ETV Bharat / state

अंतरराष्ट्रीय योग दिवस : कुचामन में डॉ. राजेंद्री ने 13 साल में 50 हजार लोगों को नि:शुल्क योग सिखाया - INTERNATIONAL YOGA DAY 2025

राजेन्द्री योग से स्वस्थ होने का उदाहरण हैं. उन्होंने संघर्ष भरे अपने जीवन में योग को अपनाया. वे 50 हजार को योग सीखा चुकी हैं.

People doing yoga in Kuchaman
कुचामन में योग करते लोग (ETV Bharat kuchaman city)
author img

By ETV Bharat Rajasthan Team

Published : June 21, 2025 at 9:20 AM IST

3 Min Read

कुचामन सिटी: विश्व में 21 जून को योग दिवस मनाया जा रहा है. योग के जरिए स्वस्थ होने की अहमियत बताई जा रही है. वहीं कुचामन शहर की महिला योग विशेषज्ञ डॉ. राजेन्द्री तालान खुद योग से स्वस्थ होने का उदाहरण हैं. उन्होंने संघर्ष भरे अपने जीवन में योग को अपनाया. उन्होंने न केवल खुद को योग से स्वस्थ किया बल्कि हजारों लोगों के लिए योग गुरु के रूप में प्रेरणा बनी.

खुद बीमार हुई तो जानी अहमियत: उत्तरप्रदेश के जेवर कस्बे में जन्मी डॉ. राजेन्द्री ने 8 साल की उम्र में मां को खो दिया. पिता ने खेती कर पाला-पोसा और पढ़ाया. 12वीं के बाद कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से स्नातक और मध्यप्रदेश के बरकतुल्ला विश्वविद्यालय से शारीरिक शिक्षा की डिग्री प्राप्त की. शारीरिक शिक्षा की पढ़ाई के दौरान डॉ. तालान को गंभीर हृदय संबंधी बीमारी हो गई. इलाज के दौरान डॉक्टर ने योग की सलाह दी. जब दवाएं कारगर नहीं रही तो योग ने नया जीवन दिया. बीमारी से ठीक होते ही उन्होंने इसे जीवन का उद्देश्य बना लिया. योग का गहराई से अध्ययन व अभ्यास किया. डॉ. तालान ने योग में पीजी डिप्लोमा, एमएससी, एमफिल, पीएचडी, और बेंगलूरु के विवेकानंद यूनिवर्सिटी से जीएनवाईएस (नेचुरोपैथी इन योगिक साइंस) की डिग्री प्राप्त की. योग शिक्षा के बाद गोवा में एक वर्ष एक संस्थान में कार्य किया.

योग रखे निरोग (वीडियो ईटीवी भारत कुचामनसिटी)

पढ़ें: अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर जैसलमेर में राज्य स्तरीय कार्यक्रम, हजारों लोग ले रहे हैं हिस्सा, खुहड़ी के धोरों पर सीएम ने किया योग - INTERNATIONAL YOGA DAY 2025

13 साल से चला रही योग केंद्र : बीते 13 वर्षों से कुचामन में डॉ. राजेन्द्री खुद का योग केंद्र चलाती हैं. अब तक 50 हजार लोगों को नि:शुल्क योग शिक्षा दे चुकी हैं. वे मानती हैं कि योग सिर्फ शारीरिक क्रिया नहीं, बल्कि मानसिक, शारीरिक और आत्मिक स्वास्थ्य का साधन है. वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री के योग को प्रोत्साहन से उत्साहित हैं. उन्हें आसहै कि भविष्य में योग शिक्षकों को मान्यता व सहायता मिलेगी. उन्होंने कहा कि मुश्किलें जीवन का हिस्सा हैं, लेकिन उनसे भागने की बजाय सामना करें. योग शरीर ही नहीं, आत्मा को भी सशक्त बनाता है.

योग से इतना फायदा: शहर की किरण देवी शर्मा ने बताया कि पहले हमारे शहर में कोई योग के बारे में इतना नहीं जानता था, लेकिन राजेन्द्री के आने के बाद ही कुचामन में योग की जैसे क्रान्ति आ गई है. इन्होंने निशुल्क योग सिखाया. मैं जब इनके पास आई, तब सही तरीके से चल नहीं सकती थी, लेकिन आज मेरे शरीर मे कोई परेशानी नहीं है. ये सब योग के कारण हुआ है.

कुचामन सिटी: विश्व में 21 जून को योग दिवस मनाया जा रहा है. योग के जरिए स्वस्थ होने की अहमियत बताई जा रही है. वहीं कुचामन शहर की महिला योग विशेषज्ञ डॉ. राजेन्द्री तालान खुद योग से स्वस्थ होने का उदाहरण हैं. उन्होंने संघर्ष भरे अपने जीवन में योग को अपनाया. उन्होंने न केवल खुद को योग से स्वस्थ किया बल्कि हजारों लोगों के लिए योग गुरु के रूप में प्रेरणा बनी.

खुद बीमार हुई तो जानी अहमियत: उत्तरप्रदेश के जेवर कस्बे में जन्मी डॉ. राजेन्द्री ने 8 साल की उम्र में मां को खो दिया. पिता ने खेती कर पाला-पोसा और पढ़ाया. 12वीं के बाद कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से स्नातक और मध्यप्रदेश के बरकतुल्ला विश्वविद्यालय से शारीरिक शिक्षा की डिग्री प्राप्त की. शारीरिक शिक्षा की पढ़ाई के दौरान डॉ. तालान को गंभीर हृदय संबंधी बीमारी हो गई. इलाज के दौरान डॉक्टर ने योग की सलाह दी. जब दवाएं कारगर नहीं रही तो योग ने नया जीवन दिया. बीमारी से ठीक होते ही उन्होंने इसे जीवन का उद्देश्य बना लिया. योग का गहराई से अध्ययन व अभ्यास किया. डॉ. तालान ने योग में पीजी डिप्लोमा, एमएससी, एमफिल, पीएचडी, और बेंगलूरु के विवेकानंद यूनिवर्सिटी से जीएनवाईएस (नेचुरोपैथी इन योगिक साइंस) की डिग्री प्राप्त की. योग शिक्षा के बाद गोवा में एक वर्ष एक संस्थान में कार्य किया.

योग रखे निरोग (वीडियो ईटीवी भारत कुचामनसिटी)

पढ़ें: अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर जैसलमेर में राज्य स्तरीय कार्यक्रम, हजारों लोग ले रहे हैं हिस्सा, खुहड़ी के धोरों पर सीएम ने किया योग - INTERNATIONAL YOGA DAY 2025

13 साल से चला रही योग केंद्र : बीते 13 वर्षों से कुचामन में डॉ. राजेन्द्री खुद का योग केंद्र चलाती हैं. अब तक 50 हजार लोगों को नि:शुल्क योग शिक्षा दे चुकी हैं. वे मानती हैं कि योग सिर्फ शारीरिक क्रिया नहीं, बल्कि मानसिक, शारीरिक और आत्मिक स्वास्थ्य का साधन है. वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री के योग को प्रोत्साहन से उत्साहित हैं. उन्हें आसहै कि भविष्य में योग शिक्षकों को मान्यता व सहायता मिलेगी. उन्होंने कहा कि मुश्किलें जीवन का हिस्सा हैं, लेकिन उनसे भागने की बजाय सामना करें. योग शरीर ही नहीं, आत्मा को भी सशक्त बनाता है.

योग से इतना फायदा: शहर की किरण देवी शर्मा ने बताया कि पहले हमारे शहर में कोई योग के बारे में इतना नहीं जानता था, लेकिन राजेन्द्री के आने के बाद ही कुचामन में योग की जैसे क्रान्ति आ गई है. इन्होंने निशुल्क योग सिखाया. मैं जब इनके पास आई, तब सही तरीके से चल नहीं सकती थी, लेकिन आज मेरे शरीर मे कोई परेशानी नहीं है. ये सब योग के कारण हुआ है.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.