जयपुर : प्रारंभिक शिक्षा में अब महाराणा प्रताप से लेकर छत्रपति शिवाजी जैसे भारत के वीर योद्धा और सुभाष चंद्र बोस से लेकर वल्लभभाई पटेल जैसे क्रांतिकारी महापुरुषों को पढ़ाया जाएगा. नई शिक्षा नीति के तहत तैयार हो रहे पाठ्यक्रम में छात्रों को भारत के गौरवशाली इतिहास से रूबरू कराने के लिए इन चरित्रों की जीवन के अंशों को जोड़ा जा रहा है. यही नहीं कक्षा 1 से पांचवीं तक के पाठ्यक्रम में खेजड़ली का बलिदान से लेकर चंद्रयान मिशन तक के बारे में पढ़ाया जाएगा.
नए सिलेबस पर काम किया गया : राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत प्रदेश के स्कूलों में कक्षा 1 से 5वीं तक के छात्रों के लिए नया सिलेबस तैयार किया गया है. आरएससीईआरटी उदयपुर की ओर से तैयार कोर्स इसी सत्र में लागू होगा. राज्य सरकार के निर्देश पर गुणवत्तापूर्ण और सटीक जानकारी स्कूलों के माध्यम से छात्रों तक पहुंचाने के लिए नए सिलेबस पर काम किया गया.
योद्धा और क्रांतिकारियों के बारे में पढ़ाया जाएगा : खास बात ये है कि कक्षा तीन से ही हिंदी, इंग्लिश और ईवीएस की किताबों में छात्र देश और प्रदेश के योद्धा और क्रांतिकारियों के बारे में पढ़ना शुरू कर देंगे. इसके साथ ही छात्रों को लोकतंत्र की पहली सीढ़ी पढ़ाना भी शुरू कर दिया जाएगा. कक्षा पांचवीं तक आते-आते छात्रों को वीर दुर्गादास, महाराणा प्रताप, दयानंद सरस्वती, छत्रपति शिवाजी जैसे महापुरुषों का जीवन चरित्र भी पढ़ने को मिलेगा.

राष्ट्रीय शिक्षा नीति के मुताबिक पाठ्यक्रम : इस संबंध में प्रदेश के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने बताया कि नई शिक्षा नीति के तहत अब छात्र केवल पुस्तकीय ज्ञान तक सीमित नहीं रहेंगे. उन्हें भारतीय संस्कृति, इतिहास, वीर योद्धाओं के पराक्रम और अपने देश-प्रदेश की भौगोलिक विशेषताओं की भी व्यावहारिक और रोचक जानकारियां मिल सकेंगी. राष्ट्रीय शिक्षा नीति में जिस तरह के प्रावधान हैं, उसके मुताबिक पाठ्यक्रम का निर्माण किया गया है. इसी आधार पर पुस्तक लिखी गई है.

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उन्होंने कहा कि एनईपी के अनुसार प्रारंभिक शिक्षा लोकल भाषा या मातृभाषा में होगी. ऐसे में विभिन्न बोलियां के शब्दकोश तैयार किए हैं. अधिकांश जिलों के शब्दकोश तैयार हो चुके हैं. इसी आधार पर पुस्तक का लेखन हुआ है. उन्होंने स्पष्ट किया कि आगे जो बड़ी कक्षाएं हैं उनका कोर्स स्टडी किया जा रहा है. अधिकांश पाठ्यपुस्तक एनसीईआरटी लिखती है और उसे प्रदेश का शिक्षा महकमा स्वीकार करते हुए सिलेबस में शामिल करता है.

हालांकि, ये भी तय है कि छठी से 9वीं और 11वीं का पाठ्यक्रम राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020, एनसीईआरटी और एनसीएफ 2023 की गाइड के अनुसार तैयार किया जाएगा, जो अगले सत्र 2026-27 में लागू होगा. वहीं, कक्षा 10वीं और 12वीं का नया सिलेबस भी तैयार होना है, जो सत्र 2027-28 में लागू होगा. इसके लिए एक्शन प्लान तैयार कर पेश करने के निर्देश दिए गए हैं. बहरहाल, नई शिक्षा नीति के माध्यम से छात्र अपने इतिहास, भूगोल, संस्कृति और कर्तव्य बोध को स्कूल के दौर से ही आत्मसात कर सकेंगे.
