी) और 471 (जाली दस्तावेज या इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्ड का वास्तविक उपयोग) के तहत मामला दर्ज किया है। . प्रधान मंत्री जन आरोग्य योजना माध्यमिक और तृतीयक देखभाल अस्पताल में भर्ती के लिए प्रति परिवार प्रति वर्ष पांच लाख रुपये का कवर प्रदान करना चाहती है.
होटल में मरीजों का इलाज: पैसों की अंधी कमाई करने के लिए प्राइवेट हॉस्पिटल किस हद तक फर्जीवाड़ा करते हैं इसका एक उदाहरण जबलपुर में सामने आया है. जहां मरीजों की जान से खिलवाड़ करते हुए एक प्राइवेट हॉस्पिटल के मरीजों का इलाज उसके बाजू में स्थित होटल में किया जा रहा था. मामले का खुलासा तब हुआ जब आयुष्मान कार्ड योजना में फर्जीवाड़े की शिकायत पर स्वास्थ्य विभाग और आयुष्मान योजना के अधिकारियों ने पुलिस के साथ मिलकर राइट टाउन स्थित सेंट्रल इंडिया किडनी हॉस्पिटल में छापामार कार्रवाई की. कार्रवाई के दौरान पता चला कि मरीजों का इलाज अस्पताल से सटे वेगा होटल में किया जा रहा था.
आयुष्मान योजना के पैसे हड़पने का खेल: होटल के बड़े हॉल को जनरल वार्ड बना दिया. मिनी हॉल को आईसीयू और होटल के कमरों में मरीजों को भर्ती कर दिया. स्वास्थ्य विभाग की टीम ने सभी मरीजों से पूछताछ शुरू कर दी है. दरअसल यह पूरा खेल आयुष्मान योजना के पैसे हड़पने के लिए खेला जा रहा है. अस्पताल संचालक ऐसे मरीजों को होटल में भर्ती कर रहा था जो मामूली सी बीमारियां जैसे सर्दी, जुखाम, बुखार, बदन दर्द से पीड़ित हैं. मरीजों को 3 से 4 दिन तक होटल में भर्ती रखा और उनके आयुष्मान कार्ड को इस्तेमाल किया जा रहा था.
मनमानी पर उतारू प्राइवेट अस्पताल: स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी अब हर पहलू पर जांच कर रहे हैं. लेकिन बड़ा सवाल ये उठता है कि जबलपुर में हॉस्पिटल में हुए अग्निकांड में 8 लोगों की जिंदगी स्वाहा हो गई. इतने बड़े हादसे के बावजूद भी प्राइवेट अस्पताल अपनी मनमानी पर उतारू हैं. और मरीजों की जान के साथ खिलवाड़ कर रहे हैं. (PTI इनपुट के साथ ब्यूरो रिपोर्ट ) Jabalpur Ayushman Scheme Fraud, Kidney hospital operating in hotel, Ayushman card holder patients found hotel, FIR on doctor couple, Jabalpur Health Department Action
