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यूपी CM डैश बोर्ड पर जिलों की रैंकिंग जारी; हमीरपुर के DM को पहला स्थान, प्रतापगढ़ के जिलाधिकारी सबसे पीछे - UP CM DASHBOARD RANKING

जालौन दूसरे, अंबेडकरनगर तीसरे, भदोही चौथे, जबकि मुजफ्फरनगर पांचवें स्थान पर, यहां देखिए पूरी लिस्ट...

रैंकिंग में हमीरपुर के डीएम सबसे आगे.
रैंकिंग में हमीरपुर के डीएम सबसे आगे. (Photo Credit; ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : April 10, 2025 at 4:11 PM IST

3 Min Read

लखनऊ : UP CM DAISHBOARD की मार्च महीने की रैंकिंग में हमीरपुर के जिलाधिकारी को पहला स्थान मिला है. जबकि प्रतापगढ़ के डीएम अंतिम पायदान पर हैं. दरअसल, सरकार की विभिन्न योजनाओं में प्रदर्शन के आधार पर और जनता की समस्याओं के निवारण को पैमाना मानकर यह ऑनलाइन प्लेटफॉर्म शुरू किया गया है. इसके जरिए जिलाधिकारी के काम को देखा जाता है. इस आधार पर प्रशंसा के साथ दंड का भी प्रावधान है.

सरकार की एक प्रवक्ता के अनुसार मार्च की रैंकिंग में हमीरपुर के डीएम घनश्याम मीणा ने अव्वल स्थान हासिल किया है. प्रदेश की विकास रैकिंग में युवा DM ने 6 महीने के अंदर हमीरपुर जिले को नंबर 1 बना दिया. वहीं प्रतापगढ़ सबसे पीछे रहा.

रैंकिंग के आधार पर टॉप 5 जिले और वहां के डीएम : 1 हमीरपुर (DM घनश्याम मीणा), 2 जालौन (DM राजेश पांडे), 3 अंबेडकरनगर (DM अविनाश सिंह), 4 भदोही (DM विशाल सिंह), 5 मुजफ्फरनगर (DM उमेश मिश्रा).

जिलाधिकारी घनश्याम मीणा ने कहा कि जनपद को प्रदेश स्तर पर सम्मानजनक स्थिति तक लाने के लिए सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों-कर्मचारियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है.

यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग.
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग. (Photo Credit; ETV Bharat)
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग.
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग. (Photo Credit; ETV Bharat)
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग.
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग. (Photo Credit; ETV Bharat)

अब जानिए क्या है यूपी सीएम डैश बोर्ड : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की ओर से शुरू किया गया सीएम डैशबोर्ड रेटिंग सिस्टम राज्य में प्रशासनिक कार्यों की निगरानी और जिला अधिकारियों (डीएम) के प्रदर्शन को आंकने का एक प्रभावी साधन है. यह सिस्टम जिलों के विकास कार्यों, जनकल्याण योजनाओं के क्रियान्वयन और शासन की गुणवत्ता को मापने के लिए डिजाइन किया गया है.

इस डैशबोर्ड के जरिए डीएम की रैंकिंग तय की जाती है. सीएम डैशबोर्ड एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म है. यह विभिन्न मापदंडों के आधार पर जिलों के प्रदर्शन का आकलन करता है. इसमें स्वास्थ्य, शिक्षा, बुनियादी ढांचा, कानून-व्यवस्था, स्वच्छता, और सरकारी योजनाओं का लाभ जनता तक पहुंचाने जैसे पहलुओं को शामिल किया गया है. हर मापदंड के लिए डेटा का विश्लेषण किया जाता है. इसके आधार पर जिलों को स्कोर दिया जाता है. यह डेटा डीएम द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट्स, फील्ड विजिट्स और नागरिकों से प्राप्त फीडबैक के माध्यम से एकत्र किया जाता है.

प्रत्येक जिले के प्रदर्शन को मासिक और त्रैमासिक आधार पर मूल्यांकन किया जाता है. डैशबोर्ड पर रीयल-टाइम डेटा अपडेट होता है. इससे सरकार को तत्काल स्थिति का पता चलता है. बेहतर प्रदर्शन करने वाले डीएम को सम्मानित किया जाता है, जबकि कम स्कोर वाले अधिकारियों को सुधार के लिए निर्देश दिए जाते हैं. उदाहरण के लिए, यदि किसी जिले में स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार होता है या शिकायत निवारण तेजी से होता है तो उस डीएम का स्कोर बढ़ता है.

सीएम योगी दे चुके हिदायत, डैशबोर्ड केवल आंकड़ों का खेल नहीं : हाल ही में एक समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री योगी ने अधिकारियों को हिदायत दी कि डैशबोर्ड केवल आंकड़ों का खेल नहीं, बल्कि जनता के जीवन में बदलाव लाने का माध्यम है. कुछ जिलों के डीएम ने इस सिस्टम की मदद से अपने क्षेत्र में उल्लेखनीय प्रगति की है. इसकी वजह से उनकी रैंकिंग में सुधार हुआ है. वहीं, कुछ जिलों में सुस्ती के कारण डीएम को चेतावनी भी जारी की गई है. यह सिस्टम न केवल प्रशासनिक जवाबदेही को बढ़ावा देता है, बल्कि जिलों के बीच स्वस्थ प्रतिस्पर्धा को भी प्रेरित करता है.

यह भी पढ़ें : हमीरपुर में जल जीवन मिशन का हाल: करोड़ों रुपये खर्च, फिर भी एक किमी दूर से पानी ला रहे लोग, दो साल बाद भी आधा-अधूरा काम

लखनऊ : UP CM DAISHBOARD की मार्च महीने की रैंकिंग में हमीरपुर के जिलाधिकारी को पहला स्थान मिला है. जबकि प्रतापगढ़ के डीएम अंतिम पायदान पर हैं. दरअसल, सरकार की विभिन्न योजनाओं में प्रदर्शन के आधार पर और जनता की समस्याओं के निवारण को पैमाना मानकर यह ऑनलाइन प्लेटफॉर्म शुरू किया गया है. इसके जरिए जिलाधिकारी के काम को देखा जाता है. इस आधार पर प्रशंसा के साथ दंड का भी प्रावधान है.

सरकार की एक प्रवक्ता के अनुसार मार्च की रैंकिंग में हमीरपुर के डीएम घनश्याम मीणा ने अव्वल स्थान हासिल किया है. प्रदेश की विकास रैकिंग में युवा DM ने 6 महीने के अंदर हमीरपुर जिले को नंबर 1 बना दिया. वहीं प्रतापगढ़ सबसे पीछे रहा.

रैंकिंग के आधार पर टॉप 5 जिले और वहां के डीएम : 1 हमीरपुर (DM घनश्याम मीणा), 2 जालौन (DM राजेश पांडे), 3 अंबेडकरनगर (DM अविनाश सिंह), 4 भदोही (DM विशाल सिंह), 5 मुजफ्फरनगर (DM उमेश मिश्रा).

जिलाधिकारी घनश्याम मीणा ने कहा कि जनपद को प्रदेश स्तर पर सम्मानजनक स्थिति तक लाने के लिए सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों-कर्मचारियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है.

यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग.
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग. (Photo Credit; ETV Bharat)
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग.
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग. (Photo Credit; ETV Bharat)
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग.
यूपी CM डैश बोर्ड रैंकिंग. (Photo Credit; ETV Bharat)

अब जानिए क्या है यूपी सीएम डैश बोर्ड : उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की ओर से शुरू किया गया सीएम डैशबोर्ड रेटिंग सिस्टम राज्य में प्रशासनिक कार्यों की निगरानी और जिला अधिकारियों (डीएम) के प्रदर्शन को आंकने का एक प्रभावी साधन है. यह सिस्टम जिलों के विकास कार्यों, जनकल्याण योजनाओं के क्रियान्वयन और शासन की गुणवत्ता को मापने के लिए डिजाइन किया गया है.

इस डैशबोर्ड के जरिए डीएम की रैंकिंग तय की जाती है. सीएम डैशबोर्ड एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म है. यह विभिन्न मापदंडों के आधार पर जिलों के प्रदर्शन का आकलन करता है. इसमें स्वास्थ्य, शिक्षा, बुनियादी ढांचा, कानून-व्यवस्था, स्वच्छता, और सरकारी योजनाओं का लाभ जनता तक पहुंचाने जैसे पहलुओं को शामिल किया गया है. हर मापदंड के लिए डेटा का विश्लेषण किया जाता है. इसके आधार पर जिलों को स्कोर दिया जाता है. यह डेटा डीएम द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट्स, फील्ड विजिट्स और नागरिकों से प्राप्त फीडबैक के माध्यम से एकत्र किया जाता है.

प्रत्येक जिले के प्रदर्शन को मासिक और त्रैमासिक आधार पर मूल्यांकन किया जाता है. डैशबोर्ड पर रीयल-टाइम डेटा अपडेट होता है. इससे सरकार को तत्काल स्थिति का पता चलता है. बेहतर प्रदर्शन करने वाले डीएम को सम्मानित किया जाता है, जबकि कम स्कोर वाले अधिकारियों को सुधार के लिए निर्देश दिए जाते हैं. उदाहरण के लिए, यदि किसी जिले में स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार होता है या शिकायत निवारण तेजी से होता है तो उस डीएम का स्कोर बढ़ता है.

सीएम योगी दे चुके हिदायत, डैशबोर्ड केवल आंकड़ों का खेल नहीं : हाल ही में एक समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री योगी ने अधिकारियों को हिदायत दी कि डैशबोर्ड केवल आंकड़ों का खेल नहीं, बल्कि जनता के जीवन में बदलाव लाने का माध्यम है. कुछ जिलों के डीएम ने इस सिस्टम की मदद से अपने क्षेत्र में उल्लेखनीय प्रगति की है. इसकी वजह से उनकी रैंकिंग में सुधार हुआ है. वहीं, कुछ जिलों में सुस्ती के कारण डीएम को चेतावनी भी जारी की गई है. यह सिस्टम न केवल प्रशासनिक जवाबदेही को बढ़ावा देता है, बल्कि जिलों के बीच स्वस्थ प्रतिस्पर्धा को भी प्रेरित करता है.

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