GEETA GYAN : बुद्धियोग की तुलना में सकाम कर्म अत्यंत निकृष्ट हैं, इसलिए तुम ...

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Published : Sep 30, 2022, 6:35 AM IST

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जब तुम्हारी बुद्धि मोहरूपी दलदल को तर जाएगी, उसी समय तुम सुने हुए और सुनने में आने वाले भोगों से वैराग्य को प्राप्त हो जाओगे.जो मनुष्य बिना कर्मफल की इच्छा किए हुए सत्कर्म करता है, वही मनुष्य योगी है.जो सत्कर्म नहीं करता,वह संत कहलाने योग्य नहीं है. समय से पहले और भाग्य से अधिक कभी किसी को कुछ नही मिलता है. Geeta Saar . Todays Motivational Quotes . GEETA GYAN .

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