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जेल में बंदियों के लिए मैडिटेशन सेशन,पुनर्वास की दिशा में बड़ी पहल - MEDITATION SESSION FOR PRISONERS

दंतेवाड़ा जिला जेल में बंदियों के लिए मैडिटेशन सेशन का आयोजन किया गया.

Meditation session for prisoners
जेल में बंदियों के लिए मैडिटेशन सेशन (ETV BHARAT CHHATTISGARH)
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : April 13, 2025 at 11:43 AM IST

Updated : April 13, 2025 at 12:19 PM IST

2 Min Read

दंतेवाड़ा : जिला प्रशासन दंतेवाड़ा के सहयोग से जिला जेल परिसर में बंदियों के मानसिक और आत्मिक विकास हेतु विपश्यना ध्यान (मैडिटेशन) का एक विशेष सत्र आयोजित किया गया. इस ध्यान सत्र का संचालन विपश्यना ध्यान केंद्र छत्तीसगढ़ के प्रभारी गुरु सीताराम साहू एवं उनके सहयोगियों ने किया. इस कार्यक्रम में दंतेवाड़ा जिला जेल के 150 बंदियों समेत मुख्य कार्यपालन अधिकारी जयंत नाहटा, जेल अधीक्षक, जेल के अधिकारी, कर्मचारी ने हिस्सा लिया और विपश्यना ध्यान का लाभ प्राप्त किया.



विपश्यना ध्यान क्या है? : गुरु सीताराम के मुताबिक विपश्यना ध्यान एक प्राचीन भारतीय ध्यान पद्धति है, जिसे भगवान बुद्ध ने आत्मज्ञान प्राप्ति के लिए अपनाया था. “विपश्यना” का अर्थ होता है.वास्तविकता को वैसा देखना जैसा वह वास्तव में है.यह ध्यान तकनीक व्यक्ति को अपनी सांसों के माध्यम से वर्तमान क्षण में स्थिर होने, अपने भीतर झांकने और विचारों की गहराई को समझने में सहायता करती है. बंदियों के सामने विचार रखते हुए उन्होंने कहा कि प्रकृति के नियम का पालन करे तो वो उपहार देती है और उल्लंघन करें तो दंड देती है. विपश्यना हमें प्रकृति के करीब ले जाती है मन को शांत करती है.

जेल में बंदियों के लिए मैडिटेशन सेशन (ETV BHARAT CHHATTISGARH)

जेल में बंद कैदियों के जीवन में अक्सर मानसिक तनाव, क्रोध, अपराधबोध, पश्चाताप और बेचैनी जैसी समस्याएं होती हैं. विपश्यना ध्यान एक ऐसा माध्यम है जिससे वे आत्मनिरीक्षण कर सकते हैं.अपने भीतर शांति व संतुलन स्थापित कर सकते हैं- गुरु सीताराम

Meditation session for prisoners
पुनर्वास की दिशा में बड़ी पहल (ETV BHARAT CHHATTISGARH)

कैदियों के लिए सराहनीय कदम : इस पहल के माध्यम से जिला प्रशासन एवं जेल प्रबंधन ने पुनर्वास की दिशा में एक सराहनीय कदम उठाया है. उम्मीद है कि इस प्रकार के कार्यक्रम भविष्य में भी नियमित रूप से आयोजित किए जाएंगे, जिससे बंदियों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन आए और वे समाज में एक जिम्मेदार नागरिक के रूप में पुनः स्थापित हो सके.

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जेल में बंदियों के लिए मैडिटेशन सेशन (ETV BHARAT CHHATTISGARH)

जेल में बंद कैदियों के जीवन में अक्सर मानसिक तनाव, क्रोध, अपराधबोध, पश्चाताप और बेचैनी जैसी समस्याएं होती हैं. विपश्यना ध्यान एक ऐसा माध्यम है जिससे वे आत्मनिरीक्षण कर सकते हैं.अपने भीतर शांति व संतुलन स्थापित कर सकते हैं- गुरु सीताराम

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पुनर्वास की दिशा में बड़ी पहल (ETV BHARAT CHHATTISGARH)

कैदियों के लिए सराहनीय कदम : इस पहल के माध्यम से जिला प्रशासन एवं जेल प्रबंधन ने पुनर्वास की दिशा में एक सराहनीय कदम उठाया है. उम्मीद है कि इस प्रकार के कार्यक्रम भविष्य में भी नियमित रूप से आयोजित किए जाएंगे, जिससे बंदियों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन आए और वे समाज में एक जिम्मेदार नागरिक के रूप में पुनः स्थापित हो सके.

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Last Updated : April 13, 2025 at 12:19 PM IST
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