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अमरनाथ यात्रा: श्रद्धालुओं की मेडिकल जांच शुरू, जींद में प्रतिदिन 10-20 लोग पहुंच रहे अस्पताल - MEDICAL CHECKUP OF PILGRIMS

अमरनाथ यात्रा के लिए श्रद्धालुओं की मेडिकल प्रक्रिया नागरिक अस्पताल में शुरू, प्रतिदिन 10-20 श्रद्धालु जांच करवा रहे, यात्रा 3 जुलाई से संभावित.

Medical checkup of pilgrims
श्रद्धालुओं की मेडिकल जांच शुरू (ETV Bharat)
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By ETV Bharat Haryana Team

Published : April 8, 2025 at 9:52 PM IST

Updated : April 8, 2025 at 10:00 PM IST

2 Min Read

जींद: अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं के लिए खुशखबरी है. यात्रा पर जाने से पहले आवश्यक मेडिकल प्रक्रिया को जिला मुख्यालय स्थित नागरिक अस्पताल में शुरू किया गया है. हालांकि यात्रा के तीन जुलाई के आसपास शुरू होने की संभावना है, लेकिन श्रद्धालु अभी से चिकित्सा जांच के लिए पहुंचने लगे हैं. पिछले तीन दिनों में सौ से अधिक श्रद्धालु अस्पताल पहुंचकर जानकारी ले चुके हैं और 50 से अधिक श्रद्धालुओं ने जांच पूरी करवा ली है.

स्वास्थ्य विभाग ने जारी किए आदेश:

स्वास्थ्य विभाग ने अमरनाथ यात्रा के लिए श्रद्धालुओं की चिकित्सा जांच शुरू करने के निर्देश दिए हैं. यात्रा इस वर्ष तीन जुलाई से शुरू होकर नौ अगस्त तक चलेगी. सावन माह में श्रावणी मेले के दौरान बाबा बर्फानी के दर्शनों के लिए तैयारियां शुरू हो चुकी हैं. मुख्यालय से आदेश जारी होने के बाद जांच प्रक्रिया जिला नागरिक अस्पताल में चालू हो गई है. मंगलवार को भी 20 से अधिक श्रद्धालुओं ने अपनी जांच करवाई.

यात्रा से पहले जरूरी प्रक्रिया:

श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड की वेबसाइट से चिकित्सा जांच के लिए फार्म डाउनलोड कर उसे पासपोर्ट साइज फोटो के साथ अस्पताल में जमा कराना होता है. जांच पूरी होने के बाद कमरा नंबर 22 में डिप्टी एमएस के हस्ताक्षर से प्रमाणपत्र जारी होता है. इसके बाद संबंधित बैंक शाखा में पंजीकरण कराना होता है. पंजीकरण के लिए चिकित्सा प्रमाणपत्र, आधार कार्ड की फोटो प्रति और सौ रुपये की पर्ची अनिवार्य है. बैंक में प्रति व्यक्ति पंजीकरण शुल्क 150 रुपये है. पंजीकरण के दौरान बायोमेट्रिक निशान भी देना होता है.

यात्रा के लिए योग्य श्रद्धालु:

अमरनाथ यात्रा पर वही श्रद्धालु जा सकते हैं जिनकी उम्र 14 से 70 वर्ष के बीच हो. छह सप्ताह या उससे अधिक गर्भवती महिलाएं यात्रा नहीं कर सकतीं. अस्थमा या फेफड़ों की बीमारी से ग्रसित श्रद्धालु यात्रा के लिए उपयुक्त नहीं माने जाते, क्योंकि यात्रा के दौरान ऊंचाई पर चढ़ाई के कारण सांस लेने में तकलीफ हो सकती है.

डॉ. भोला का बयान:

नागरिक अस्पताल के डिप्टी एमएस डा. राजेश भोला ने बताया कि हर दिन 10 से 20 श्रद्धालु चिकित्सा जांच के लिए अस्पताल पहुंच रहे हैं. यात्रा के लिए निर्धारित फार्म भरने के बाद ही प्रमाणपत्र जारी किया जाता है.

इसे भी पढ़ें: हिसार पहुंचे सीएम नायब सिंह सैनी, PM Modi के दौरे की तैयारियों का लिया जायजा, अधिकारियों को दिए निर्देश

जींद: अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं के लिए खुशखबरी है. यात्रा पर जाने से पहले आवश्यक मेडिकल प्रक्रिया को जिला मुख्यालय स्थित नागरिक अस्पताल में शुरू किया गया है. हालांकि यात्रा के तीन जुलाई के आसपास शुरू होने की संभावना है, लेकिन श्रद्धालु अभी से चिकित्सा जांच के लिए पहुंचने लगे हैं. पिछले तीन दिनों में सौ से अधिक श्रद्धालु अस्पताल पहुंचकर जानकारी ले चुके हैं और 50 से अधिक श्रद्धालुओं ने जांच पूरी करवा ली है.

स्वास्थ्य विभाग ने जारी किए आदेश:

स्वास्थ्य विभाग ने अमरनाथ यात्रा के लिए श्रद्धालुओं की चिकित्सा जांच शुरू करने के निर्देश दिए हैं. यात्रा इस वर्ष तीन जुलाई से शुरू होकर नौ अगस्त तक चलेगी. सावन माह में श्रावणी मेले के दौरान बाबा बर्फानी के दर्शनों के लिए तैयारियां शुरू हो चुकी हैं. मुख्यालय से आदेश जारी होने के बाद जांच प्रक्रिया जिला नागरिक अस्पताल में चालू हो गई है. मंगलवार को भी 20 से अधिक श्रद्धालुओं ने अपनी जांच करवाई.

यात्रा से पहले जरूरी प्रक्रिया:

श्री अमरनाथ श्राइन बोर्ड की वेबसाइट से चिकित्सा जांच के लिए फार्म डाउनलोड कर उसे पासपोर्ट साइज फोटो के साथ अस्पताल में जमा कराना होता है. जांच पूरी होने के बाद कमरा नंबर 22 में डिप्टी एमएस के हस्ताक्षर से प्रमाणपत्र जारी होता है. इसके बाद संबंधित बैंक शाखा में पंजीकरण कराना होता है. पंजीकरण के लिए चिकित्सा प्रमाणपत्र, आधार कार्ड की फोटो प्रति और सौ रुपये की पर्ची अनिवार्य है. बैंक में प्रति व्यक्ति पंजीकरण शुल्क 150 रुपये है. पंजीकरण के दौरान बायोमेट्रिक निशान भी देना होता है.

यात्रा के लिए योग्य श्रद्धालु:

अमरनाथ यात्रा पर वही श्रद्धालु जा सकते हैं जिनकी उम्र 14 से 70 वर्ष के बीच हो. छह सप्ताह या उससे अधिक गर्भवती महिलाएं यात्रा नहीं कर सकतीं. अस्थमा या फेफड़ों की बीमारी से ग्रसित श्रद्धालु यात्रा के लिए उपयुक्त नहीं माने जाते, क्योंकि यात्रा के दौरान ऊंचाई पर चढ़ाई के कारण सांस लेने में तकलीफ हो सकती है.

डॉ. भोला का बयान:

नागरिक अस्पताल के डिप्टी एमएस डा. राजेश भोला ने बताया कि हर दिन 10 से 20 श्रद्धालु चिकित्सा जांच के लिए अस्पताल पहुंच रहे हैं. यात्रा के लिए निर्धारित फार्म भरने के बाद ही प्रमाणपत्र जारी किया जाता है.

इसे भी पढ़ें: हिसार पहुंचे सीएम नायब सिंह सैनी, PM Modi के दौरे की तैयारियों का लिया जायजा, अधिकारियों को दिए निर्देश

Last Updated : April 8, 2025 at 10:00 PM IST
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