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रणथंभौर में फलोदी रेंज के पास बाघ का हमला, दो लोग हुए घायल - TIGER ATTACK

रणथंभौर नेशनल पार्क में एक बार फिर टाइगर अटैक का मामला. फलोदी रेंज के पास बाघ के हमले में दो लोग हुए घायल.

Tiger Attack in Ranthambore
रणथंभौर में बाघ का हमला (ETV Bharat File Photo)
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By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : June 13, 2025 at 7:44 PM IST

4 Min Read

सवाई माधोपुर: राजस्थान के सबसे बड़े टाइगर रिजर्व रणथंभौर में इन दिनों टाइगर हमले की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं. ताजा मामला रणथंभौर के फलोदी रेंज के कैलाशपुरी वन क्षेत्र का है, जहां शुक्रवार को एक बाघ ने दो लोगों पर हमला कर गंभीर घायल कर दिया. दोनों घायलों को सामान्य चिकित्सालय में भर्ती करवाया गया है, जहां उनका उपचार चल रहा है.

रणथंभौर में एक के बाद एक टाइगर हमलों से आम जन में वन विभाग के प्रति जबरदस्त आक्रोश व्याप्त है. टाइगर द्वारा इंसानों पर हमले की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं. शुक्रवार को एक टाइगर रणथंभौर के कैलाशपुरी वन क्षेत्र के मौजीपूरा एनिकट के आसपास घूम रहा था और लोग टाइगर के साथ हमले की परवाह किए बिना सेल्फी ले रहे थे. वहीं, मौके पर लोगों की भीड़ होने के बावजूद वन विभाग का कोई अधिकारी वहां मौजूद नहीं था.

किसने क्या कहा, सुनिए... (ETV Bharat Sawai Madhopur)

ऐसे में लोगों की लापरवाही ने टाइगर को हमला करने का निमंत्रण दे दिया और टाइगर ने देखते ही देखते भीड़ के बीच हमला कर दिया. बताया जा रहा है कि दुमोदा ग्राम पंचायत के अंतर्गत कार्यरत कृषि पर्यवेक्षक सीताराम सैनी उसी वक्त गाड़ी में सवार होकर पहुंचे थे. सीताराम सैनी का कहना है कि वे खेत की तार फेंसिंग के सिलसिले में कृषक परिवार से मिलने गए थे, जहां उतरते ही उन्होंने भी टाइगर के साथ सेल्फी तथा फोटो लेने का प्रयास किया.

उसी वक्त टाइगर ने अचानक हमला कर दिया. हमले में कृषि पर्यवेक्षक सीताराम सैनी को मौके पर मौजूद होमगार्ड बाबूलाल ने बचाने की कोशिश की, तभी टाइगर ने बाबूलाल पर भी हमला कर दिया. अन्य लोगों के द्वारा हल्ला मचाए जाने के कारण टाइगर पीछे हट गया, लेकिन टाइगर के हमले से दोनों घायल हो गए. दोनों घायलों को जिला मुख्यालय के सामान्य चिकित्सालय में उपचार के लिए भर्ती करवाया गया है.

पढ़ें : रणथंभौर दुर्ग में चौकीदार को मौत के घाट उतारने वाला टाइगर कैला देवी अभ्यारण्य शिफ्ट - TIGER SHIFTING FROM RANTHAMBORE

वन विभाग में तैनात होमहार्ड बाबूलाल ने बताया कि टाइगर के मूवमेंट की सूचना पर उनकी टीम मौके पर पहुंची, जहां पहले से ही ग्रामीणों की भीड़ जमा थी. टीम ने जैसे-तैसे कर ग्रामीणों को मौके से हटाया, तभी कृषि पर्यवेक्षक गाड़ी से वहां आ गए और गाड़ी से नीचे उतरकर टाइगर के फोटो लेने लगे. इस दौरान टाइगर ने उन पर हमला कर दिया. कृषि पर्यवेक्षक को बचाने के लिए उसने टाइगर पर लठ मारा तो टाइगर ने पलटकर उस पर भी हमला कर दिया. मौके पर मौजूद अन्य दो-तीन होमगार्ड के जवानों ने जैसे-तैसे दोनों को टाइगर से बचाया ओर टाइगर जंगल की ओर भाग गया.

टाइगर अटैक में घायल दोनों की फिलहाल स्थिति खतरे से बाहर बताई जा रही है, लेकिन टाइगर हमले का खौफ घायलों तथा उनके परिजनों के चेहरे पर स्पष्ट देखा जा सकता है. अस्पताल में घायलों की कुशलक्षेम के लिए पुलिस तथा होमगार्ड के अधिकारी भी पहुंचे. वहीं, होमगार्ड कमांडेंट का कहना था कि कृषि पर्यवेक्षक को बचाने के फेर में ही बाबूलाल टाइगर के हमले में घायल हुआ.

पढ़ें : किरोड़ी लाल मीणा के आश्वासन के बाद ग्रामीणों का धरना समाप्त, मंत्री बोले-रणथंभौर के लापरवाह अधिकारियों को हटवाएंगे - PROTEST BY VILLAGERS IN RANTHAMBORE

दरअसल, रणथंभौर टाइगर रिजर्व में दो माह पहले टाइगर ने हमला कर तीन लोगों को मौत के घाट उतार दिया था, जिनमें 7 वर्षीय कार्तिक सुमन, रेंजर देवेंद्र चौधरी तथा जैन मन्दिर का सेवादार राधेश्याम सैनी शामिल हैं. विगत दिनों टाइगर के हमले से गुस्साए लोगों ने दो दिनों तक लगातार गणेश धाम के समक्ष पड़ाव डाला था. उसके बाद कृषि मंत्री किरोड़ी लाल मीणा की समझाइश से मामला शांत हुआ था.

टाइगर मूवमेंट लगातार दुर्ग तथा त्रिनेत्र गणेश मंदिर मार्ग में रहने के चलते आए दिन रणथंभौर से त्रिनेत्र गणेश मंदिर मार्ग बंद रखा जा रहा है. खानापूर्ति के नाम पर वन विभाग द्वारा एक टाइगर को कैला देवी अभयारण्य में शिफ्ट किया गया है. वहीं, एक को भीड़ में बने एनक्लोजर में कैद किया गया है, लेकिन कई टाइगर ऐसे हैं जो टेरिटरी के फेर में इंसानों पर लगातार हमला कर रहे हैं और वन विभाग इन घटनाओं से कोई सबक नहीं ले रहा. यहां तक कि ट्रैकिंग और मॉनिटरिंग सिस्टम भी वन विभाग का पूरी तरह से फेल नजर आ रहा है.

सवाई माधोपुर: राजस्थान के सबसे बड़े टाइगर रिजर्व रणथंभौर में इन दिनों टाइगर हमले की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं. ताजा मामला रणथंभौर के फलोदी रेंज के कैलाशपुरी वन क्षेत्र का है, जहां शुक्रवार को एक बाघ ने दो लोगों पर हमला कर गंभीर घायल कर दिया. दोनों घायलों को सामान्य चिकित्सालय में भर्ती करवाया गया है, जहां उनका उपचार चल रहा है.

रणथंभौर में एक के बाद एक टाइगर हमलों से आम जन में वन विभाग के प्रति जबरदस्त आक्रोश व्याप्त है. टाइगर द्वारा इंसानों पर हमले की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं. शुक्रवार को एक टाइगर रणथंभौर के कैलाशपुरी वन क्षेत्र के मौजीपूरा एनिकट के आसपास घूम रहा था और लोग टाइगर के साथ हमले की परवाह किए बिना सेल्फी ले रहे थे. वहीं, मौके पर लोगों की भीड़ होने के बावजूद वन विभाग का कोई अधिकारी वहां मौजूद नहीं था.

किसने क्या कहा, सुनिए... (ETV Bharat Sawai Madhopur)

ऐसे में लोगों की लापरवाही ने टाइगर को हमला करने का निमंत्रण दे दिया और टाइगर ने देखते ही देखते भीड़ के बीच हमला कर दिया. बताया जा रहा है कि दुमोदा ग्राम पंचायत के अंतर्गत कार्यरत कृषि पर्यवेक्षक सीताराम सैनी उसी वक्त गाड़ी में सवार होकर पहुंचे थे. सीताराम सैनी का कहना है कि वे खेत की तार फेंसिंग के सिलसिले में कृषक परिवार से मिलने गए थे, जहां उतरते ही उन्होंने भी टाइगर के साथ सेल्फी तथा फोटो लेने का प्रयास किया.

उसी वक्त टाइगर ने अचानक हमला कर दिया. हमले में कृषि पर्यवेक्षक सीताराम सैनी को मौके पर मौजूद होमगार्ड बाबूलाल ने बचाने की कोशिश की, तभी टाइगर ने बाबूलाल पर भी हमला कर दिया. अन्य लोगों के द्वारा हल्ला मचाए जाने के कारण टाइगर पीछे हट गया, लेकिन टाइगर के हमले से दोनों घायल हो गए. दोनों घायलों को जिला मुख्यालय के सामान्य चिकित्सालय में उपचार के लिए भर्ती करवाया गया है.

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वन विभाग में तैनात होमहार्ड बाबूलाल ने बताया कि टाइगर के मूवमेंट की सूचना पर उनकी टीम मौके पर पहुंची, जहां पहले से ही ग्रामीणों की भीड़ जमा थी. टीम ने जैसे-तैसे कर ग्रामीणों को मौके से हटाया, तभी कृषि पर्यवेक्षक गाड़ी से वहां आ गए और गाड़ी से नीचे उतरकर टाइगर के फोटो लेने लगे. इस दौरान टाइगर ने उन पर हमला कर दिया. कृषि पर्यवेक्षक को बचाने के लिए उसने टाइगर पर लठ मारा तो टाइगर ने पलटकर उस पर भी हमला कर दिया. मौके पर मौजूद अन्य दो-तीन होमगार्ड के जवानों ने जैसे-तैसे दोनों को टाइगर से बचाया ओर टाइगर जंगल की ओर भाग गया.

टाइगर अटैक में घायल दोनों की फिलहाल स्थिति खतरे से बाहर बताई जा रही है, लेकिन टाइगर हमले का खौफ घायलों तथा उनके परिजनों के चेहरे पर स्पष्ट देखा जा सकता है. अस्पताल में घायलों की कुशलक्षेम के लिए पुलिस तथा होमगार्ड के अधिकारी भी पहुंचे. वहीं, होमगार्ड कमांडेंट का कहना था कि कृषि पर्यवेक्षक को बचाने के फेर में ही बाबूलाल टाइगर के हमले में घायल हुआ.

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दरअसल, रणथंभौर टाइगर रिजर्व में दो माह पहले टाइगर ने हमला कर तीन लोगों को मौत के घाट उतार दिया था, जिनमें 7 वर्षीय कार्तिक सुमन, रेंजर देवेंद्र चौधरी तथा जैन मन्दिर का सेवादार राधेश्याम सैनी शामिल हैं. विगत दिनों टाइगर के हमले से गुस्साए लोगों ने दो दिनों तक लगातार गणेश धाम के समक्ष पड़ाव डाला था. उसके बाद कृषि मंत्री किरोड़ी लाल मीणा की समझाइश से मामला शांत हुआ था.

टाइगर मूवमेंट लगातार दुर्ग तथा त्रिनेत्र गणेश मंदिर मार्ग में रहने के चलते आए दिन रणथंभौर से त्रिनेत्र गणेश मंदिर मार्ग बंद रखा जा रहा है. खानापूर्ति के नाम पर वन विभाग द्वारा एक टाइगर को कैला देवी अभयारण्य में शिफ्ट किया गया है. वहीं, एक को भीड़ में बने एनक्लोजर में कैद किया गया है, लेकिन कई टाइगर ऐसे हैं जो टेरिटरी के फेर में इंसानों पर लगातार हमला कर रहे हैं और वन विभाग इन घटनाओं से कोई सबक नहीं ले रहा. यहां तक कि ट्रैकिंग और मॉनिटरिंग सिस्टम भी वन विभाग का पूरी तरह से फेल नजर आ रहा है.

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