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राम मंदिर के केसरिया ध्वज में होगा कोविदार वृक्ष, सूर्य और ऊँ का चिन्ह; 25 नवंबर को पीएम मोदी करेंगे ध्वजारोहण

25 नवंबर अयोध्या के लिए ऐतिहासिक दिन है. देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राम मंदिर के शिखर पर केसरिया रंग का ध्वज फहराएंगे.

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मंदिरों के शिखर पर भी ध्वजारोहण का कार्यक्रम संपन्न होगा. (Photo Credit: ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : October 12, 2025 at 10:16 PM IST

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अयोध्या: राम मंदिर के 201 फिट ऊंचे शिखर पर 25 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सरसंचालक मोहन भागवत ध्वजारोहण करेंगे. त्रिकोण आकृति में केसरिया रंग के 11 फीट चौड़ा और 22 फीट लंबे ध्वज में कोविदार वृक्ष, सूर्य और ॐ के चिन्ह होंगे. शनिवार की देर शाम श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के ट्रस्टियों की बैठक में यह निर्णय लिया गया.

मंदिर के काम पूरे होने पर ध्वाजारोहण: इस दौरान मुख्य रूप से ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देवगिरी, महासचिव चंपतराय, सदस्य डॉक्टर अनिल मिश्रा, निर्मोही अखाड़ा के महंत दिनेंद्र दास, व्यवस्था प्रभारी गोपाल जी राव सहित अन्य ट्रस्टी भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े रहे. राम मंदिर ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देवगिरी ने कार्यक्रम की जानकारी देते हुए बताया कि ध्वजारोहण मंदिर के कार्य का पूर्ण होने का चिन्ह है.

पांच दिनों तक होगा पूजा-पाठ: हिंदी तिथि के अनुसार विवाह पंचमी तिथि पड़ रही है. इस दिन भगवान श्री राम और माता सीता के साथ मंगल विवाह संपन्न हुआ. 25 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सर संघचालक मोहन भागवत के हाथों ध्वजारोहण होगा. इस कार्यक्रम के लिए 5 दिन तक पूजा विधान चलेगा. जिसमें भगवान श्री रामलला और राजा राम परिवार के साथ विराजमान हुए हैं.

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ध्वजारोहण मंदिर के कार्य का पूर्ण होने का चिन्ह है. (Photo Credit: ETV Bharat)

परिसर में कई देवी-देवताओं के मंदिर: इसके साथ परकोटा में पंचायतन पद्धति के अनुसार भगवान गणेश, भगवान शिव, मां भगवती, माता अन्नपूर्णा, हनुमान जी और सूर्य देव के भी मंदिर स्थापित हैं. इन मंदिरों के शिखर पर भी ध्वजारोहण का कार्यक्रम संपन्न होगा. इन सभी देवी देवताओं के पूजन और हवन का क्रम भी पांच दिनों तक चलता रहेगा. इस कार्यक्रम में आने वाले अतिथियों के लिए यह पूरा कार्यक्रम प्रदेश के अंतर्गत ही सीमित रखे जाने का निर्णय लिया गया है.

ध्वज पर कोविदार वृक्ष, सूर्य और ॐ का चिन्ह: इसमें मुख्य रूप से अयोध्या केंद्रित होगा. इसलिए इसमें बाहर के किसी भी व्यक्ति के आने की संभावना नहीं है. यहां पर जो विभिन्न क्षेत्र के सामाजिक प्रतिनिधि व संत महात्मा को सम्मलित किया जाएगा. धार्मिक समिति के सदस्य गोपाल जी राव ने बताया की ध्वज की आकृति तय की गयी है. केसरिया रंग के 11 फीट चौड़ा और 22 फीट लंबे ध्वज पर कोविदार वृक्ष, सूर्य और ॐ का चिन्ह होगा.

अतिथियों को निमंत्रण पत्र भेजा जाएगा: धार्मिक समिति के सदस्य गोपाल जी राव ने बताया कि बैठक में 25 नवंबर को होने वाले ध्वजारोहण कार्यक्रम की रूपरेखा पर मंथन किया गया है. दीपोत्सव के बाद सभी अतिथियों को निमंत्रण पत्र भेजा जाएगा. ध्वजारोहण के कार्यक्रम के दौरान और कौन-कौन से कार्यक्रम किए जाने हैं इस पर अंतिम निर्णय हो गया है.

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