उज्जैन: विक्रम यूनिवर्सिटी एक बार फिर चर्चा में है. आरोप है कि इस बार विश्वविद्यालय ने बीकॉम सेकंड ईयर के 100 से ज्यादा स्टूडेंट्स को फाउंडेशन सहित इलेक्टिव सब्जेक्ट में शून्य अंक दे दिए. रतलाम शहर के तीन कॉलेज के 100 से ज्यादा स्टूडेंट को दो विषयों में शून्य अंक मिले हैं. जिससे नाराज छात्र अब आंदोलन की चेतावनी दे रहे हैं.
छात्रों का विरोध प्रदर्शन, गलती सुधारे यूनिवर्सिटी
वहीं, कॉलेज के प्राचार्य का कहना है कि ग्रेडिंग सिस्टम में 35 से कम अंक प्राप्त होने पर रिजल्ट में शून्य लिखा जाता है. वहीं, प्रदर्शन कर रहे छात्रों का कहना है कि यूनिवर्सिटी अपनी गलती का सुधार करें और सभी छात्रों को पास घोषित करें.

पहले भी दिए जा चुके हैं शून्य अंक
गौरतलब है कि, पिछले महीने भी शहर के गर्ल्स कॉलेज की बीकॉम फाईनल ईयर में पढ़ने वाली 30 छात्राओं को इंडियन इकोनॉमिक्स के पेपर में अनुपस्थित बताकर शून्य अंक दे दिए गए थे. सभी छात्राएं एक ही कक्षा में परीक्षा दे रही थी, जिन्हें अनुपस्थित बताकर फेल घोषित कर दिया गया था.
बीकॉम सेकंड ईयर के 100 बच्चों को दिए जीरो अंक
इस बार बीकॉम सेकंड ईयर के 100 छात्रों के साथ ऐसा हुआ है. जिसमें उन्हें शून्य अंक दे दिए गए हैं. छात्रों को कहना है कि ऐसा कैसे हो सकता है कि एक साथ इतने छात्रों को एक अंक भी ना मिले. विक्रम यूनिवर्सिटी के परीक्षा विभाग में इस तरह के कारनामे आए दिन होते रहते हैं जिसका खामियाजा छात्रों को भुगतना होता है.
आंदोलन की राह पर स्टूडेंट्स
यह सभी छात्र रिजल्ट से परेशान हैं और आंदोलन की राह पर है. स्टूडेंट का आरोप है कि, उनके पेपर बहुत अच्छे गए थे, इसके बावजूद उनके शून्य अंक कैसे आए यह समझ से परे हैं. उनकी मांग है कि यूनिवर्सिटी प्रबंधन अपनी गलती सुधारे और उन्हें पास करें. कई छात्र रिजल्ट के बाद अब उज्जैन जाकर विश्वविद्यालय के चक्कर भी काट रहे हैं. लेकिन उन्हें कोई समाधान नहीं मिल रहा है.
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छात्र बोले, पेपर अच्छे गए, फिर भी मिला जीरो
वहीं, इस मामले में गर्ल्स कॉलेज की प्रिंसिपल मंगलेश्वरी जोशी का कहना है कि, ''पासिंग मार्क्स 35 होते हैं. अगर 35 से एक नंबर भी कम होता है तो ग्रेडिंग सिस्टम उसे शून्य ही दर्शाया जाता है.'' लेकिन छात्र कुमकुम मोवानी एवं ईशा महावर का कहना है कि, ''उनके पेपर अच्छे गए थे. पूर्व में भी परीक्षा विभाग द्वारा इस तरह की त्रुटि की गई है और इस बार भी सभी छात्रों को पास किया जाना चाहिए.''
बहरहाल समस्या का समाधान नहीं होने पर सभी छात्र आंदोलन करने की चेतावनी दे रहे हैं. वहीं, छात्र संगठन एनएसयूआई ने भी ज्ञापन देकर छात्रों की समस्या का समाधान करने की मांग की है.