नवादा: 15 मई 2025 को नवादा के हिसुआ थाना क्षेत्र से एक 16 साल की लड़की रहस्यमय तरीके से लापता हो जाती है. कई दिनों तक परिजनों द्वारा खोजबीन के बाद कोई सफलता नहीं मिलती है. थक हारकर हिसुआ थाना में पिता अपनी बेटी के लापता होने का केस दर्ज कराते हैं.
21 मई को बेंगलुरु में मिला शव: केस दर्ज होने के बाद पुलिस भी लड़की की काफी खोजबीन की लेकिन नहीं ढूंढ़ पायी. घटना के 6 दिन हो चुके थे. इसी बीच 22 मई को हिसुआ थाना को जानकारी मिलती है कि एक युवती का शव बेंगलुरु के सूर्यनगर थाना के चांदपुरा रेलवे स्टेशन के बाहरी क्षेत्र में मिला है. शव एक ब्लू रंग की ट्रॉली में रखा हुआ था.

15 मई को लापता हुई थी लड़की: इसके बाद हिसुआ थाने की पुलिस ने बेटी के लापता की शिकायत दर्ज कराने वाले परिजनों को पुलिस स्टेशन बुलाया. वीडियो और फोटो दिखाने पर पता चला कि यह वही लड़की है जो बीते 15 मई को कथित रूप से घर से लापता हो गयी थी. शव की पहचान करने के बाद परिजन हैरान हो गए.
बेंगलुरु पुलिस से मिली जानकारी से साफ था कि लड़की की मौत हो चुकी है. अब यह हत्या थी या कुछ और इसकी जांच के लिए हिसुआ थाना की टीम परिजन के साथ बेंगलुरु रवाना हुई. वहां जाने के बाद बेंगलुरु पुलिस की मदद से कई साक्ष्य जुटाया गया और घटना की छानबीन की गयी.
हत्या कर शव ठिकाना लगाया गया: हिसुआ थाना के मुताबिक घटना की छानबीन में पता चला कि लड़की की हत्या कर शव को ठिकाना लगाने का प्रयास किया गया था. इसमें 7 लोगों की संलिप्ता होने की बात सामने आयी. इसमें एक लड़की का प्रेमी भी बताया जा रहा है. पुलिस के मुताबिक प्रेमी ने ही लड़की की हत्या की और बांकी 6 दोस्तों ने शव को ठिकाने लगाने में मदद की.
हत्या कर सभी बिहार आ गए थे: यह सारी घटना बेंगलुरु में ही अंजाम दिया गया. इसके बाद ये सभी आरोपी नवादा के हिसुआ थानाक्षेत्र में राहुल नगर में रह रहे थे. पुलिस को जैसे ही इसकी जानकारी मिली की सभी आरोपी गांव में है तो हिसुआ थानाध्यक्ष अनिल कुमार सिंह के नेतृत्व में पुलिस ने घेराबंदी कर सभी 07 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया.
प्रेमी सहित 7 आरोपी गिरफ्तार: गिरफ्तार आरोपियों में आशिक कुमार (लड़की का प्रेमी), उसके फूफा मुकेश कुमार, फुआ इंदु देवी, रंजीत रविदास का पुत्र राजाराम रविदास, प्यारेचंद रविदास का पुत्र राजू कुमार, सुनील रविदास का पुत्र कालू रविदास और मोहन कुमार शामिल हैं. सभी को बेंगलुरु के सूर्यनगर थाना से आए इंस्पेक्टर संजीव महाजन को सौंपा दिया गया है. अब आगे की जांच बेंगलुरु पुलिस करेगी.
लापता नहीं हुई थी लड़की: हिसुआ थाना पुलिस के द्वारा पूछताछ में आरोपी प्रेमी ने बड़ा खुलासा किया. दरअसल, लड़की घर से लापता नहीं हुई थी. वह अपने प्रेमी के साथ भाग गयी थी, जहां बेंगलुरु में प्रेमी अपने फूफा के घर में लड़की को रखे हुए था. पुलिस के मुताबिक दोनों के बीच किसी बात को लेकर विवाद हुआ था जिससे गुस्सा में आकर उसने प्रेमिका की हत्या कर दी.

बेरहमी से हत्या: पूछताछ में आरोपी प्रेमी ने बताया कि 20 मई को उसके फूफा-फुआ ड्यूटी पर गए हुए थे. उस समय घर खाली था. इसी दौरान उसने हत्या कर दी. आशिक ने बताया कि पहले उसने अपनी प्रेमिका को फर्श पर पटक दिया. छाती पर बैठकर गला दबाते हुए सिर को जमीन पर कई बार पटका. सिर में चोट लगने और गर्दन की हड्डी टूटने के कारण उसकी मौत हो गयी.
दोस्तों को धमकाया: हत्या के बाद आशिक ने अपने दोस्तों को कमरे पर बुलाया. दोस्तों को धमकी देते हुए कहा कि कोई पूछे तो कहना कि लड़की ने आत्महत्या की है. अगर ऐसा नहीं कहोगे तो सबको फंसा दूंगा. इसके बाद जब फूफा काम से वापस आए को उन्होंने शव ठिकाना लगाने की सलाह दी.
कैब से शव को लगाया ठिकाना: शव को एक नीले रंग की ट्रॉली में रखा गया. इसके बाद कैब बुक की गयी. कैब में ट्रॉली रखकर सुनसान जगह ले गया. कैब चालक को भी शक हुआ कि ये लोग सुनसान जगह क्यों आए हैं, लेकिन वह अपना किराया लेकर लौट गया. इसके बाद ट्रॉली को रेलवे लाइन फेंक कर सभी लोग फरार हो गए.
इस तरह हुई हत्या की आशंका: पुलिस को जब शव मिला तो इसकी छानबीन शुरू की गयी. छानबीन में पुलिस जब घटनास्थल पर पहुंची तो हैरान रह गयी. दरअसल, आशिक ने आत्महत्या का रूप देने के लिए खिड़की का शीशा तोड़ दिया था, लेकिन गलती उसने खिड़की को कमरे के अंदर से तोड़ दिया. शीशा कमरे के बाहर की ओर गिरा था.
पुलिस को आशंका हो गयी कि यह आत्महत्या नहीं बल्कि हत्या की गयी है. इसके बाद नवादा पुलिस की मदद से सभी 7 आरोपी को गिरफ्तार किया गया. सख्ती से पूछताछ में आरोपी प्रेमी ने अपना जुर्म स्वीकार किया.
बताया जा रहा है कि प्रेमी पहले से शादीशुदा है. उसके दो बच्चे भी हैं. संभवत: इसी कारण दोनों के बीच विवाद हुआ होगा. इसके बाद लड़की की बेरहमी से प्रेमी ने हत्या कर दी.
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