उदयपुर : पंजाब के राज्यपाल गुलाबचंद कटारिया ने हाल ही में पंजाब को नशा मुक्त करने के लिए एक अनूठी यात्रा की शुरुआत की. पहली बार किसी राज्यपाल ने सड़कों पर उतरकर युवाओं को नशा से मुक्त करने का बीड़ा उठाया है. इस यात्रा में पंजाब के लोगों का जुड़ाव देखा गया. गुलाबचंद कटारिया ने पंजाब का राज्यपाल बनने के बाद वहां की स्थिति और युवाओं को नशे की लत में देखते हुए पंजाब को नशा मुक्त करने का संकल्प लिया था. अभी यात्रा के प्रथम चरण को पूरा किया गया है और यह यात्रा आगे भी जारी रहेगा. उदयपुर पहुंचे पंजाब के राज्यपाल गुलाबचंद कटारिया ने ईटीवी भारत से खास बातचीत करते हुए पंजाब को नशा मुक्त करने को लेकर शुरू की गई.
पंजाब के राज्यपाल गुलाबचंद कटारिया नशे के खिलाफ एक मजबूत संदेश देने के उद्देश्य से छह दिवसीय पदयात्रा की शुरुआत की थी. यह यात्रा श्री करतारपुर साहिब कॉरिडोर, डेरा बाबा नानक से प्रारंभ हुई और 8 अप्रैल को अमृतसर के जलियांवाला बाग में संपन्न हुई. इस पहल का उद्देश्य पंजाब के सीमावर्ती जिलों में नशे की गंभीर समस्या को लेकर जागरूकता फैलाना और जनता को इस सामाजिक बुराई के खिलाफ लामबंद करना है.
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ईटीवी भारत से खास बातचीत में क्या बोले कटारिया : ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए कटारिया ने कहा कि नशा मुक्त भारत के लिए अभियान शुरू किया है. पंजाब के सीमावर्ती इलाकों में जाने पर वहां की स्थिति हैरान करने वाली थी. वहां की महिलाओं और लोगों ने राज्यपाल के तौर पर सिर्फ एक ही चीज मांगी कि हमारे बच्चों को नशे की गिरफ्त से बचाएं. महिलाओं और परिवार के लोगों ने अपना दर्द बताया कि नशे के कारण उनके बच्चे घर में चोरी करते हैं और आपराधिक प्रवृत्तियों में लिप्त होते जा रहे हैं.

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पाकिस्तान को लेकर कटारिया का बड़ा बयान : कटारिया ने कहा कि पहले पंजाब की सीमावर्ती इलाकों में पाकिस्तान की ओर से ड्रोन से नशीला पदार्थ भेजा जाता है. बड़ी मात्रा में सारे देश में उसका व्यापार होता है और छोटे-छोटे बच्चे भी इसकी लत में आ रहे हैं. जब दिन भर की पंजाब की क्राइम रिपोर्ट देखता हूं तो उसमें सर्वाधिक मामले नशे से जुड़े हुए सामने आते हैं. ऐसे में जनता को इससे मुक्त करने के लिए और जनता को मुख्यधारा से जोड़ने के लिए यह यात्रा शुरू की गई है.

इन्हें बचाएंगे तो देश बचेगा : इस यात्रा में यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर, धर्मगुरु, जनप्रतिनिधि और पंजाब में नशा मुक्ति को लेकर कम कर रहे संस्थानों को जोड़ा गया है. कटारिया ने कहा कि पाकिस्तान हमसे युद्ध में तो जीत नहीं सकता है, इसलिए नशा और ड्रग्स के माध्यम से इस बहादुर कौम को कमजोर कर रहा है. पंजाब पहले भी देश में सबसे ज्यादा सैनिक देने वाले राज्यों में था आज भी एक नंबर पर है. आज विदेश में बड़े से बड़े खिलाड़ी देखें तो पंजाब से आते हैं. सेना में जाने वाले लोगों की संख्या देखें तो पंजाब से है. ऐसे में नशे के कारण पंजाब में आने वाली पीढ़ी कमजोर हो जाएगी, इसलिए इन्हें बचाएंगे तो देश बचेगा.

राज्यपाल सड़क पर उतरकर दे रहे हैं संदेश : कटारिया ने कहा कि पंजाब राज्य में 6 जिले हैं बॉर्डर पर, जिसमें दो जिलों में यात्रा हो चुकी है. बचे हुए चार जिले हैं, उनमें भी यात्रा होगी. लोगों को साथ लेकर चलने का काम किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि यह यात्रा किसी तरह की राजनीति और पार्टी के काम करने के लिए नहीं है, बल्कि नशा मुक्ति को लेकर है. करतारपुर साहिब कॉरिडोर से नशा विरोधी पदयात्रा का नेतृत्व करते हुए राज्यपाल कटारिया ने पंजाब के लोगों से नशे को जड़ से मिटाने का आह्वान किया.

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आम नागरिकों की एकजुटता आवश्यक: उन्होंने कहा कि वीरों की इस धरती पर नशे के लिए कोई स्थान नहीं है. इस बुराई के खिलाफ सरकार की ओर से चलाए जा रहे अभियानों में समाज की सक्रिय भागीदारी आवश्यक है. उन्होंने कहा कि नशे की समस्या से निपटने के लिए समाज के हर वर्ग, शिक्षाविदों, धार्मिक गुरु, नेताओं, बुद्धिजीवियों और आम नागरिकों की एकजुटता आवश्यक है. जब तक सामूहिक प्रयास नहीं होंगे, इस बुराई का नाश करना कठिन रहेगा. उन्होंने इस पदयात्रा को एक जन आंदोलन में बदलने का आह्वान किया और सभी राजनीतिक दलों, सामाजिक संगठनों और आम नागरिकों से इसमें सक्रिय रूप से भाग लेने की अपील की है. इस अवसर पर उन्होंने गुरुद्वारा श्री दरबार साहिब में मत्था टेका और आशीर्वाद लिया.
