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उम्मीद पोर्टल लॉन्च पर उत्तराखंड वक्फ बोर्ड ने जताई खुशी, गिनाए फायदे - WOKF PROPERTY WILL ONLINE

उत्तराखंड वक्फ बोर्ड अध्यक्ष शादाब शम्स ने उम्मीद पोर्टल लॉन्च होने पर खुशी जताई. उन्होंने कहा कि अब सभी वक्फ संपत्तियां ऑनलाइन कर दी जाएगी.

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उम्मीद पोर्टल लॉन्च पर उत्तराखंड वक्फ बोर्ड ने जताई खुशी (ETV BHARAT)
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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : June 7, 2025 at 7:35 PM IST

Updated : June 7, 2025 at 7:44 PM IST

2 Min Read

देहरादून: केंद्र सरकार ने वक्फ संशोधन कानून के तहत वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण के लिए उम्मीद पोर्टल लॉन्च किया. इस पर उत्तराखंड वक्फ बोर्ड अध्यक्ष शादाब शम्स ने कहा कि संशोधन बिल पास हो चुका है. हालांकि इसके कुछ विषय न्यायालय में विचाराधीन हैं. लेकिन वक्फ संशोधित बिल की गतिविधियों को आगे बढ़ाने के लिए केंद्रीय अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री किरण रिजिजू ने पोर्टल लॉन्च किया है.

शादाब शम्स ने बताया कि सेंट्रल उम्मीद पोर्टल लॉन्च होने के बाद अब आम व्यक्ति वक्फ की संपत्तियों को ऑनलाइन देख पाएगा. आने वाले 6 महीना में उत्तराखंड वक्फ बोर्ड अपनी सभी वक्फ संपत्तियों को ऑनलाइन दर्ज कर देगा. सभी वक्फ मैनेजमेंट और जानकार लोगों को इस संबंध में जानकारी दी जाएगी और एक जागरूकता अभियान चलाया जाएगा. उन्होंने बताया कि वक्फ संपत्तियों को ऑनलाइन किया जाना 3 टायर स्टेप है. जिसमें मेकर, चेकर और अप्रूवल हैं. यानी कोई पहले अपनी संपत्ति को दर्ज करेगा. उस संपत्ति को वक्फ बोर्ड चेक करेगा. इसके बाद आखिरी में अप्रूवल के लिए सीडब्ल्यूसी जाएगा. इस प्रक्रिया से ट्रांसपेरेंसी आएगी.

उम्मीद पोर्टल के गिनाए फायदे (Video-ETV Bharat)

इसके अलावा उन्होंने उत्तराखंड वक्फ बोर्ड द्वारा वक्फ संपत्तियों पर किए गए अवैध कब्जों को हटाने के लिए चलाई जा रही मुहिम के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि जो कब्जे हटाए जाएंगे, उन संपत्तियों पर गरीब मुसलमान के लिए स्कूल और अन्य मूलभूत संरचनाएं विकसित की जाएगी. कब्जे से खाली कराई गई वक्फ संपत्तियों पर मॉडर्न एजुकेशन के लिए स्कूल खासतौर से बेटियों के लिए स्कूल कॉलेज बनाए जाएंगे. जो केवल मुस्लिम बेटियों के लिए ही नहीं, बल्कि अन्य लोगों के लिए भी काम आएंगे. इसके अलावा अस्पताल बनेंगे जिसमें मुस्लिम समाज को प्राथमिकता मिले और उसके साथ-साथ अन्य लोगों को भी इसका लाभ मिले. इसके अलावा वक्फ संपत्तियों के ऊपर व्यावसायिक गतिविधियों के जरिए गरीब मुसलमान को रोजगार भी देने का प्रयास किया जाएगा. वहीं इसके अलावा तमाम संपत्तियों पर समाज में भूमिका निभाते हुए क्या काम किया जा सकता है ? इसको लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के साथ चर्चा करने के बाद फैसला लिया जाएगा.

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देहरादून: केंद्र सरकार ने वक्फ संशोधन कानून के तहत वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण के लिए उम्मीद पोर्टल लॉन्च किया. इस पर उत्तराखंड वक्फ बोर्ड अध्यक्ष शादाब शम्स ने कहा कि संशोधन बिल पास हो चुका है. हालांकि इसके कुछ विषय न्यायालय में विचाराधीन हैं. लेकिन वक्फ संशोधित बिल की गतिविधियों को आगे बढ़ाने के लिए केंद्रीय अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री किरण रिजिजू ने पोर्टल लॉन्च किया है.

शादाब शम्स ने बताया कि सेंट्रल उम्मीद पोर्टल लॉन्च होने के बाद अब आम व्यक्ति वक्फ की संपत्तियों को ऑनलाइन देख पाएगा. आने वाले 6 महीना में उत्तराखंड वक्फ बोर्ड अपनी सभी वक्फ संपत्तियों को ऑनलाइन दर्ज कर देगा. सभी वक्फ मैनेजमेंट और जानकार लोगों को इस संबंध में जानकारी दी जाएगी और एक जागरूकता अभियान चलाया जाएगा. उन्होंने बताया कि वक्फ संपत्तियों को ऑनलाइन किया जाना 3 टायर स्टेप है. जिसमें मेकर, चेकर और अप्रूवल हैं. यानी कोई पहले अपनी संपत्ति को दर्ज करेगा. उस संपत्ति को वक्फ बोर्ड चेक करेगा. इसके बाद आखिरी में अप्रूवल के लिए सीडब्ल्यूसी जाएगा. इस प्रक्रिया से ट्रांसपेरेंसी आएगी.

उम्मीद पोर्टल के गिनाए फायदे (Video-ETV Bharat)

इसके अलावा उन्होंने उत्तराखंड वक्फ बोर्ड द्वारा वक्फ संपत्तियों पर किए गए अवैध कब्जों को हटाने के लिए चलाई जा रही मुहिम के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि जो कब्जे हटाए जाएंगे, उन संपत्तियों पर गरीब मुसलमान के लिए स्कूल और अन्य मूलभूत संरचनाएं विकसित की जाएगी. कब्जे से खाली कराई गई वक्फ संपत्तियों पर मॉडर्न एजुकेशन के लिए स्कूल खासतौर से बेटियों के लिए स्कूल कॉलेज बनाए जाएंगे. जो केवल मुस्लिम बेटियों के लिए ही नहीं, बल्कि अन्य लोगों के लिए भी काम आएंगे. इसके अलावा अस्पताल बनेंगे जिसमें मुस्लिम समाज को प्राथमिकता मिले और उसके साथ-साथ अन्य लोगों को भी इसका लाभ मिले. इसके अलावा वक्फ संपत्तियों के ऊपर व्यावसायिक गतिविधियों के जरिए गरीब मुसलमान को रोजगार भी देने का प्रयास किया जाएगा. वहीं इसके अलावा तमाम संपत्तियों पर समाज में भूमिका निभाते हुए क्या काम किया जा सकता है ? इसको लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के साथ चर्चा करने के बाद फैसला लिया जाएगा.

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Last Updated : June 7, 2025 at 7:44 PM IST
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