नई दिल्लीः दिल्ली के बुराड़ी स्थित निरंकारी समागम ग्राउंड में दिल्ली सरकार द्वारा पांच बड़े-बड़े तालाब बनाए गए हैं और दिल्ली जल बोर्ड द्वारा उन्हें पानी से भरा जा रहा है. यमुना में मूर्ति विसर्जन पर पाबंदी है और यमुना में लगातार प्रदूषण बढ़ रहा है. मूर्ति विसर्जन के दौरान डूबने से हादसे होते है. दो लोगों की यमुना में डूबने से विसर्जन के दौरान मौत हो चुकी है. दिल्ली सरकार को यहां बहुत पहले इस तरह के कृत्रिम तालाब तैयार कर देने चाहिए थे क्योंकि तीन साल पहले भी यह तालाब तैयार किए गए थे लेकिन इस वर्ष बिल्कुल अंतिम दौर में आकर यह तालाब तैयार किए गए हैं. फिर भी लोगों का कहना है कि दिल्ली सरकार का यह बेहतरीन कदम है. इसे और पहले ही उठा लेना चाहिए था. अब दिल्ली की जनता को यमुना में मूर्ति विसर्जन न करके इन तालाबों में मूर्ति विसर्जन करना चाहिए.
दिल्ली सरकार द्वारा यह कृत्रिम घाट आखिरी समय में तैयार किए गए हैं और ज्यादातर लोगों को तैयार किए गए इन कृत्रिम घाटों के बारे में जानकारी भी नहीं है. सरकार को इसके लिए पहले ही तैयारी करनी चाहिए थी और लोगों को इसकी सूचना भी दे देनी चाहिए थी. ताकि लोगों को पहले से जानकारी हो कि उन्हें मूर्ति विसर्जन कहां करना है. हालांकि लोगों ने इसकी सराहना भी की. साथ ही कहा कि यमुना की स्वच्छता भी जरूरी है.
ये भी पढ़ेंः मूर्ति विसर्जन करने के लिए यमुना घाटों पर बैरिकेडिंग कर बढ़ाई गई सुरक्षा
दिल्ली सरकार ने यमुना में मूर्ति विसर्जन के लिए सख्त नियम भी बनाए. यमुना में मूर्ति विसर्जन करने वालों के ऊपर 50,000 का जुर्माना या 6 साल की सजा का प्रावधान किया गया, लेकिन इन सबके बावजूद भी यमुना में मूर्ति विसर्जन होता रहा. दिल्ली सरकार ने मूर्ति विसर्जन के लिए बुराड़ी मैदान में क्रत्रिम घाटों का निर्माण किया. हालांकि इन घाटों को ज्यादा गहराई में नहीं बनाया गया. यहां पर कोई भी बच्चा बुजुर्ग या महिला भी मूर्ति विसर्जन कर सकती है और यह पूरे तरीके से सुरक्षित है.
ये भी पढ़ें : प्रदूषण के विरुद्ध युद्ध: पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने किया निर्माण स्थलों का दौरा